बिजली बिल के रोस्टर में बड़ा बदलाव : हर महीने नहीं ली जाएगी मीटर रीडिंग, जानें पूरी खबर..

हर महीने नहीं ली जाएगी मीटर रीडिंग, जानें पूरी खबर..
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Jan 28, 2024 15:52

बिजली उपभोक्ताओं की बिलिंग प्रणाली हर माह नहीं होकर दो महीने में करने की व्यवस्था की तैयारी है। इसको लेकर विभाग ने सभी डिस्कॉम से इसके लिए तैयार होने को कहा है।

Jan 28, 2024 15:52

Short Highlights
  • बिजली विभाग करने जा रहा है बड़ा बदलाव
  • निजी संस्था के मीटर रीडर के साथ लगाया जाएगा विभागीय कर्मचारी
Meerut News : यूपीपीसीएल (Uttar Pradesh Power Corporation Limited) बड़े बदलाव की तैयारी में है। बिजली बिल रोस्टर में परिवर्तन किया गया है। इस बदलाव के अनुसार, अब हर महीने बिजली का बिल नहीं मिलेगा। हर महीने बिजली के बिलों में आ रही गड़बड़ियों को देखते हुए इसमें बदलाव किया गया है। अब बिजली उपभोक्ताओं की बिलिंग प्रणाली हर माह नहीं होकर दो महीने में करने की व्यवस्था की तैयारी है। इसको लेकर विभाग ने सभी डिस्कॉम से इसके लिए तैयार होने को कहा है। वहीं, पश्चिमांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड की एमडी वी चैत्रा ने इस बारे में सभी जिलों के अधीक्षण अधिशासी अभियंताओं पत्र भेजकर अवगत कराया है।

पहले ग्रामीण क्षेत्र में होगा बदलाव
विद्युत विभाग इस योजना के तहत सबसे पहले योजना को ग्रामीण क्षेत्र में लागू करने की तैयारी है। माना जा रहा है कि बिजली बिलों में आने वाली कमियों और व्यावहारिक परेशानी को देखते हुए योजना को सबसे पहले ग्रामीण क्षेत्र में लागू करने का खाका तैयार किया गया है। ग्रामीण क्षेत्रों के बिजली उपभोक्ताओं की बिलिंग प्रतिमाह के बजाय अब दो माह में कराने की व्यवस्था की तैयारी है। बिजली बिल को दो माह में एक बार भेजा जाएगा। इसके लिए उपभोक्ता के यहां लगे बिजली मीटर की सही रीडिंग के साथ बिलिंग सुनिश्चित कराने के लिए निजी कंपनी के मीटर रीडर के साथ ही एक विभागीय कर्मी को भेजा जाएगा, जिससे कि सभी रीडिंग बिल में ठीक तरह से दर्ज हो सकें।

ग्रामीणों की दिक्कतें होंगी दूर
इस योजना से व्यावहारिक परेशानी दूर होने का विभागीय अधिकारियों ने दावा किया है। पीवीवीएनएल की एमडी वी चैत्रा ने बताया कि पश्चिममांचल के सभी डिस्कॉम में इस योजना को लागू किया जाएगा। मेरठ के सभी गांवों में योजना को लागू करने की तैयारी है। उन्होंने बताया कि अभी इस योजना के बारे में पूरी तरह से जानकारी नहीं है। उन्होंने कहा कि जब योजना के बारे में ऊपर से कोई आदेश आएगा तो इस पर अमल किया जाएगा।

मीटर रीडर बिना मीटर देखे अपने स्तर से करते हैं मनमानी
ग्रामीण इलाकों में गांव दूर होने के कारण मीटर रीडर बिना मीटर देखे अपने तरीके से रीडिंग का बिल बनाकर भेज देते हैं। इससे काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है। ग्रामीणों को सही रीडिंग का बिल नहीं मिलने पर उनको शिकायत रहती है। जिस कारण ग्रामीण बिल जमा नहीं कर पाते हैं। इससे उनके ऊपर बिजली बिल बकाया का भार चढ़ता रहता है। इससे बिजली विभाग को भी हर माह लाखों की हानि होती है। इस स्थिति से निपटने के लिए यह व्यवस्था लागू की जा रही है।

दो माह में एक बार रीडिंग की व्यवस्था
यूपीपीसीएल की योजना परवान चढ़ती है तो बिजली का बिल किसानों के पास दो महीने में पहुंचेगा। जिससे उनको बिल जमा करने में किसी तरह की कोई परेशानी नहीं होगी। इसी के साथ ही विभाग को भी फायदा होगा। जानकारों की माने तो ग्रामीण इलाकों के हर एक बिजली उपभोक्ता को बिजली बिलिंग के दायरे में लाने की तैयारी है। बता दें कि 90 के दशक में बिजली बिल हर दो माह के अंतराल पर भेजा जाता था। जिससे व्यवस्था काफी दुरूस्त चल रही थी। लेकिन जब यूपीपीसीएल को चार भागों में बांटा है, उसके बाद बिजली के बिलों की व्यवस्था में भी बदलाव किया गया। जिसके चलते बिजली बिल जमा करने की अवधि दो माह से घटाकर एक माह कर दी गई।

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