Mar 19, 2024 21:53
https://uttarpradeshtimes.com/meerut/ghaziabad/opportunity-to-earn-virtue-from-leftover-food-donate-wasted-food-to-cowshed-on-one-call-10488.html
Ghaziabad News : उतना लो थाली में व्यर्थ न जाए नाली में। यह पंच लाइन उन लोगों के लिए है जो अक्सर खाना थाली में छोड़ देते हैं और खाने को व्यर्थ समझकर डस्टबीन में फेंक देते हैं। अब आप बचे हुए खाने को गौ सेवा राष्ट्रीय रोटी बैंक ट्रस्ट को देकर पुण्य कमा सकते हैं। इसके लिए ट्रस्ट की तरफ से एक फोन नंबर जारी किया गया है। आपके एक कॉल पर रोटी बैंक की गाड़ी आएगी और आपके द्वारा दिया गया खाना गौशाला तक पहुंचा देगी।
यह है पूरा मामला
गाजियाबाद में रोटी बैंक चलने वाले पंकज शर्मा बताते हैं कि वर्ष 2015 में उन्होंने व्यर्थ जाने वाले खाने को गरीब लोगों में बांटने का प्रण लिया था। वे अक्सर बैंक्विट हॉल में शादी समारोह के दौरान बचे हुए खाने को मांग लिया करते थे, और रात में झुग्गी-झोपड़ी व रेलवे स्टेशन पर रहने वाले गरीब लोगों में बांट दिया करते थे। कोरोना के दौरान जब लोगों ने उनसे खाना लेना बंद कर दिया तब उन्होंने उस खाने को गौ सेवा के लिए जुटना शुरू किया। इस कार्य में उनके साथ दूसरे लोगों का भी सहयोग मिलने लगा। वे घर-घर जाकर श्रमदान के जरिए बचा हुआ खाना एकत्रित कर गौशाला में भेजने लगे। वर्तमान में वे लगभग 500 गायों के लिए एक कुंतल खाना एकत्रित करते हैं। उन्होंने बताया कि उनके द्वारा तीन गौशालाओं को खाना भेजा जाता है, जिसमें वेव सिटी स्थित गौशाला, नंदग्राम स्थित नंदी गौशाला और भोजपुर के तलहेटा गांव स्थित वृद्धा गौशाला शामिल हैं। इन गौशालाओं में 500 गायों के लिए प्रतिदिन खाना एकत्रित कर भेजा जाता है।
लोगों का मिल रहा सहयोग
पंकज शर्मा बताते हैं कि रोटी बैंक में दो प्रकार से लोग कार्य करते है। कुछ लोग श्रमदान करते है और पार्ट टाइम में रोटी बैंक के साथ कार्य करते है। कुछ लोगों प्रतिदिन के हिसाब से पेमेंट किया जाता है। रोटी बैंक में ई-रिक्शा के जरिए भोजन एकत्रित करने के लिए कुछ लोगों को प्रतिदिन के हिसाब से पेमेंट किया जाता है। ऐसे लोगों को ट्रस्ट की तरफ से प्रतिदिन 330 रुपए दिए जाते हैं। यह खर्च दानपात्र से किया जाता है। इसके अतिरिक्त कुछ लोग ऐसे भी है, जो श्रमदान के जरिए सेवा करते है। इन लोगों में गौरव त्यागी, सुनील शर्मा, मुकेश कुमार, प्रभास शर्मा, उर्मिला भूषण, मोहित चौधरी आदि लोगों द्वारा समय निकालकर श्रमदान किया जाता है। उन्होंने बताया कि उनकी गाड़ी सुबह और दोपहर में भोजन एकत्रित कर खाने को गौशाला पहुंचने का कार्य करती हैं। रोटी बैंक द्वारा कुछ सोसायटियों में एक पात्र रखा गया है। इन पात्रों में सोसायटी के लोगों द्वारा भोजन को एकत्रित किया जाता है। जिसे रोटी बैंक की गाड़ी के द्वारा गौशाला तक पहुंचाया जाता है।
महिलाएं बन रहीं आत्मनिर्भर
पिछले 8 वर्षों से निरंतर गौ सेवा राष्ट्रीय रोटी बैंक ट्रस्ट कार्य कर रहा है। ट्रस्ट के अध्यक्ष पंकज शर्मा बताते हैं कि गांव की महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए भी ट्रस्ट कार्य करता है। गांव की महिलाओं को गौशाला के माध्य से जोड़ा जाता है। ये महिलाएं गाय के गोबर से प्रोडक्ट बनाने का कार्य करती हैं। ऐसी महिलाएं प्रतिदिन कार्य कर अपने परिवार की आर्थिक स्थिति को बेहतर बना रही हैं। यहां महिलाओं से गोमूत्र, दीपक, हवन संविदा, उपले, कप आदि उत्पाद तैयार कराया जाता हैं। यह उत्पाद होली का दहन, हवन, गृहकार्य आदि में उपयोग किए जाते हैं। यदि किसी को गौ सेवा के लिए खाना दान करना है तो ऐसे लोग एम-325 सेक्टर 23 संजय नगर गाजियाबाद पर संपर्क कर सकते हैं। या वे फोन नंबर 9911992162 पर भी संपर्क कर सकते हैं। रोटी बैंक इस कार्य के लिए लोगों से धन नहीं लेता बल्कि यह फ्री सेवा है।