नैनीताल बैंक साइबर अटैक : पुलिस ने 45 अकाउंट सीज किए, जल्द होगा सभी फर्जी खातों का खुलासा

पुलिस ने 45 अकाउंट सीज किए, जल्द होगा सभी फर्जी खातों का खुलासा
UPT | नोएडा नैनीताल बैंक

Jul 26, 2024 15:42

नोएडा में स्थित नैनीताल बैंक के आरटीजीएस (रियल टाइम ग्रॉस सेटलमेंट) चैनल हैक कर 16 करोड़ रुपये की जालसाजी की घटना में साइबर क्राइम पुलिस को लगातार कामयाबी मिल रही है।

Jul 26, 2024 15:42

Noida News : नोएडा में स्थित नैनीताल बैंक के आरटीजीएस (रियल टाइम ग्रॉस सेटलमेंट) चैनल हैक कर 16 करोड़ रुपये की जालसाजी की घटना में साइबर क्राइम पुलिस को लगातार कामयाबी मिल रही है। पुलिस ने बृहस्पतिवार को 45 खातों में जमा 25 लाख रुपये फ्रीज कराए हैं। इससे पहले डेढ़ करोड़ रुपये की रकम भी फ्रीज कराई जा चुकी है। 

कैसे निकाले पैसे
नैनीताल बैंक के आईटी मैनेजर सुमित कुमार श्रीवास्तव ने साइबर क्राइम थाने में शिकायत दर्ज कराई थी कि बैंक के आरटीजीएस चैनल को हैक करके 16 करोड़ रुपये की जालसाजी की गई है। प्राथमिक जांच में पता चला कि हैकर्स ने बैंक के मास्टर रिजर्व से पैसे निकालने के लिए मालवेयर अटैक या किसी लिंक के जरिए मैनेजर का एक्सेस कोड हासिल किया और मास्टर सर्वर को हैक कर लिया। बैंक के मास्टर रिजर्व से पहले से तैयार 84 खातों में पैसे ट्रांसफर कर दिए गए। इस घटना में बैंक के खाताधारकों के व्यक्तिगत खातों में सेंधमारी नहीं की गई है। 

70 खातों में मिले पैसे
पुलिस को मुंबई, दिल्ली, और यूपी के विभिन्न स्थानों पर 70 खातों की जानकारी मिली है, जिन्हें फ्रीज कर दिया गया है। साइबर क्राइम पुलिस अब साइबर एक्सपर्ट्स की भी मदद ले रही है। अधिकारियों का दावा है कि इस मामले में जल्द ही सफलता मिलेगी। साइबर अटैक के संबंध में प्राप्त जानकारी के अनुसार जालसाजों ने कुछ रकम विभिन्न शहरों के एटीएम से निकाली है, जिसमें दिल्ली के एटीएम भी शामिल हैं। 

पुलिस का बयान
साइबर क्राइम थाने के प्रभारी निरीक्षक विजय कुमार ने बताया कि इस मामले की जांच चल रही है। अब तक 1 करोड़ 75 लाख रुपये फ्रीज कराए जा चुके हैं और 70 खातों की भी जानकारी प्राप्त की गई है। हम साइबर एक्सपर्ट्स की मदद से मामले की गहराई से जांच कर रहे हैं।"

पुलिस का दावा- जल्द होगा खुलासा
पुलिस की योजना है कि जल्दी से जल्दी सभी फ्रीज किए गए खातों से रकम को रिकवर किया जाए और इस साइबर अटैक में शामिल अपराधियों की गिरफ्तारी सुनिश्चित की जाए। साथ ही बैंक और अन्य संबंधित संस्थानों के साथ मिलकर सुरक्षा प्रोटोकॉल को और सख्त करने की कोशिश की जाएगी, ताकि भविष्य में इस तरह की घटनाओं को रोका जा सके।

कैसे दिया इतनी बड़ी गड़बड़ी को अंजाम
आपको बता दें कि इस मामले को लेकर जब 20 जून को जांच आगे बढ़ी तो पता चला कि जिस बैलेंस शीट में गड़बड़ी मिली है। इसमें 85 फीसदी लेनदेन कैश में की गई है। इसके बाद जांच में पता चला कि 16 करोड़ एक लाख 83 हजार 261 रुपये की धोखाधड़ी हुई है। इन पैसों को बैंक से 84 बार में अलग-अलग खातों में भेजा गया है। साइबर क्राइम थाने के प्रभारी निरीक्षक विजय कुमार का कहना है कि इस मामले में थाने में मुकदमा दर्ज कर लिया गया है और इस मामले की जांच के लिए एक डेडिकेटेड टीम बनाई गई है। इस मामले में पुलिस की टीम कई अन्य एजेंसियों की मदद ले रही है।

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