पीलीभीत और लखीमपुर खीरी में एनआईए और पुलिस ने खालिस्तान समर्थक आतंकियों के मददगारों के खिलाफ छापेमारी की। फर्जी दस्तावेजों से होटल में ठहरने वाले आतंकियों के स्थानीय नेटवर्क का पता लगाया जा रहा है। कई संदिग्ध हिरासत में लेकर पूछताछ जारी है।
खालिस्तान समर्थक आतंकियों के सहयोगियों की तलाश : पीलीभीत और लखीमपुर खीरी में एनआईए की छापेमारी, संदिग्ध हिरासत में
Dec 27, 2024 14:30
Dec 27, 2024 14:30
होटल में फर्जी आधार कार्ड से ठहरे थे आतंकी
पंजाब के गुरदासपुर में ग्रेनेड हमले के बाद खालिस्तान जिंदाबाद फोर्स के तीन आतंकी पूरनपुर पहुंचे थे। इन आतंकियों ने होटल हरजी में फर्जी आधार कार्ड की मदद से कमरा लिया था। पुलिस ने होटल का कमरा नंबर 105 सील कर दिया है। होटल में ठहरने और अन्य सहायता उपलब्ध कराने में स्थानीय मददगारों की भूमिका सामने आई है।
गुरविंदर की रिश्तेदार से पूछताछ
लखीमपुर खीरी के निघासन क्षेत्र में एनआईए और पुलिस की टीम ने आतंकी गुरविंदर सिंह की बुआ परमजीत कौर के घर छापा मारा। उनसे यह जानकारी ली गई कि गुरविंदर कब उनके घर आया, कितने दिन रुका और क्या घटना से पहले उनसे संपर्क किया था। टीम ने घर वालों और रिश्तेदारों के करीब दस मोबाइल नंबर भी जब्त किए।
इंग्लैंड से आया था मदद का फोन
पुलिस पूछताछ में यह खुलासा हुआ है कि आतंकियों को मदद के लिए इंग्लैंड से कॉल आया था। यह कॉल हरियाणा के जींद के निवासी सिद्धू ने किया था, जो इंग्लैंड में रहता है। गजरौला के जप्ती गांव निवासी जसपाल सनी ने बताया कि सिद्धू ने ही आतंकियों को ठहराने और फर्जी दस्तावेज उपलब्ध कराने का निर्देश दिया था। सिद्धू ने बलिया के पते पर बने फर्जी आधार कार्ड भी व्हाट्सएप के जरिए भेजे थे।
स्थानीय मददगारों का नेटवर्क उजागर
एनआईए और पुलिस की छानबीन में सामने आया है कि आतंकियों को पूरनपुर में मदद करने के लिए पहले से ही सभी इंतजाम किए गए थे। होटल में ठहरने से लेकर अन्य जरूरतों को पूरा करने के लिए स्थानीय मददगार सक्रिय थे। होटल का किराया कम कराने के लिए भी फोन किया गया था। माना जा रहा है कि जिले में आतंकियों का एक मजबूत स्थानीय नेटवर्क सक्रिय है।
गजरौला के दो युवक पुलिस रडार पर
पुलिस ने गजरौला के जप्ती गांव से दो युवकों को हिरासत में लिया है। ये दोनों होटल के सीसीटीवी फुटेज में आतंकियों के साथ देखे गए थे। इनके खिलाफ फर्जी दस्तावेज के इस्तेमाल और आतंकियों की सहायता करने के आरोप में मुकदमा दर्ज किया गया है।
23 दिसंबर को मुठभेड़ में मारे गए थे आतंकी
23 दिसंबर को पुलिस ने मुठभेड़ में तीन आतंकियों को मार गिराया था। ये आतंकी गुरदासपुर में पुलिस चौकी पर ग्रेनेड फेंकने के बाद पूरनपुर भाग आए थे। मुठभेड़ के दौरान आतंकी हरजी होटल में ठहरने के बाद स्थानीय मददगारों की सहायता से क्षेत्र में छिपे हुए थे।
कड़ी से कड़ी जोड़ने की कोशिश
एनआईए और पुलिस एजेंसियां आतंकियों के स्थानीय संपर्क और मददगारों का पता लगाने के लिए कड़ी से कड़ी जोड़ रही हैं। आतंकी 30 घंटे तक पूरनपुर में रहे या फिर लखीमपुर किसी अन्य स्थान पर गए, इसे लेकर जांच जारी है। स्थानीय मददगारों की भूमिका पर पूरी नजर रखते हुए एजेंसियां नेटवर्क को ध्वस्त करने में जुटी हैं।
फर्जी आधार कार्ड और केस दर्ज
पुलिस ने फर्जी आधार कार्ड के इस्तेमाल और आतंकियों को मदद पहुंचाने के आरोप में तीनों मारे गए आतंकियों समेत पांच अन्य संदिग्धों पर केस दर्ज किया है। होटल मैनेजर से भी पूछताछ की गई, हालांकि बाद में उसे छोड़ दिया गया।
संदिग्धों से पूछताछ जारी
पुलिस और एनआईए की टीमें लगातार संदिग्धों से पूछताछ कर रही हैं। इस जांच में स्थानीय निवासियों के बयान, सीसीटीवी फुटेज और मोबाइल डेटा का अध्ययन किया जा रहा है। आतंकियों के मददगारों को चिन्हित कर उन पर सख्त कार्रवाई की जाएगी। एनआईए और पुलिस की यह छापेमारी खालिस्तान समर्थक आतंकियों के खिलाफ जारी अभियान का हिस्सा है। जांच एजेंसियां सुनिश्चित कर रही हैं कि इस नेटवर्क को जल्द से जल्द ध्वस्त किया जाए।
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