वरिष्ठ शिया धर्मगुरु और मौलाना यासूब अब्बास के पिता स्वर्गीय ख़तीबे अकबर मौलाना मिर्ज़ा मोहम्मद अतहर के नाम पर विशाल द्वार पुराने लखनऊ के नक्खास में बनाया जाएगा। गुरुवार को इसकी नींव रखने के खास मौके पर शिया धर्मगुरुओं के साथ सुन्नी उलमा भी मौजूद रहे।
Lucknow News : लखनऊ में बनेगा खतीबे-अकबर मौलाना मिर्जा मोहम्मद अतहर द्वार
Nov 14, 2024 18:57
Nov 14, 2024 18:57
ये मौलाना रहे शामिल
इस मौके पर हुज्जतुल इस्लाम मौलाना सैय्यद फरीदुल हसन (प्रिंसिपल, मदरसए जामए नाजमिया, लखनऊ), मौलाना डॉ. यासूब अब्बास, हजरत मौलाना फजलुल मन्नान (इमामे जुमा, टीले वाली मस्जिद, लखनऊ), हुज्जतुल इस्लाम मौलाना मुस्लिम, हुज्जतुल इस्लाम मौलाना रजा अब्बास, हुज्जतुल इस्लाम मौलाना कमर अब्बास, मौलाना अनवर हुसैन रिजवी, हुज्जतुल इस्लाम मौलाना इब्राहीम द्वारा रखी गई। इस खास मौके पर हुज्जतुल इस्लाम मौलाना हसन मीरपुरी, हुज्जतुल इस्लाम मौलाना फराज वास्ती, मौलाना कुमैल अब्बास, मौलाना अली जाफर, मौलाना अली हुसैन कुम्मी, मौलाना मजाहिर रिजवी, मौलाना सदफ जौनपुरी, लईक आगा छम्मन (पार्षद, कश्मीरी मोहल्ला वार्ड, नगर निगम, लखनऊ), अब्बास मुर्तुजा शम्सी, सीनियर सहाफी जहीर मुस्तफा, हसन मेहदी छब्बू समेत मुस्लिम समुदाय के लोग मौजूद रहे।
मौलाना मिर्जा मोहम्मद अतहर ने भारत सहित विदेश में बनाई पहचान
मौलाना मिर्जा मोहम्मद अतहर शिया मुस्लिम समुदाय के प्रतिष्ठित धर्मगुरु थे। उनका जन्म लखनऊ में हुआ था। मौलाना अतहर ने अपनी शिक्षा सुल्तान-उल-मदारीस से प्राप्त की, जहां उन्होंने 'सद्र-उल-अफाजिल' की डिग्री प्राप्त की। इसके अलावा उन्होंने लखनऊ विश्वविद्यालय से फारसी साहित्य में मास्टर्स की उपाधि भी प्राप्त की। मुहर्रम की मजलिसों का पांच दशकों तक संबोधन मुहर्रम की मजलिसों में मौलाना मिर्जा मोहम्मद अतहर का अहम योगदान रहा। 2008 में उन्होंने मुंबई में लगातार पचास वर्षों तक मुहर्रम पर मजलिस को खिताब करने का महत्वपूर्ण कीर्तिमान पूरा किया। उनका प्रभाव न केवल लखनऊ में बल्कि पूरे भारत, पाकिस्तान, मध्य पूर्व, ब्रिटेन, अमेरिका और ऑस्ट्रेलिया तक था।
अखिल भारतीय शिया पर्सनल लॉ बोर्ड के बने पहले अध्यक्ष
मौलाना मिर्जा मोहम्मद अतहर को 23 जनवरी 2005 को अखिल भारतीय शिया पर्सनल लॉ बोर्ड (AISPLB) का पहला अध्यक्ष चुना गया। यह उनकी विद्वता और नेतृत्व क्षमता का प्रमाण था कि उन्हें इस सम्मानित पद के लिए चुना गया।
दिल्ली में निधन और लखनऊ में अंतिम विदाई
26 फरवरी 2016 को मौलाना मिर्जा मोहम्मद अतहर का निधन नई दिल्ली के अस्पताल में हुआ। उनकी अंतिम यात्रा लखनऊ में उनके पैतृक स्थान पर स्थित कर्बला इमदाद हुसैन खान, राजाजीपुरम में संपन्न हुई, जहां उन्हें उनके पिता की कब्र के पास दफनाया गया। उनकी अंतिम यात्रा में बड़ी संख्या में लोगों ने भाग लिया। मौलाना मिर्जा मोहम्मद अतहर ने अपने जीवन में शिया समुदाय और आम जनता के बीच अपने ज्ञान, प्रवचनों और नेतृत्व के माध्यम से एक स्थायी छाप छोड़ी।
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