अनिरुद्धाचार्य का विवादित बयान : शिव को लेकर की थी आपत्तिजनक टिप्पणी, संत हुए नाराज तो कथावाचक ने मांगी माफी

UPT | कथावाचक अनिरुद्धाचार्य

Sep 07, 2024 17:01

कथावाचक अनिरुद्धाचार्य द्वारा भगवान शिव और भगवान कृष्ण के संबंध में दिए गए विवादास्पद बयानों के बाद धार्मिक समुदाय में खलबली मच गई है। इन बयानों की तीखी आलोचना का सामना कर रहे...

Mathura News : कथावाचक अनिरुद्धाचार्य द्वारा भगवान शिव और भगवान कृष्ण के संबंध में दिए गए विवादास्पद बयानों के बाद धार्मिक समुदाय में खलबली मच गई है। इन बयानों की तीखी आलोचना का सामना कर रहे अनिरुद्धाचार्य ने अब सार्वजनिक रूप से माफी मांगी है। उन्होंने कहा, "अगर संतों को दिल दुखा हो तो श्रीचरणों में सिर रखकर माफी मांगता हूं।"

कैसें शुरू हुआ विवाद
कथावाचक अनिरुद्धाचार्य के बयान ने धार्मिक संगठनों और साधुओं के बीच गहरी नाराजगी उत्पन्न कर दी। उनके बयानों की आलोचना करने वाले धार्मिक नेताओं ने इसे अशास्त्रकर और अमर्यादित करार दिया है। खासकर जगदगुरु परमहंस आचार्य ने कहा कि अनिरुद्धाचार्य का बयान अनजाना और अविवेकपूर्ण है। उन्होंने यह भी कहा कि अनिरुद्धाचार्य को अपनी धार्मिक और शास्त्र संबंधी जानकारी में सुधार की आवश्यकता है।

धार्मिक नेताओं की आने लगी प्रतिक्रियाएँ
राष्ट्रवादी बाल संत दिवाकराचार्य जी महाराज ने अनिरुद्धाचार्य पर आरोप लगाया कि वे धर्म को व्यवसाय बना रहे हैं और उन्हें वेद, शास्त्र और उपनिषदों का सही ज्ञान नहीं है। दिवाकराचार्य जी ने चेतावनी दी कि ऐसे व्यक्तियों के बयानों से धार्मिकता को हानि पहुंचती है और समाज में भ्रम फैलता है। निरंजन अखाड़े के साधु संतों ने भी अनिरुद्धाचार्य के बयानों का कड़ा विरोध किया है। उनका कहना है कि अनिरुद्धाचार्य ने अपने निजी फायदे के लिए सनातन संस्कृति का अपमान किया है। साधु संतों ने उत्तराखंड में एसएसपी से भी शिकायत की है, जिसमें उन्होंने धार्मिक भावनाओं की अनदेखी और समाज में धर्म के प्रति गलत संदेश देने का आरोप लगाया है।

माफी के बाद आ रही प्रतिक्रिया
माफी के बाद भी धार्मिक समुदाय में अनिरुद्धाचार्य के बयान के प्रभाव को लेकर विचार-विमर्श जारी है। कई धार्मिक नेता और साधु संत अब भी इस मुद्दे को लेकर चिंतित हैं और मानते हैं कि इस तरह के बयानों से धार्मिक आस्था और समाज में सौहार्द्र प्रभावित होता है।

विवादो से है पुराना नाता
अनिरुद्धाचार्य के मामले में यह कोई पहली बार नहीं है जब उन्होंने विवादित बयान दिया हो. इससे पहले वह माता सीता और द्रौपदी पर भी विवादित टिप्पणी कर चुके हैं। उस बयान में उन्होंने उनकी सुंदरता को दोष बता दिया था।

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