शकुंतला मिश्रा विश्वविद्यालय : ओबीसी छात्रों के लिए आधार बेस्ड अटेंडेंस अनिवार्य, दशमोत्तर छात्रवृत्ति योजना के तहत निर्णय

ओबीसी छात्रों के लिए आधार बेस्ड अटेंडेंस अनिवार्य, दशमोत्तर छात्रवृत्ति योजना के तहत निर्णय
UPT | डॉ. शकुंतला मिश्रा राष्ट्रीय पुनर्वास विश्वविद्यालय

Oct 04, 2024 13:04

पुनर्वास विश्वविद्यालय ने शैक्षिक सत्र 2024-25 से कई स्नातक और परास्नातक पाठ्यक्रमों के अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) के विद्यार्थियों के लिए आधार बेस्ड बायोमीट्रिक या फेशियल ऑथेंटिकेशन को अनिवार्य कर दिया है।

Oct 04, 2024 13:04

Lucknow News :  डॉ. शकुंतला मिश्रा राष्ट्रीय पुनर्वास विश्वविद्यालय ने शैक्षिक सत्र 2024-25 से कई स्नातक और परास्नातक पाठ्यक्रमों के अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) के विद्यार्थियों के लिए आधार बेस्ड बायोमीट्रिक या फेशियल ऑथेंटिकेशन को अनिवार्य कर दिया है। यह कदम विश्वविद्यालय के जिला समाज कल्याण अधिकारी ने दशमोत्तर छात्रवृत्ति योजना के तहत लिया गया है। इस योजना का उद्देश्य छात्रवृत्ति और शुल्क प्रतिपूर्ति को केवल उन्हीं छात्रों तक सीमित रखना है, जिनकी उपस्थिति 75 प्रतिशत या उससे अधिक होगी।

इन पाठ्यक्रमों ओबीसी विद्यार्थियों के लिए अनिवार्य   
इस संबंध में विश्वविद्यालय के अधिष्ठाता छात्र कल्याण विभाग (डीएसडब्ल्यू) की ओर से एक सूचना जारी की गई है, जिसमें यह साफ तौर पर कहा गया है कि ओबीसी विद्यार्थियों (अल्पसंख्यक को छोड़कर) के लिए उपस्थिति दर्ज कराने का यह नया नियम अनिवार्य होगा। बीटेक, बीफार्मा, एलएलएम, एमटेक, एमबीए, एमसीए और पीएचडी पाठ्यक्रमों में दाखिल विद्यार्थियों को इस प्रणाली का पालन करना होगा।




दशमोत्तर छात्रवृत्ति योजना से जुड़ा निर्णय
डीएसडब्ल्यू डॉ आशुतोष पाण्डेय ने बताया कि यह निर्णय 2023 की दशमोत्तर छात्रवृत्ति योजना नियमावली के अनुसार लिया गया है। योजना के तहत, 2024-25 के शैक्षिक सत्र में केवल उन्हीं विद्यार्थियों को छात्रवृत्ति और शुल्क प्रतिपूर्ति का लाभ दिया जाएगा, जिनकी उपस्थिति 75 प्रतिशत या उससे अधिक होगी। विद्यार्थियों की उपस्थिति को प्रतिदिन आधार आधारित बायोमीट्रिक या फेशियल ऑथेंटिकेशन के जरिए दर्ज किया जाएगा। नए नियम के अनुसार, 75 प्रतिशत से कम उपस्थिति वाले छात्रों को न तो छात्रवृत्ति मिलेगी और न ही उनकी शुल्क प्रतिपूर्ति की जाएगी। यह प्रणाली यह सुनिश्चित करने के लिए लागू की गई है कि विद्यार्थी नियमित रूप से कक्षाओं में उपस्थित रहें और शैक्षिक कार्यक्रमों में सक्रिय रूप से भाग लें।

उपस्थिति दर्ज करने की प्रक्रिया
डीएसडब्ल्यू डॉ आशुतोष ने बताया कि विवि में पढ़ने वाले ओबीसी छात्रों को प्रतिदिन दो बार उपस्थिति दर्ज करनी होगी। सुबह 9:30 से 10 बजे के बीच और शाम को 4 से 4:30 बजे के बीच उन्हें आधार आधारित बायोमीट्रिक या फेशियल ऑथेंटिकेशन के जरिए अपनी उपस्थिति दर्ज करनी होगी। उपस्थिति तभी पूरी मानी जाएगी जब छात्र दोनों समय अपनी उपस्थिति दर्ज करेंगे। यदि कोई छात्र केवल एक समय पर उपस्थिति दर्ज करता है, तो वह उपस्थिति अधूरी मानी जाएगी और इसका प्रभाव छात्रवृत्ति और शुल्क प्रतिपूर्ति पर पड़ेगा। इस नए नियम का उद्देश्य छात्रों की उपस्थिति को सही ढंग से मॉनिटर करना और उन्हें समय पर कक्षाओं में उपस्थित रहने के लिए प्रोत्साहित करना है।

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