सावन के आखिरी सोमवार को सर्वार्थ सिद्धि योग, शोभन योग के साथ चंद्रमा और शनि की कुंभ राशि में युति होने से गजकेसरी योग का निर्माण हो रहा है। ऐसा योग करीब 80 साल बाद बन रहा है।
सावन का आखिरी सोमवार : 80 साल बाद लग रहा ये योग, शिव की ऐसे पूजा करने से दूर होंगे सभी दोष
Aug 18, 2024 21:52
Aug 18, 2024 21:52
- 80 साल बाद सावन माह में चंद्रमा व शनि की कुंभ राशि में युति
- सावन के आखिरी सोमवार को रक्षाबंधन पर्व पर बांधे शिव को राखी
- चंद्रमा और गुरु भी एक दूसरे से केंद्र भाव में मौजूद
इन योगों में सावन के आखिरी सोमवार
सावन के आखिरी सोमवार को सर्वार्थ सिद्धि योग, शोभन योग के साथ चंद्रमा और शनि की कुंभ राशि में युति होने से गजकेसरी योग का निर्माण हो रहा है। ऐसा योग करीब 80 साल बाद बन रहा है। इस दिन चंद्रमा और गुरु एक दूसरे से केंद्र भाव में मौजूद रहने वाले हैं। इसी के साथ सावन के आखिरी सोमवार को रवि योग सुबह 8.10 मिनट से आरंभ होगा।
सावन माह भगवान भोलेनाथ को बेहद प्रिय
सावन माह भगवान भोलेनाथ को बेहद प्रिय है। इस साल सावन माह का समापन सोमवार के दिन हो रहा है। सावन के सोमवार को शिव पूजा से मोक्ष की प्राप्ति होती है। कल सावन का आखिरी सोमवार है। कल सावन के आखिरी सोमवार को कई शुभ योग बन रहे हैं। इस दौरान भगवान शिव की पूजा करना फलदायी साबित होगा। अंतिम सावन सोमवार का व्रत 19 अगस्त कल है। अंतिम सावन सोमवार के दिन सावन माह के शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि है।
पांच शुभ संयोग का निर्माण
सावन के आखिरी सोमवार को पांच शुभ संयोग का निर्माण हो रहा है। अंतिम सावन सोमवार पर शोभन योग सुबह से लेकर देर रात 12.47 मिनट तक रहेगा। रवि योग सुबह 5.53 मिनट से सुबह 8.10 मिनट तक रहेगा। रवि योग में पूजा-अर्चना करने से व्यक्ति के सभी दोष खत्म हो जाते हैं। इस दिन सर्वार्थ सिद्धि योग सुबह 05.53 मिनट से लेकर 08.10 मिनट तक रहेगा। इस योग में कोई भी कार्य करने से निश्चित सफलता मिलती है। इन शुभ योगों के अलावा सावन पूर्णिमा और रक्षाबंधन भी है। इस दौरान स्नान और दान करने से पुण्य फल की प्राप्ति होती है।
इस शुभ समय में पूजा से होगा लाभ
सावन के आखिरी सोमवार के दिन शिव पूजा के लिए सबसे उत्तम मुहूर्त सुबह 05.53 मिनट से लेकर सुबह 08.10 मिनट के बीच का है। इस दौरान भगवान शिव की पूजा विधिवत रूप से करने से भोलेनाथ प्रसन्न होंगे और उसका लाभ मिलेगा।
सोमवार का दिन चंद्र ग्रह का
इसके बाद भाद्रपद यानी भादो को महीना शुरू हो जाएगा। इस साल सावन का आखिरी सोमवार बहुत खास है। क्योंकि सावन का आखिरी और पांचवा सोमवार पूर्णिमा तिथि को हैं इसी के साथ ही इस दिन रक्षाबंधन भी है। माना जाता है कि इस दिन जाप, तप और ध्यान करना अच्छा होता है। पौराणिक कथाओं के अनुसार सोमवार का दिन चंद्र ग्रह का है और चंद्रमा के नियंत्रक भगवान शिव है। इस दिन भगवान की पूजा करने से न केवल चंद्रमा बल्कि भगवान शिव की कृपा मिलती है।
सावन के आखिरी सोमवार को करें ये उपाय
सावन खत्म होने से पहले शिवलिंग का पंचामृत (दूध, दही, घी, शहद और शक्कर) से अभिषेक करें और शिवलिंग को गंगा जल से स्नान कराएं और बेलपत्र चढ़ाएं। सावन के आखिरी सोमवार को 108 बार महामृत्युंजय मंत्र का जाप करें। मंत्र जाप करते समय मन को एकाग्र रखें। इससे मन को शांति मिलती है और जीवन सुखदायी हो जाता है।
सावन के आखिरी सोमवार के दिन शिव तांडव स्तोत्र का पाठ
सावन के आखिरी सोमवार के दिन शिव तांडव स्तोत्र का पाठ करने से शिव जी प्रसन्न होते हैं और इस स्तोत्र का पाठ करने से जीवन में आने वाली बाधाएं दूर होती है। सावन सोमवार के दिन अपने निकटतम शिव मंदिर में जाकर दर्शन करें और भगवान शिव को पुष्प अर्पित करें इसके अलावा जरूरतमंदों को भोजन, कपड़े या धन दान करें और पशु-पक्षियों को दाना-पानी दें। इन उपायों को करने से आपको शिव जी का आशीर्वाद प्राप्त हो सकता है।
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