भ्रामक विज्ञापन मामले में सुनवाई : सुप्रीम कोर्ट में हाथ जोड़कर बोले रामदेव- गलती हो गई, माफ कर दीजिए

सुप्रीम कोर्ट में हाथ जोड़कर बोले रामदेव- गलती हो गई, माफ कर दीजिए
UPT | भ्रामक विज्ञापन मामले में सुनवाई

Apr 02, 2024 14:52

पतंजलि कंपनी की तरफ भ्रामक विज्ञापन देने के मामले में मंगलवार को देश की सर्वोच्च अदालत में सुनवाई हुई। जस्टिस हिमा कोहली और जस्टिस अहसानुद्दीन अमानुल्लाह की बेंच ने स्वामी रामदेव और आचार्य बालकृष्ण को कड़ी फटकार लगाई।

Apr 02, 2024 14:52

Short Highlights
  • रामदेव ने बिना शर्त मांगी माफी
  • सुप्रीम कोर्ट ने लगाई फटकार
  • जवाब दाखिल करने के लिए 1 हफ्ते का समय
New Delhi : पतंजलि कंपनी की तरफ भ्रामक विज्ञापन देने के मामले में मंगलवार को देश की सर्वोच्च अदालत में सुनवाई हुई। इस दौरान मामले की सुनवाई कर रही जस्टिस हिमा कोहली और जस्टिस अहसानुद्दीन अमानुल्लाह की बेंच ने स्वामी रामदेव और आचार्य बालकृष्ण को कड़ी फटकार लगाई। कोर्ट ने पूछा कि दोनों का हलफनामा कहा हैं? इस पर रामदेव के वकील ने कहा कि दोनों ने माफी मांग ली है और कोर्ट में हाजिर हैं।

सुप्रीम कोर्ट ने लगाई फटकार
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि ये अदालती कार्यवाही है और इसे हल्के में मत लीजिए। हम आपकी माफी स्वीकार नहीं करते हैं। कोर्ट ने 21 नवंबर के आदेश के अगले दिन रामदेव और बालकृष्ण द्वारा प्रेस कॉन्फ्रेंस किए जाने पर भी उन्हें फटकार लगाई। कोर्ट ने कहा कि इधर अदालत में सुनवाई हो रही थी और पतंजलि विज्ञापन छापे जा रहा था। अब आप दो महीने बाद कोर्ट में पेश हुए हैं। मामले में दो हलफनामे दाखिल किए जाने थे, लेकिन एक ही दाखिल हुआ है। आपने अंडरटेकिंग देने के बाद भी उल्लंघन किया है। आप परिणाम भुगतने के लिए तैयार हो जाइए।

रामदेव में बिना शर्त मांगी माफी
कोर्ट की फटकार के बाद पंतजलि ने अपनी गलती स्वीकार कर ली। रामदेव के वकील ने कहा ककि हमारा माफीनामा तैयार हैं, लेकिन हम चाहते थे कि जरूरत पड़ने पर इसमें जरूरी बदलाव किए जाएं। इस पर पीठ ने कहा कि मामले की सुनवाई के दौरान आपके मुवक्किल विज्ञापनों में नजर आ रहे थे। आप देश सेवा करने का बहाना मत बनाइए। रामदेव के वकील ने कहा कि भविष्य में ऐसा नहीं होगा। पहले जो गलती हुई, उसके लिए माफी मांगते हैं। इस दौरान स्वामी रामदेव ने भी हाथ जोड़कर बिना शर्त माफी मांगी। रामदेव ने कहा कि मैं इस आचरण के लिए शर्मिंदा हूं।

जवाब दाखिल करने के लिए 1 हफ्ते का समय
कोर्ट में जब रामदेव के वकील ने माफीनामा पढ़ने की कोशिश की, तो बेंच ने उन्हें रोक दिया। बेंच ने कहा कि हम यहां वकील को माफीनामा सुनने के लिए नहीं बैठे हैं। पहले वो आदमी होना चाहिए था, जिसकी जुबान पर माफी हो। इस पर रामदेव के वकील ने कहा कि ये मेरा फैसला था कि वो यहां न आए और मैं माफीनामा दाखिल करूं। सुप्रीम कोर्ट ने स्वामी रामदेव और आचार्च बालकृष्ण को जवाब दाखिल करने के लिए एक हफ्ते का समय दिया है। मामले में अगली सुनवाई 10 अप्रैल को होगी। कोर्ट ने इस दौरान रामदेव और बालकृष्ण को पेश होने के निर्देश दिए हैं।

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