श्रावस्ती के जिलाधिकारी अजय कुमार द्विवेदी ने बताया कि मुख्यमंत्री के निर्देशानुसार भू-राजस्व संबंधी वादों के तुरंत निस्तारण के लिए विशेष अभियान चलाया जा रहा है। इसी क्रम में श्रावस्ती ने धारा-116 के तहत दर्ज मामलों के निस्तारण...
सीएम योगी की पहल लाई रंग : यूपी में भू-राजस्व वादों के निपटारे में श्रावस्ती अव्वल, विकास को मिली गति
Jan 19, 2025 15:42
Jan 19, 2025 15:42
धारा-116 के मामलों में श्रावस्ती की उपलब्धि
श्रावस्ती के जिलाधिकारी अजय कुमार द्विवेदी ने बताया कि मुख्यमंत्री के निर्देशानुसार भू-राजस्व संबंधी वादों के तुरंत निस्तारण के लिए विशेष अभियान चलाया जा रहा है। इसी क्रम में श्रावस्ती ने धारा-116 के तहत दर्ज मामलों के निस्तारण में प्रदेश में पहला स्थान प्राप्त किया। इस उपलब्धि के साथ श्रावस्ती ने मैनपुरी (दूसरा स्थान) और हापुड़ (तीसरा स्थान) को पीछे छोड़ दिया।
धारा-67 के मामलों में भी श्रावस्ती का दबदबा
धारा-67 के अंतर्गत दर्ज मामलों में भी श्रावस्ती ने उल्लेखनीय प्रदर्शन किया है। इस श्रेणी में श्रावस्ती ने प्रदेश में पहला स्थान हासिल किया, जबकि महोबा और मुरादाबाद ने क्रमशः दूसरा और तीसरा स्थान प्राप्त किया। 5 वर्ष से अधिक समय से लंबित मामलों के निस्तारण में भी श्रावस्ती ने हापुड़ और हाथरस के साथ शानदार प्रदर्शन किया।
भू-राजस्व मामलों में तुरंत निपटान के लाभ
भू-राजस्व मामलों के तुरंत निस्तारण का सीधा लाभ जनता को मिल रहा है। न केवल विवादित भूमि पर विकास कार्यों को गति मिली है, बल्कि भूमि उपयोग से संबंधित अड़चनों का भी समाधान हुआ है। लंबित मामलों के निपटारे से किसानों और अन्य भूमिधारकों को राहत मिली है, जिससे उनकी जमीन का बेहतर उपयोग संभव हो सका है।
अन्य धाराओं में श्रावस्ती की रैंकिंग
श्रावस्ती ने धारा-34 के तहत लंबित मामलों के निपटारे में प्रदेश में नौवां स्थान प्राप्त किया। इस श्रेणी में शामली, महोबा और हमीरपुर शीर्ष तीन स्थानों पर रहे। कुल न्यायालयों के सापेक्ष लंबित वादों के औसत में श्रावस्ती सातवें पायदान पर रहा, जबकि गाजीपुर, प्रतापगढ़ और बलिया शीर्ष तीन स्थानों पर रहे।
सीएम योगी की दूरदर्शी सोच का प्रभाव
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की नीति और निर्देशों का परिणाम है कि प्रदेश में भू-राजस्व मामलों की निस्तारण दर में तेज़ी आई है। इस पहल ने न केवल प्रशासन पर जनता का विश्वास बढ़ाया है, बल्कि प्रदेश में विकास कार्यों के लिए जमीन तैयार करने का मार्ग भी प्रशस्त किया है।