इस आदेश में पंतनगर, खुर्रमनगर और अबरार नगर सहित नदी के तट पर स्थित सभी आवासीय क्षेत्र शामिल हैं। यह निर्णय उन मकानों पर लाल निशान लगाए जाने के बाद शुरू हुए स्थानीय निवासियों...
कुकरैल नदी तट के निवासियों को मिली बड़ी राहत : सीएम योगी ने रोका मकान ध्वस्तीकरण, बच्चों-महिलाओं के आंदोलन का दिखा असर
Jul 16, 2024 09:57
Jul 16, 2024 09:57
- कुकरैल नदी के किनारे बने मकानों को नहीं तोड़ा जाएगा
- सीएम योगी ने ये आदेश जारी करते हुए कई निर्देश दिए
- इस फैसले से स्थानीय निवासियों को राहत मिली
बच्चों और महिलाओं ने चलाया जन आंदोलन
इस महत्वपूर्ण फैसले के पीछे स्थानीय निवासियों, विशेषकर महिलाओं और बच्चों द्वारा चलाया गया जन आंदोलन प्रमुख कारण रहा। जब मकानों पर ध्वस्तीकरण के लिए लाल निशान लगाए गए, तब से ही लोगों ने विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया था। इस आंदोलन में कांग्रेस और समाजवादी पार्टी का समर्थन भी मिला, जिससे इसे और बल मिला।
सीएम योगी से लगाई थी गुहार
विशेष रूप से, बच्चों की भागीदारी ने इस आंदोलन को एक नया आयाम दिया। रविवार को शुरू हुए बच्चों के प्रदर्शन में उन्होंने अपने माता-पिता के पास मकानों की वैध रजिस्ट्री होने का दावा किया। बच्चों ने सड़कों पर खड़े होकर और हाथ जोड़कर अपनी गुहार लगाई, जिसका वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हुआ। उन्होंने सीधे मुख्यमंत्री से अपील की, कहते हुए कि अगर उनसे उनका घर छीन लिया जाएगा तो उन्हें कैसा महसूस होगा।
नगर आयुक्त ने की पुष्टि
मुख्यमंत्री के इस निर्णय के बाद, नगर आयुक्त इंद्रजीत सिंह ने इस निर्णय की पुष्टि करते हुए कहा कि अब कोई भी निर्माण नहीं तोड़ा जाएगा। उन्होंने स्पष्ट किया कि कुकरैल नदी पहले से ही 35 मीटर की चौड़ाई में बह रही है और वह उतनी ही चौड़ाई में सीमित रहेगी। यह फैसला न केवल स्थानीय निवासियों के लिए राहत लेकर आया है।
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