महाकुंभ 2025 में अखाड़ा क्षेत्र की भव्यता और दिव्यता श्रद्धालुओं के दिलों को छू रही है। मेला क्षेत्र में हर बार की तरह इस बार भी शिविरों को आकर्षक ढंग से सजाया गया है...
महाकुंभ 2025 : मेले में पंडालों में अनोखे प्रवेश द्वार, श्रद्धालुओं को कर रहे आकर्षित
Jan 11, 2025 19:26
Jan 11, 2025 19:26
एयरोप्लेन, शिवलिंग और मुकुट के आकार के प्रवेश द्वार
अखाड़ों, खाक चौक, दंडीवाड़ा और आचार्यवाड़ा के शिविरों के एंट्री गेट अलग-अलग थीम पर बनाए गए हैं। कुछ प्रवेश द्वार एयरोप्लेन की संरचना के हैं, तो कुछ शिवलिंग, त्रिशूल और मुकुट का आकार लिए हुए हैं। इन अनूठे डिजाइनों ने शिविरों को एक विशिष्ट पहचान दी है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के महाकुंभ को दिव्य और भव्य बनाने के संकल्प को यहां साकार रूप में देखा जा सकता है। हर शिविर के प्रवेश द्वार उस संस्था की पहचान को दर्शाने के साथ श्रद्धालुओं के लिए दिशानिर्देशक का भी कार्य कर रहे हैं।
कलाकारों की कड़ी मेहनत
महाकुंभ के इन भव्य प्रवेश द्वारों को तैयार करने में देशभर के कलाकारों का महत्वपूर्ण योगदान है। कोलकाता, वाराणसी और दक्षिण भारत के कुशल कारीगरों ने इन संरचनाओं को साकार किया है। कलाकारों के अनुसार, एक प्रवेश द्वार बनाने में 10 से 15 दिन का समय लगता है, जबकि इन पर लाखों रुपये की लागत आती है। ये एंट्री गेट न केवल अद्भुत कारीगरी का उदाहरण हैं, बल्कि श्रद्धालुओं के लिए शिविरों की पहचान भी बन गए हैं।
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