कोर्ट ने दोनों के गैरहाजिर रहने पर उनके खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी कर दिया था। इसके बाद स्पेशल जज शुभम वर्मा ने 10 जून की तारीख लगाई थी। चंद्र भद्र सिंह और उनके सहयोगी पर जबरन दीवार गिरवाने और घर में घुसकर मारपीट करने का आरोप...
Chandra Bhadra Singh : पूर्व विधायक चंद्र भद्र सिंह ने कोर्ट में किया सरेंडर, इस मामले में हैं आरोपी
Jun 10, 2024 17:23
Jun 10, 2024 17:23
- सोनू सिंह और उनके एक साथी ने आज एमपी-एमएलए कोर्ट में सरेंडर कर दिया
- जबरन दीवार गिरवाने और घर में घुसकर मारपीट करने का आरोप लगा था
- कोर्ट ने गिरफ्तारी वारंट जारी किया था
इस मामले में बनाए गए आरोपी
दरअसल, सरकारी वकील वैभव पांडेय ने बताया कि 25 फरवरी 2021 को धनपतगंज के मायंग गांव के रहने वाले बनारसी के परिसर की एक दीवार जबरन जेसीबी से ध्वस्त करवाने और इसका विरोध करने पर घर में घुसकर मारपीट करने के आरोप में पूर्व विधायक चंद्र भद्र सिंह और उनके समर्थक सूर्य प्रकाश सिंह और रुखसार अहमद के खिलाफ मुकदमा दर्ज हुआ था। इस मामले में एमपी-एमएलए कोर्ट के न्यायाधीश योगेश यादव ने 6 जुलाई 2023 को सभी आरोपियों को डेढ़ साल का कारावास और कुल 23 हजार एक सौ रुपये के जुर्माने की सजा सुनाई थी।
इसे लेकर सत्र अदालत में अपील दायर की गई थी लेकिन अदालत ने उसे खारिज कर दिया। विशेष न्यायाधीश एकता वर्मा ने इस अपील को खारिज करते हुए पूर्व विधायक समेत तीनों दोषियों को एमपी-एमएलए मजिस्ट्रेट की अदालत में हाजिर होने का आदेश दिया था। इसी आदेश के तहत तीनों आरोपियों को मजिस्ट्रेट की अदालत में पेश होना था। लेकिन जब वे पेश नहीं हुए तो उनके खिलाफ वारंट जारी किया गया। हालांकि इस मामले में तीसरे आरोपी रुखसार अहमद ने 4 जून को कोर्ट में सरेंडर कर दिया। लेकिन चंद्र भद्र सिंह और सूर्य प्रकाश ने उसी दिन एक अर्जी देकर स्वास्थ्य खराब होने को लेकर कोर्ट में उपस्थित न हो पाने की बात कही और अतिरिक्त समय की मांग की। लेकिन अदालत ने इससे इनकार करते हुए गैर जमानती वारंट जारी कर दिया और आत्मसमर्पण के लिए 10 जून तक का समय दे दिया। जिसके बाद आज दोनों आरोपियों ने कोर्ट में आत्मसमर्पण किया। दोनों आरोपियों को जेल भेज दिया गया।
सुलतानपुर के बाहुबली नेता हैं चंद्र भद्र सिंह
बता दें कि सुलतानपुर की राजनीति में चंद्र भद्र सिंह उर्फ सोनू सिंह और उनके भाई यश भद्र सिंह उर्फ मोनू सिंह का काफी दबदबा माना जाता है। सोनू सिंह ने साल 2002 में समाजवादी पार्टी के साथ जुड़कर अपनी राजनीतिक पारी शुरू की थी। लेकिन 2009 में उन्होंने दल बदलकर बहुजन समाज पार्टी का दामन थाम लिया। वहीं जब 2012 में उन्हें टिकट नहीं मिला तो उन्होंने पीस पार्टी (पीपी) में शामिल होकर चुनाव लड़ा। इसके बाद जब 2014 में वरुण गांधी ने सुलतानपुर से चुनाव लड़ा तो सोनू भाजपा में शामिल हो गए। लेकिन 2019 में सोनू सिंह वरुण गांधी का साथ छोड़कर बसपा में चले गए, जहां मायावती ने उन्हें सुलतानपुर से टिकट दिया। इस बार भाजपा प्रत्याशी मेनका गांधी ने उन्हें 14 हजार वोटों से हरा दिया। इसके बाद 2024 के लोकसभा चुनाव से ठीक पहले सोनू सिंह फिर एक बार समाजवादी पार्टी में शामिल हो गए।
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