उत्तर प्रदेश सरकार ने राज्य में गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान करने के उद्देश्य से एक महत्त्वपूर्ण कदम उठाते हुए "मुख्यमंत्री मॉडल कंपोजिट विद्यालय" की योजना शुरू की है।
योगी सरकार की नई पहल : प्रदेश के 57 जनपदों में खुलेंगे मॉडल स्कूल, मुख्यमंत्री कंपोजिट विद्यालयों का होगा निर्माण
Sep 06, 2024 16:10
Sep 06, 2024 16:10
न्याय पंचायत स्तर पर विद्यालयों की स्थापना
प्रदेश सरकार की योजना के अनुसार, प्रत्येक न्याय पंचायत स्तर पर एक मॉडल विद्यालय का निर्माण किया जाएगा। इन विद्यालयों में एक साथ 3000 विद्यार्थी अध्ययन कर सकेंगे। कम से कम 25 एकड़ में फैले इन विद्यालय परिसरों का निर्माण अत्याधुनिक तकनीक और सुविधाओं के साथ किया जाएगा। योगी सरकार ने शिक्षा विभाग को निर्देश दिया है कि विद्यालयों के निर्माण और संचालन में गुणवत्ता पर विशेष ध्यान दिया जाए। इससे यह सुनिश्चित किया जा सके कि छात्रों को उच्च स्तरीय शिक्षा और सुविधाएं मिलें।
शैक्षिक सुविधाएं
मुख्यमंत्री मॉडल कंपोजिट विद्यालयों की योजना के तहत, यहाँ प्री-प्राइमरी (बाल वाटिका) से लेकर कक्षा 12 तक की कक्षाएं संचालित होंगी। छात्रों को यूपी बोर्ड पाठ्यक्रम के तहत विज्ञान, गणित, वाणिज्य और कला वर्ग में अध्ययन के अवसर उपलब्ध कराए जाएंगे। राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के अनुरूप इन विद्यालयों में छात्रों के समग्र विकास पर विशेष ध्यान दिया जाएगा। पूर्व में कार्यरत शिक्षकों में से उत्कृष्ट शिक्षकों की प्रमाणिकता आधारित तैनाती की जाएगी, ताकि छात्रों को बेहतर शैक्षिक अनुभव मिल सके।
विद्यालयों में प्री-प्राइमरी, प्राथमिक, उच्च प्राथमिक, सेकेंडरी और सीनियर सेकेंडरी कक्षाओं के लिए अलग-अलग शैक्षणिक ब्लॉक बनाए जाएंगे। इन विद्यालयों में स्मार्ट क्लास, आधुनिक गणित और विज्ञान प्रयोगशालाएं, कंप्यूटर लैब, स्किल लैब और केंद्रीकृत किचन जैसी सुविधाएं भी उपलब्ध होंगी। साथ ही, छात्रों के लिए खेल मैदान, ओपन जिम और मल्टीपल एक्टिविटी हॉल की भी व्यवस्था होगी।
आधुनिक निर्माण तकनीक
विद्यालय भवनों का निर्माण भूकंपरोधी तकनीक, हरित ऊर्जा और ऊर्जा कुशल वास्तुकला के मानदंडों के आधार पर किया जाएगा। इन विद्यालयों में सौर ऊर्जा पैनल और वर्षा जल संचयन इकाइ की स्थापना होगी, जिससे पर्यावरण संरक्षण और ऊर्जा की बचत पर भी ध्यान दिया जाएगा। साथ ही, विद्यालय परिसरों में आरओ एंड यूवी वाटर प्लांट, मिड-डे मील के लिए किचन और डायनिंग हॉल, वॉशिंग एरिया और मल्टीपल हैंडवॉशिंग यूनिट की सुविधाएं भी मुहैया कराई जाएंगी।
इसके अलावा, हर विद्यालय में स्मार्ट क्लासरूम, स्किल हब सेंटर, कम्पोजिट विज्ञान और गणित प्रयोगशालाएं, कम्प्यूटर लैब, लैंग्वेज लैब और अलग-अलग कक्षाओं के लिए पुस्तकालय की सुविधाएं होंगी। शिक्षकों और शिक्षिकाओं के लिए अलग-अलग स्टाफ रूम की भी व्यवस्था की जाएगी, ताकि विद्यालय संचालन सुचारु रूप से हो सके।
उन्नत शिक्षा प्रणाली की ओर कदम
योगी सरकार की इस योजना का मुख्य उद्देश्य प्रदेश के ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में समान रूप से गुणवत्तापूर्ण शिक्षा सुनिश्चित करना है। इन विद्यालयों के माध्यम से छात्रों को न केवल शैक्षिक बल्कि तकनीकी और सामाजिक रूप से भी सशक्त बनाने की दिशा में काम किया जाएगा। सरकार का मानना है कि एक सशक्त और समृद्ध शिक्षा प्रणाली ही प्रदेश के भविष्य का निर्माण कर सकती है।
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