मेडा की नई टाउनशिप के लिए आज से जमीन की खरीद शुरू हो जाएगी। बता दें कि मेरठ विकास प्राधिकरण ने अपनी योजनाओं में निजी विकासकर्ताओं को शामिल करने के लिए सहमति जताई थी।
मेरठ से बड़ी खबर : रैपिड रेल के दायरे में शताब्दी नगर, मेडा की योजनाओं में होगी ग्रुप हाउसिंग, जमीन खरीद आज से शुरू
Jan 23, 2024 16:49
Jan 23, 2024 16:49
- मेरठ विकास प्राधिकरण नई टाउनशिप के लिए जमीन खरीद आज से शुरू।
- मेरठ विकास प्राधिकरण अपनी योजनाओं में ग्रुप हाउसिंग को शामिल करने जा रहा है।
- शताब्दी नगर योजना रैपिड रेल के दायरे में आ रही है।
जमीन खरीद मंगलवार से शुरू
मेडा की नई टाउनशिप के लिए आज से जमीन की खरीद शुरू हो जाएगी। बता दें कि मेरठ विकास प्राधिकरण ने अपनी योजनाओं में निजी विकासकर्ताओं को शामिल करने के लिए सहमति जताई थी। पिछले दिनों 18 दिसंबर को इस मुद्दे पर एक बैठक भी निजी विकासकर्ताओं के साथ हुई थी। जिसमें प्री-बिड पर मंथन हुआ था। इसके बाद मेडा ने पचास से अधिक योजनाओं में ग्रुप हाउसिंग प्लॉट का ले-आउट फाइनल किया। मेडा ने अपनी साइट पर इसकी जानकारी अपलोड की है। मेडा उपाध्यक्ष अभिषेक पांडेय ने बताया कि मेरठ के विकास के लिए निजी विकासकर्ताओं के साथ बैठक हुई थी। मेडा अपनी विकास योजनाओं में निजी विकासकर्ताओं के माध्यम से मेरठ में विकास कराएगा।
मेडा के पास बड़ी संख्या में प्लॉट
उन्होंने जानकारी दी कि विभिन्न योजनाओं में मेडा के पास बड़ी संख्या में प्लॉट हैं। इन प्लाटों में व्यावसायिक, शैक्षिक आदि गतिविधियों के लिए प्लॉट चिह्नित कर उसका ले-आउट बनाया है। विभिन्न योजनाओं में 50 ग्रुप हाउसिंग के खाली प्लॉट की जानकारी के साथ इसको प्राधिकरण की साइट पर अपलोड किया गया है। उन्होंने बताया कि इसके लिए जल्द ही ई-ऑक्शन की तारीख भी घोषित होगी। इसमें वेदव्यासपुरी में करीब पांच हजार वर्ग मीटर के दो प्लॉट, सैनिक विहार में 19800 वर्ग मीटर का एक प्लॉट, लोहियानगर में 2783 से 4050 वर्ग मीटर के पांच प्लॉट, पांडवनगर में 10635 वर्ग मीटर का एक प्लॉट, रक्षापुरम में 2687 वर्ग मीटर से 5578 वर्ग मीटर के पांच प्लॉट, रक्षापुरम फेज-2 में 6779 वर्ग मीटर का एक प्लॉट, गंगानगर में 2187 वर्ग मीटर से 21560 वर्ग मीटर के चार प्लॉट हैं। सबसे अधिक शताब्दीनगर में 29 ग्रुप हाउसिंग प्लॉट निकाले हैं। इसमें सबसे छोटा प्लॉट 2526 वर्ग मीटर तथा सबसे बड़ा 17401 वर्ग मीटर का बताया गया है।
Also Read
22 Nov 2024 02:44 PM
उन्होंने कहा कि शाहीन बाग और किसान आंदोलन के समय सरकार इस्लामिक जिहादियों और राष्ट्रविरोधी शक्तियों की भीड़ से डर गई थी। और पढ़ें