संभल हिंसा मामले में मंगलवार को एक बड़ा खुलासा हुआ है। फोरेंसिक टीम ने कोट गर्वी मोहल्ले स्थित जामा मस्जिद के पास जांच के दौरान नालियों की सफाई करते समय 5 खोखे और 2 मिस फायर कारतूस बरामद किए...
संभल पहुंची फोरेंसिक टीम का बड़ा खुलासा : नालियों से मिले पाकिस्तान के हथियार के सबूत, पुलिस ने शुरू की छानबीन
Dec 03, 2024 19:17
Dec 03, 2024 19:17
पुलिस जारी रखा सर्च ऑपरेशन
ASP ने जानकारी देते हुए बताया कि 9 एमएम के 2 मिस फायर कारतूस और 1 खोखा पाकिस्तान ऑर्डिनेंस फैक्ट्री से बरामद हुआ है। इसके अलावा, 12 बोर के 2 खोखे और 32 बोर के 2 खोखे भी मौके से मिले हैं। पुलिस ने अब सर्च ऑपरेशन जारी रखा है, ताकि इस मामले में और अधिक जानकारी मिल सके और सही सबूत इकट्ठे किए जा सकें।
क्या बोले एसपी
दरअसल, लोकल इंटेलिजेंस यूनिट (LIU) की टीम के साथ अन्य पुलिस अधिकारी भी घटनास्थल पर पहुंचे हैं। इनमें ASP श्रीश चंद्र, CO संभल अनुज चौधरी और CO असमोली आलोक कुमार सिद्धू शामिल हैं। संभल के एसपी कृष्ण कुमार बिश्नोई ने बताया कि 24 नवंबर की सुबह सर्वे किया गया था और उसी दौरान हिंसा की घटना घटी थी, जिसमें चार लोगों की मौत हो गई थी। इस घटना के बाद SIT गठित की गई थी, जिसने जांच शुरू कर दी। विवेचकों ने फोरेंसिक टीम के लिए रिक्वेस्ट की थी और आज जब फोरेंसिक टीम और नगरपालिका ने जांच की, तो कुछ चौंकाने वाली चीजें सामने आईं।
पाकिस्तान और यूएसए के मिले हथियार
जांच के दौरान एक POF 9MM, 68-26 का फायर केस मिला, जिसे खोखा कहा जाता है। इसके अलावा, एक FN स्टार बना हुआ मिस फायर भी मिला, जिसे मिस फायर इसलिए कहा गया क्योंकि उसमें स्ट्राइकर का निशान था, जिससे ये पता चलता है कि गोली चलाई गई थी लेकिन फायर नहीं हुआ। एक 12 बोर डायमीटर का खोखा भी मिला, जिस पर "विनचेस्टर मेड इन USA, नंबर-12" लिखा था। इस तरह कुल 6 फायर और मिस फायर वाले केस मिले हैं। इनमें से एक पाकिस्तान का कारतूस भी था, जिससे यह एक गंभीर मामला लग रहा है।
कल सुबह घटनास्थल पर जाएगी टीम
पुलिस इस मामले में गंभीरता से जांच कर रही है और हिरासत में लिए गए लोगों से पूछताछ की जा रही है। पूछताछ के दौरान कुछ लोगों के नाम सामने आए हैं। पुलिस ने बताया कि यह सब नालों की सफाई के दौरान मिला है और नगर निगम को फिर से बुलाया गया है, जो कल सुबह घटनास्थल पर पहुंचेगा। एसपी ने उम्मीद जताई है कि जल्द ही इस मामले के सभी दोषी पकड़े जाएंगे और पुलिस इस मामले को पूरी तरह से सुलझाएगी।
जानें कैसे हुई संभल हिंसा
संभल में स्थित शाही जामा मस्जिद को हरिहर मंदिर होने का दावा करते हुए 19 नवंबर को सिविल जज (सीनियर डिवीजन) की कोर्ट में वाद दायर किया गया था। इस पर न्यायालय ने कोर्ट कमिश्नर नियुक्त करते हुए 29 नवंबर तक सर्वे रिपोर्ट प्रस्तुत करने के आदेश दिए थे। कोर्ट कमिश्नर रमेश राधव ने मस्जिद का पहले 19 नवंबर और फिर 24 नवंबर को वीडियो और फोटो के माध्यम से विस्तृत सर्वे किया। दूसरे सर्वे के दौरान हिंसा भड़क उठी, जिसमें चार लोगों की गोली लगने से मौत हो गई। इसके बाद स्थिति गंभीर हो गई। सुप्रीम कोर्ट ने मामले पर हस्तक्षेप करते हुए निचली अदालत को सुनवाई से रोक दिया। हालांकि, एडवोकेट कमिश्नर ने सर्वे रिपोर्ट जमा करने के लिए 10 दिन का समय मांगा।
बाहरी लोगों के प्रवेश पर रोक
इस घटना के बाद से जिले में पांच दिनों तक इंटरनेट सेवाएं निलंबित कर दी गई थीं और बाहरी लोगों के प्रवेश पर भी प्रतिबंध लगा दिया गया था। हालांकि, बाहरी लोगों का प्रवेश अब भी प्रतिबंधित है। इसके साथ ही, जिले में धारा 163 भी लागू कर दी गई है, जो 10 दिसंबर तक प्रभावी रहेगी।
संभल हिंसा में 400 आरोपियों की पहचान
संभल हिंसा मामले में पुलिस ने अब तक 400 दंगाईयों की पहचान की है। पुलिस ने उपद्रवियों की तलाश के लिए पांच टीमें गठित की हैं। हिंसा के दौरान बनाई गई वीडियो और फोटो के जरिए संदिग्धों की पहचान की जा रही है। आयोग के अध्यक्ष देवेंद्र अरोड़ा ने कहा कि जांच दो महीने के भीतर पूरी कर ली जाएगी। अभी प्राथमिक जानकारी इकट्ठा की जा रही है, जिसके बाद अफसरों और आम नागरिकों के बयान दर्ज किए जाएंगे।
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