कानपुर में बीते रविवार की रात को कालिंदी एक्सप्रेस को डिटेल करने की साजिश नाकाम होने की जांच में जीआरपी,आरपीएफ,कानपुर कमिश्नरेट, कन्नौज...
Kanpur News : रेल हादसे की नाकाम साजिश को लेकर एनआईए के हाथ लगे अहम सबूत, जानें पूरी डिटेल
Sep 14, 2024 01:26
Sep 14, 2024 01:26
छह होटल में देर रात एनआईए ने की छानबीन
कानपुर कमिश्नरेट समेत तमाम जिलों की पुलिस और कई एजेंसियों से बात की गई। कानपुर कमिश्नर पुलिस कुछ भी कहने की स्थिति में नहीं है। दूसरी एजेंसियों से भी कुछ महत्वपूर्ण जानकारी नहीं मिल सकी है। ईस्ट जोन के छह होटल में देर रात एनआईए ने छानबीन की है। एनआईए को कुछ महत्वपूर्ण सबूत हाथ लगे हैं। जिन संदिग्ध लोगों की तस्वीर एजेंसियों के पास आई है। उनकी इन होटल में से किसी एक होटल में रुकने की पुष्टि हो रही है।एनआईए सूत्रों की माने तो होटल के रिसेप्शन और दो रूम के बीच लगे कैमरे से जो तस्वीर सामने आई है वह तस्वीरें सीसीटीवी फुटेज से मिलती-जुलती है। इस आधार पर एनआईए ने अपनी जांच को आगे गति दे दी है।दरअसल एनआईए को जो तस्वीरें मिली है उनमें से एक मेरठ का शातिर मौलाना है।जबकि दूसरा पश्चिम बंगाल का रहने वाला शख्स है। सबसे बड़ी बात यह है कि यह लोग जिस होटल में रुके थे उसके एक कमरे में कोलकाता से कानपुर सेंट्रल तक का राजधानी एक्सप्रेस का एक टिकट भी मिला है। इस होटल में दी गई आईडी भी ठीक नहीं है। वारदात वाले दिन सुबह 10:00 बजे से यह लोग होटल छोड़ गए थे।एनआईए होटल से लेकर मुख्य चौराही तक की फुटेज चेक कर रही है।
50 से ज्यादा लोगों से की गई पूछताछ
इस हादसे की सुराग तलाशने में लगी टीमें अलग-अलग काम पर कर रही है। 500 से ज्यादा सीसीटीवी फुटेज खंगाले है और 50 से ज्यादा लोगों से सघन पूछताछ की गई है। अगर एटीएस और एनआईए के सूत्रों की माने तो इसमें लोकल मॉड्यूल के शामिल होने की बात कही जा रही है। साथ हीं यह भी कहा जा रहा है कि लोकल मॉड्यूल की मदद के बिना यूपी के बाहर के दहशतगर्द इस तरह की वारदात को अंजाम नहीं दे सकते हैं। एजंसियों ने एक बात की पुष्टि की है कि यह कोई लोकल मॉड्यूल की शरारत नहीं है बल्कि दूसरे प्रदेश में रची गई साजिश को कानपुर में प्रयोग किया गया है। माही अनवरगंज कासगंज रेलवे लाइन की बिल्हौर के पास मुंडेरी क्रॉसिंग के आसपास कालिंदी एक्सप्रेस को विस्फोटक से उड़ने की साजिद में खुफिया की टीम भी सकरी हो गई
शरारती तत्वों की तलाश जारी
वही मिशन के तहत खोजबीन की बारीक बिंदुओं के आधार पर अपराधियों की तलाश जारी है। बस्ती में छुपे स्लीपर सेल के तलाश में निगहबानी की जा रही है। फोरेंसिक टीम की मदद से झाड़ियां में मिले पैरों के निशान भी लिए गए हैं। पेट्रोल की बोतल कैरीबेग व सिलेंडर से मिले उंगलियों के निशान से उन शरारती तत्वों की तलाश की जा रही है। सीसीटीवी फुटेज में मिले दो बाइक सवार की भी तलाश में पूछताछ की जा रही है। इस वजह से करीब एक दर्जन से ज्यादा लोगों को हिरासत में लिया गया है। वैसे ट्रक के आसपास मिले पैरों के निशान भी स्लीपर सेल तक पहुंचने में मददगार साबित हो सकते हैं। खुफिया विभाग इस मिशन में लगा है कि उन लोगों को चिन्हित किया जा सके जो इलाके में अराजकता से जुड़े रहते हैं। बस्ती में छुपे युवकों की भी कद काठी के साथ से सूची बनाई जा रही है। खुफिया विभाग ने इतना तो अंदाज लगाया कि लोकल जुड़ाव के बिना इस इलाके में भारी सिलेंडर लेकर साजिश नहीं रची जा सकती है।
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