हाल ही में देश भर में लगभग 300 छोटे बैंकों के ग्राहकों को एक गंभीर समस्या का सामना करना पड़ा है। ATM से नकदी निकालने और UPI का इस्तेमाल करने जैसी बुनियादी भुगतान सेवाएं बाधित हो गई हैं।
Microsoft Outage के बाद अब रैनसमवेयर अटैक : UPI ट्रांजैक्शन नहीं कर पा रहे बैंकों के ग्राहक, ATM से निकासी भी बंद
Aug 01, 2024 14:29
Aug 01, 2024 14:29
- UPI ट्रांजैक्शन नहीं कर पा रहे बैंकों के ग्राहक
- रैनसमवेयर अटैक से प्रभावित हुआ सिस्टम
- NPCI ने सर्विस को अस्थायी रूप से रोका
दो दिनों से आ रही समस्या
सी-एज टेक्नोलोजिज, जो एसबीआई और टीसीएस के बीच एक जॉइंट वेंचर है, पर हुए इस साइबर अटैक के बाद पिछले दो दिनों से भुगतान सेवाओं में गंभीर समस्याएं उत्पन्न हो गई हैं। इस दौरान, NPCI ने सी-एज के सिस्टम को अस्थायी रूप से अलग कर दिया है ताकि बड़ी भुगतान प्रणाली की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके। इससे प्रभावित बैंकों के ग्राहक पेमेंट सिस्टम्स को एक्सेस नहीं कर पा रहे हैं और ऑनलाइन लेनदेन प्रभावित हुए हैं। सी-एज टेक्नोलोजिज पर हुए रैनसमवेयर अटैक से भारत के लगभग 300 छोटे बैंकों के भुगतान सिस्टम ठप हो गए हैं। इस साइबर अटैक के कारण बैंकों के ग्राहकों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है, खासकर आरटीजीएस और यूपीआई पेमेंट्स जैसे ऑनलाइन लेनदेन में। भेजने वाले के खाते से पैसे कट जाते हैं, लेकिन प्राप्तकर्ता के खाते में जमा नहीं हो रहे हैं, जिससे लेनदेन संबंधी समस्याएं उत्पन्न हो रही हैं।
NPCI ने सर्विस को अस्थायी रूप से रोका
सी-एज टेक्नोलोजिज की ओर से इस साइबर अटैक पर फिलहाल कोई आधिकारिक टिप्पणी नहीं की गई है। भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) की ओर से भी कोई स्टेटमेंट जारी नहीं किया गया है। हालांकि, NPCI ने सी-एज टेक्नोलोजिज के साथ मिलकर इस समस्या के समाधान के लिए युद्धस्तर पर काम शुरू कर दिया है और प्रभावित बैंकों की कनेक्टिविटी जल्द से जल्द बहाल करने की कोशिश की जा रही है। रिपोर्ट्स के अनुसार, सी-एज टेक्नोलोजिज पर हुए रैनसमवेयर अटैक ने कंपनी द्वारा संचालित कई प्रणालियों को बाधित कर दिया है। इस स्थिति के कारण, भारतीय बैंकों की पेमेंट प्रणाली पर असर पड़ा है, और अन्य बैंकिंग सेवाएं सामान्य रूप से कार्यरत हैं। इस साइबर अटैक के बाद, NPCI ने सी-एज की सर्विसेज को अस्थायी रूप से रोक दिया है और इसकी समीक्षा की जा रही है।
ज्यादा ग्राहकों पर नहीं होगा असर
सी-एज टेक्नोलोजिज पर हुए इस साइबर अटैक से भारत में छोटे बैंकों की पेमेंट प्रणाली पर गंभीर प्रभाव पड़ा है। हालांकि, यह ध्यान में रखना आवश्यक है कि इन बैंकों की कुल पेमेंट सिस्टम वॉल्यूम में हिस्सेदारी 1% से भी कम है। इस स्थिति के बावजूद, कुछ समय तक पेमेंट सिस्टम पर असर देखने को मिल सकता है, लेकिन व्यापक प्रभाव अपेक्षित नहीं है। भारतीय बैंकिंग सेक्टर साइबर अपराधियों के निशाने पर रहा है, और हाल ही में बैंकों को संभावित साइबर हमलों के बारे में चेतावनी दी गई थी। NPCI अब यह सुनिश्चित करने के लिए ऑडिट कर रहा है कि रैनसमवेयर अटैक और अधिक बैंकों तक न फैले। इस घटनाक्रम के बाद, बैंकिंग सिस्टम की सुरक्षा पर ध्यान केंद्रित किया जा रहा है, ताकि भविष्य में ऐसी समस्याओं से बचा जा सके।
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