1988 बैच के आईएएस अधिकारी मनोज कुमार सिंह की पहचान 'परफॉर्मर' की रही है। सीनियर मोस्ट अधिकारी के रूप में सुदीर्घ अनुभव, दक्षता, कर्तव्यपरायणता, डिलिवरी देने की क्षमता, कॉम्पिटेंसी के साथ मनोज कुमार सिंह ब्यूरोक्रेसी में एक प्रतिष्ठित नाम है।
मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह : नौकरशाही के मुखिया के तौर पर खींचनी होगी बड़ी लकीर
Jul 01, 2024 00:42
Jul 01, 2024 00:42
चुनौतियों के साथ अवसर भी, अब पूरा प्रदेश प्राथमिकता
नए चीफ सेक्रेटरी ने पद संभालने के बाद कहा कि चुनौती भी है और अपने आप में अवसर भी है। हमारा प्रयास है कि प्रदेश के विकास और 24 करोड़ लोगों की बेहतरी के लिए काम को तेजी से धरातल पर उतारा जाए। उन्होंने कहा कि लोगों को रोजगार मिल सके, यही हमारा लक्ष्य है। मेरे लिए प्राथमिकता अब पूरा प्रदेश है। मुख्यमंत्री ने प्रदेश की जनता की बेहतरी के लिए जो लक्ष्य तय किए हैं, उन्हें हासिल करने के लिए हम सभी विभागों के साथ समन्वय बनाकर काम करेंगे। 10 लाख करोड़ रुपए की परियोजनाओं को क्रियान्वित किया जाना है और वह भी अच्छी गति से, ताकि एक तरफ रोजगार उपलब्ध हो और दूसरी तरफ राज्य के सकल घरेलू उत्पाद में विनिर्माण क्षेत्र का योगदान बढ़े, इसे हासिल करने के लिए सभी विभाग काम करेंगे।
चुनौती से लेकर बड़ी जिम्मेदारी
यूपी जैसे बड़े राज्य के नौकरशाही के मुखिया के तौर पर यहां के मुख्य सचिव का पद बेहद अहम माना जाता है। मुख्यमंत्री के हर नीतिगत फैसलों, ड्रीम प्रोजेक्ट, बड़ी परियोजनाओं को धरातल पर सफलता पूर्वक उतारने में मुख्य सचिव की लीडरशिप क्वालिटी बेहद अहम होती है। इसके साथ ही नौकरशाही का माननीयों के साथ बेहतर समन्वय स्थापित करने में भी मुख्य सचिव अहम भूमिका निभाते हैं। ऐसे में मनोज कुमार सिंह को बड़ा जिम्मा मिला है। उनके नेतृत्व में महाकुंभ 2025 का आयोजन होगा। इसके साथ ही विधानसभा चुनाव 2027 को लेकर सरकार के बड़े प्रोजेक्ट को समय से पूरा करना और योजनाओं का सही क्रियान्वयन कराने की जिम्मेदारी भी उनके कंधे पर होगी। नौकरशाही की लापरवाही का खामियाजा जनता को उठाना पड़ता और इसका सीधा चुनाव में देखने को मिलता है। ऐसे में मनोज कुमार सिंह को अब नए पद पर बैठकर एक और बड़ी लकीर खींचनी होगी।
अनुभव और दक्षता के साथ जुझारूपन है खास पहचान
2017 में मुख्यमंत्री बनने के बाद योगी आदित्यनाथ ने सबसे पहले ब्यूरोक्रेसी में जिन अधिकारियों के कामकाज को परख कर अहम जिम्मेदारी सौंपी, उनमें मनोज कुमार सिंह प्रमुख रूप से शामिल रहे। मुख्यमंत्री को उनमें अनुभव और दक्षता के साथ पूरी जिम्मेदारी से काम कराने की क्षमता नजर आई। सत्यनिष्ठा के साथ काम करने के प्रति जीवटता और जुझारूपन के कारण मनोज कुमार सिंह ने 'टीम योगी' में अपनी खास जगह बनाई। अब वह प्रदेश सरकार के विजन को अपनी लीडरशिप में साफ नीतय और सटीक क्रियान्वयन के साथ मिशन मोड पर उतारते नजर आएंगे
नौकरशाही में बेहद प्रतिष्ठित नाम है मनोज कुमार सिंह
1988 बैच के आईएएस अधिकारी मनोज कुमार सिंह की एक विशिष्ट पहचान 'परफॉर्मर' की रही है। सीनियर मोस्ट अधिकारी के रूप में सुदीर्घ अनुभव, दक्षता, कर्तव्यपरायणता, डिलिवरी देने की क्षमता, कॉम्पिटेंसी के साथ मनोज कुमार सिंह ब्यूरोक्रेसी में एक प्रतिष्ठित नाम है। यही कारण है कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने अब तक के कार्यकाल में मनोज कुमार सिंह पर लगातार भरोसा जताया है। इनके बारे में कहा जाता है कि ‘डिलीवरी ऑन टाइम’ के योगी मंत्र को मनोज कुमार सिंह ने आत्मसात कर लिया है।
कई अहम पदों की निभा रहे जिम्मेदारी
वर्तमान में प्रदेश के कृषि उत्पादन आयुक्त और अवस्थापना एवं औद्योगिक विकास आयुक्त जैसे दो बेहद अहम पदों का दायित्व निभा रहे मनोज कुमार सिंह के पास कई अन्य जिम्मेदारी भी हैं। वह अपर मुख्य सचिव पंचायती राज, खाद्य प्रसंस्करण, यूपीडा और उपशा के चेयरमैन तथा पिकप अध्यक्ष जैसे प्रदेश के विकास को गति देने वाले अति वरिष्ठ पदों काम बेहद जिम्मेदारी से कर रहे हैं। कोरोना संक्रमण काल में पहले टीम 11 और फिर टीम 9 में शामिल मनोज कुमार सिंह ने गांवों में कोविड प्रसार को नियंत्रित रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी।
बीसी सखी योजना को सफल बनाने में अहम योगदान
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की 'बैंकिंग एट योर डोर' की परिकल्पना को साकार करने वाली 'बीसी सखी' योजना आज पूरे देश में मॉडल के रूप में स्वीकारी जा रही है। इसकी रूपरेखा तैयार करने से लेकर क्रियान्वयन तक मनोज कुमार सिंह का बड़ा योगदान है। यह एक योजना महिला स्वावलम्बन और वित्तीय समावेशन का अद्भुत उदाहरण बन कर राष्ट्रीय पटल पर प्रशंसा पा रही है।
दिव्य-भव्य कुंभ 2019 के बाद अब महाकुंभ 2025 की जिम्मेदारी
प्रयागराज में वर्ष 2019 के दिव्य-भव्य कुंभ को ग्लोबल इवेंट बनाने के सीएम योगी आदित्यनाथ के प्रयासों को सफल बनाने में मनोज कुमार सिंह की बड़ी भूमिका है। बतौर नोडल अधिकारी कुंभ-2019 से जुड़ी हर एक तैयारी, इन्हीं के नेतृत्व में क्रियान्वित हुई। अब इस बार मुख्य सचिव के रूप में महाकुंभ 2025 के सफलतापूर्वक आयोजन में इन्हीं अनुभवों का लाभ मिलेगा।
ओडीएफ को धरातल पर उतारा
इसके साथ ही अपर मुख्य सचिव पंचायती राज के रूप में मनोज कुमार सिंह ने मुख्यमंत्री के मिशन को धरातल पर उतारा। आज उत्तर प्रदेश के सभी 75 जनपद खुले में शौच से मुक्त घोषित हैं और सबसे ज्यादा शौचालय उत्तर प्रदेश में बनाये गए तो इसमें सबसे महत्वपूर्ण भूमिका इन्हीं की है। महिला स्वयं सहायता समूहों के विस्तार के साथ-साथ ‘टेक होम राशन’ जैसी बाल विकास की योजना के शुचितापूर्ण क्रियान्वयन में भी मनोज कुमार सिंह ने बड़ी भूमिका निभाई है।
ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट में अहम भूमिका
40 लाख करोड़ से अधिक का निवेश उत्तर प्रदेश में लाने वाले ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट के हर चरण में मनोज कुमार सिंह नेतृत्वकर्ता की भूमिका में रहे। ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट से पहले सीएम योगी का संदेश लेकर विभिन्न देशों में गई 'टीम यूपी' में मनोज कुमार सिंह प्रमुखता से शामिल थे, तो ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट मुख्य समारोह के आयोजन में भी आपकी प्रभावी भूमिका रही। फरवरी 2024 में जब 10 लाख करोड़ रुपयों की परियोजनाओं को जमीन पर उतारने के लिए ग्रांउट बेक्रिंग सेरेमेनी-4 आयोजित हुआ, तब आप अवस्थापना एवं औद्योगिक विकास आयुक्त के रूप में पूरे आयोजन के सूत्रधार रहे।
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