सिर्फ दस दिन में घर पहुंचेगा डीएल : यूपी में तीन कंपनियां संभालेंगी ड्राइविंग लाइसेंस प्रिंट और डिलीवरी

यूपी में तीन कंपनियां संभालेंगी ड्राइविंग लाइसेंस प्रिंट और डिलीवरी
UPT | Uttar Pradesh Transport Department

Sep 27, 2024 17:51

डीएल प्रिंट करने की जिम्मेदारी तीन कंपनियों को सौंपी जाएगी। प्रत्येक कंपनी को दो-दो क्षेत्र आवंटित किए जाएंगे और वे पूरे प्रदेश में डीएल की डिलीवरी डाक के माध्यम से करेंगी...

Sep 27, 2024 17:51

Short Highlights
  • यूपी के परिवहन विभाग ने नई व्यवस्था शुरू करने का निर्णय लिया
  • आवेदकों को केवल दस दिनों के भीतर डीएल प्राप्त होगा
  • डीएल प्रिंट करने की जिम्मेदारी तीन कंपनियों को सौंपी जाएगी
Lucknow News : यूपी के परिवहन विभाग ने ड्राइविंग लाइसेंस (डीएल) के आवेदकों के लिए एक नई व्यवस्था शुरू करने का निर्णय लिया है, जिससे अब आवेदकों को केवल दस दिनों के भीतर डीएल प्राप्त होगा। इस प्रक्रिया के तहत, डीएल प्रिंट करने की जिम्मेदारी तीन कंपनियों को सौंपी जाएगी। प्रत्येक कंपनी को दो-दो क्षेत्र आवंटित किए जाएंगे और वे पूरे प्रदेश में डीएल की डिलीवरी डाक के माध्यम से करेंगी। इससे आवेदकों के पते पर सात से दस दिनों के भीतर उनका डीएल पहुंच जाएगा। अगर समय पर डीएल नहीं पहुंचता है, तो संबंधित कंपनी पर जुर्माना लगाने का भी प्रावधान रखा गया है।

विभाग ने जारी किया नया टेंडर
दरअसल, वर्तमान में जिस कंपनी को ड्राइविंग लाइसेंस (डीएल) प्रिंट करके डाक से भेजने की जिम्मेदारी दी गई थी, उसका ठेका पिछले फरवरी में समाप्त हो गया था। दूसरी कंपनियों को आमंत्रित करने के लिए टेंडर प्रक्रिया में देरी के कारण, उस कंपनी के ठेके को छह महीने के लिए बढ़ाकर फरवरी 2025 तक जारी रखा गया है। इस बीच, विभाग ने नया टेंडर जारी किया है, जिसमें मौजूदा कंपनी को छोड़कर 14 अन्य कंपनियों ने डीएल प्रिंट करने और डाक के माध्यम से भेजने के लिए अपनी दावेदारी पेश की है।



सभी जिलों को तीन श्रेणियों में बांटा जाएगा
वहीं उत्तर प्रदेश के सभी 75 जिलों को तीन श्रेणियों में बांटकर ड्राइविंग लाइसेंस (डीएल) की डिलीवरी की जाएगी। इस व्यवस्था के तहत, एल वन कंपनी को मेरठ और वाराणसी क्षेत्र का प्रभार दिया गया है, जबकि एल टू कंपनी को लखनऊ और बरेली का और एल थ्री कंपनी को आगरा और कानपुर का जिम्मा सौंपा गया है।

कंपनी पर सात करोड़ का बकाया
वर्तमान में ड्राइविंग लाइसेंस प्रिंट करने और आवेदकों के पते पर भेजने की जिम्मेदारी निभाने वाली स्मार्ट चिप कंपनी पर परिवहन विभाग का लगभग सात करोड़ रुपये बकाया है। इस वजह से इस बार कंपनी ने नए टेंडर में भाग नहीं लिया। जबकि नया टेंडर जारी किए जाने के बाद, 14 कंपनियों इसमें अपनी रुचि दिखाई है

तीम कमांड सेंटर स्थापित किए जाएंगे
जानकारी के अनुसार, मुख्यालय पर तीन कमांड सेंटर स्थापित किए जाएंगे, जहां तीन कंपनियों को कार्य का वितरण किया जाएगा। प्रत्येक सेंटर पर कंप्यूटर, सीसीटीवी कैमरे और अन्य उपकरण लगाए जाएंगे ताकि ड्राइविंग लाइसेंस प्रिंट करने की प्रक्रिया में तेजी लाई जा सके। हालांकि, कंपनियों द्वारा प्रस्तुत किए गए नए प्रिंटिंग दर अभी सार्वजनिक नहीं किए गए हैं। वर्तमान में, कंपनी प्रति ड्राइविंग लाइसेंस प्रिंट करने के लिए 27 रुपये ले रही है।

अपर परिवहन आयुक्त ने दी जानकारी
अपर परिवहन आयुक्त (आईटी) सुनीता वर्मा के अनुसार, जेम पोर्टल पर टेंडर अपलोड किया गया है। इस बार 14 कंपनियों ने टेंडर में भाग लिया है और वर्तमान में प्रपत्रों की जांच की जा रही है। यह प्रक्रिया नवंबर तक पूरी होने की उम्मीद है, जिसके बाद फरवरी से नई कंपनी ड्राइविंग लाइसेंस प्रिंट करके निर्धारित समय पर डिलीवरी करेंगी।

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