संभल के उपद्रवियों पर सख्ती : पत्थरबाजों की पहचान के लिए पूरे शहर में पोस्टर लगेंगे, नुकसान की भरपाई के लिए वसूली होगी

पत्थरबाजों की पहचान के लिए पूरे शहर में पोस्टर लगेंगे, नुकसान की भरपाई के लिए वसूली होगी
UPT | संभल के पत्थरबाजों-उपद्रवियों पर योगी सरकार सख्त

Nov 27, 2024 13:08

प्रदेश की योगी सरकार सार्वजनिक स्थानों पर पत्थरबाजों और उपद्रवियों के पोस्टर लगाएगी और उनसे वसूली भी करेगी...

Nov 27, 2024 13:08

Short Highlights
  • संभल के पत्थरबाजों-उपद्रवियों पर योगी सरकार सख्त
  • प्रदेश में पत्थरबाजों और उपद्रवियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई
  • अपराधियों के खिलाफ नुकसान की वसूली और पोस्टर का अध्यादेश जारी
  • मीडिया में भी जारी किए जाएंगे फोटो
Sambhal Jama Masjid : उत्तर प्रदेश के संभल में हुए बवाल के बाद योगी सरकार अपराधियों और उपद्रवियों के खिलाफ कड़ा कदम उठा सकती है। अब प्रदेश में पत्थरबाजों और उपद्रवियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। जानकारी के अनुसार, प्रदेश की योगी सरकार सार्वजनिक स्थानों पर पत्थरबाजों और उपद्रवियों के पोस्टर लगाएगी और उनसे वसूली भी करेगी। यूपी की योगी सरकार पूर्व में उपद्रवियों और अपराधियों के खिलाफ नुकसान की वसूली और पोस्टर का आदेश जारी कर चुकी है।

संभल शहर के अलावा आसपास के कस्बों और गांवों में भी बवालियों को ढूंढा जा रहा है। दर्जनों लोगों को पुलिस ने हिरासत में भी लिया है। उनसे अलग-अलग थानों में पूछताछ करके अन्य आरोपियों के बारे में जानकारी जुटाई जा रही है। बरेली जोन के एडीजी रमित शर्मा और डीआईजी मुनिराज जी ने मंगलवार सुबह पुलिस फोर्स के साथ शहर में पैदल मार्च किया। इस दौरान उन्होंने व्यापारियों से बातचीत की और कहा कि दुकानें खोलें और व्यापार करें। हालांकि, शहर के अधिकांश बाजारों में दुकानें खुलने के बावजूद सन्नाटा पसरा रहा। शहर की जामा मस्जिद के आसपास की दुकानें नहीं खुलीं। बवाल के बाद से भागे सैकड़ों लोगों के घरों पर अब भी ताले लटके हैं। पूरा इलाका पुलिस छावनी बना है।

मीडिया में भी जारी किए जाएंगे फोटो
कमिश्नर ने बताया कि सर्वे से एक दिन पहले जिला प्रशासन ने जामा मस्जिद कमेटी को नोटिस दिया था। जब सर्वे टीम पहुंची तो संभल विधायक इकबाल महमूद का बेटा सुहेल इकबाल भी जामा मस्जिद पहुंच गया। उसने सर्वे टीम के साथ शामिल होने की बात कही। टीम ने उसे साथ शामिल करने से मना कर दिया। इसके बाद ही भीड़ जुटी और बवाल हुआ। उपद्रव में शामिल लोगों के फोटो शीघ्र ही मीडिया में भी जारी किए जाएंगे, जिससे उन्हें पकड़ने में आसानी होगी। पुलिस ने पथराव करने वाले सैकड़ों आरोपियों को चिह्नित कर लिया है और गिरफ्तारी के लिए ताबड़तोड़ दबिश दी जा रही है। 

संभल हिंसा में पांच की हुई थी मौत
संभल में मस्जिद पर सर्वे के दौरान हुई हिंसा के तीन दिन बाद बुधवार को जनजीवन सामान्य होने लगा है। स्कूल खुल गए हैं और जरूरी सामान बेचने वाली कई दुकानें भी खुल गई हैं, हालांकि जिले में इंटरनेट सेवाएं अभी भी निलंबित हैं। प्रशासन ने हिंसा के बाद संवेदनशील क्षेत्रों में सुरक्षा कड़ी है। पुलिस ने मुख्य चौराहों पर बल तैनात किया है और रैपिड एक्शन फोर्स को भी तैनात किया गया है। हिंसा में पांच लोगों की मौत हुई थी। 30 नवंबर तक बाहरी लोगों और जनप्रतिनिधियों के जिले में प्रवेश पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। पुलिस ने हिंसा के मामले में अब तक 27 लोगों को गिरफ्तार किया है। इस मामले में अब तक 11 एफआईआर दर्ज की हैं। इसमें सात एफआईआर पुलिस ने दर्ज कराई हैं, जबकि चार मृतकों के परिजनों ने कराई हैं। 

सपा सांसद और विधायक के बेटे समेत 2,750 लोगों को आरोपी बनाया 
पुलिस ने समाजवादी पार्टी के सांसद जिया-उर-रहमान बर्क, विधायक इक़बाल महमूद के बेटे सोहैल इकबाल समेत 2,750 अज्ञात लोगों को आरोपी बनाया गया है। पुलिस ड्रोन फुटेज और सीसीटीवी रिकॉर्डिंग की जांच कर रही है। दोनों समुदायों के प्रमुख लोगों ने शांति बनाए रखने और सांप्रदायिक सौहार्द को फिर से मजबूत करने की अपील की है। स्थानीय व्यापारियों और समाजसेवियों ने भी सहयोग की बात कही है। संभल में शांति बहाली के लिए सभी पक्ष एकजुट होकर काम कर रहे हैं। जिला प्रशासन ने हिंसा की मजिस्ट्रेट जांच शुरू कर दी है। संभल के डीएम और एसपी ने सख्त कार्रवाई का आश्वासन दिया है। डीएम राजेंद्र पेंसिया ने कहा कि सर्वे अदालत के आदेश पर कराया गया था और ऐसे मामलों में कानून का पालन आवश्यक है।

संभल के मौजूदा हालात पर एसपी कृष्ण कुमार ने बताया कि संभल जिले में रविवार को हुई घटना के बाद पुलिस ने एहतियातन इंटरनेट बंद करने का आदेश दिया था, जो अब भी जारी है। बाकी सभी चीजें सामान्य हो गई हैं। पुलिस ने घटना में शामिल लोगों की सभी CCTV फुटेज खंगाली है। 100 से अधिक लोगों की पहचान की गई है। जल्द ही पुलिस उन्हें गिरफ्तार कर लेगी।  पिछले 24 घंटे में 27 लोगों को जेल भेजा है, जिनमें 25 पुरुष और 2 महिलाएं हैं। संभल के सांसद जिया-उर-रहमान बर्क को 23 नवंबर को बीएनएस की धारा-168 के तहत नोटिस जारी किया गया है। 

एडीजी बोले- जिनके हाथ में पत्थर, उन्हें नहीं छोड़ा जाएगा
इससे पहले, एडीजी रमित शर्मा ने मंगलवार को लोकनिर्माण विभाग के गेस्ट हाउस में उमला और जिम्मेदार लोगों के साथ शांति समिति की बैठक की। उन्होंने कहा कि निर्दोष लोगों को गिरफ्तार नहीं किया जाएगा। लेकिन जिनके हाथ में पत्थर दिख रहे हैं, उन्हें नहीं छोड़ा जाएगा। रविवार को बवाल के बाद हालात तो काबू में हो गए हैं, लेकिन बवाल का भय लोगों के मन से अभी तक नहीं निकला है। मंगलवार को एडीजी बरेली रमित शर्मा संभल पहुंचे और अमन कमेटी की बैठक की। एडीजी द्वारा उलमा को आश्वस्त किया गया है कि निर्दोष कोई गिरफ्तार नहीं किया जाएगा। उलमा ने भरोसा दिलाया है कि वह अमन का पैगाम शहर में पहुंचाएंगे और शहर में जनजीवन सामान्य कराए जाने के लिए पूरा सहयोग करेंगे। एसपी कृष्ण कुमार विश्नोई के अलावा शहर के उलमा और जिम्मेदार लोग शामिल हुए। एसपी ने बताया कि एडीजी ने बताया कि उलमा से अपील की गई है कि वह अपने-अपने क्षेत्र में लोगों से शांति बनाए रखने की अपील करें। जिससे शहर सामान्य दिनों की रफ्तार पर आगे बढ़ सके। कहा कि जिन व्यापारियों ने दुकान नहीं खोली हैं, उनसे संपर्क कर दुकानों को खुलवाया जाएगा।

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