उत्तर प्रदेश के शामली में 700 किलोमीटर लंबा एक नया ग्रीनफील्ड एक्सप्रेसवे बनाने की योजना पर विचार किया जा रहा है। ये प्रदेश का दूसरा सबसे लंबा एक्सप्रेसवे होगा।
बदलता उत्तर प्रदेश : गोरखपुर से शामली के बीच बनेगा ग्रीनफील्ड एक्सप्रेसवे, यूपी की कनेक्टिविटी होगी मजबूत
Nov 03, 2024 12:18
Nov 03, 2024 12:18
यूपी में इन्फ्रास्ट्रक्चर में लगातार सुधार
उत्तर प्रदेश में पिछले कई सालों से एक्सप्रेसवे निर्माण की दिशा में व्यापक प्रगति हो रही है। यमुना एक्सप्रेसवे और नोएडा-ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेसवे का निर्माण मायावती सरकार के दौरान हुआ था जबकि अखिलेश यादव के कार्यकाल में आगरा-लखनऊ एक्सप्रेसवे का कार्य पूरा किया गया। वर्तमान योगी सरकार ने पूर्वांचल और बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे का निर्माण कराया है और साथ ही गंगा एक्सप्रेसवे पर भी तेजी से कार्य किया जा रहा है। इस नए गोरखपुर-शामली एक्सप्रेसवे के निर्माण से प्रदेश के इन्फ्रास्ट्रक्चर को और मजबूती मिलेगी और यह परियोजना राज्य को ‘एक्सप्रेसवे प्रदेश’ के रूप में स्थापित करने में अहम भूमिका निभाएगी।
गोरखपुर-शामली एक्सप्रेसवे का प्रस्तावित रोडमैप और योजना
गोरखपुर-शामली एक्सप्रेसवे का मार्ग प्रदेश के 22 जिलों से होकर गुजरेगा। इसमें गोरखपुर, संतकबीर नगर, बस्ती, अयोध्या, गोंडा, बाराबंकी, बहराइच, लखनऊ, सीतापुर, हरदोई, शाहजहांपुर, बदायूं, बरेली, रामपुर, मुरादाबाद, संभल, अमरोहा, बिजनौर, मेरठ, मुजफ्फरनगर, सहारनपुर और शामली शामिल हैं। इस एक्सप्रेसवे से न केवल पूर्वांचल और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के जिलों को जोड़ने में मदद मिलेगी, बल्कि प्रदेश में ट्रांसपोर्ट की गति में भी सुधार होगा।
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बाराबंकी से मिलेगा विशेष कनेक्टिविटी
गोरखपुर-शामली एक्सप्रेसवे बाराबंकी जिले के एक बड़े हिस्से से होकर गुजरेगा, जिसमें जिले के लगभग 50 किलोमीटर क्षेत्र को कवर किया जाएगा। इसके अलावा इस एक्सप्रेसवे पर लड़ाकू विमानों के आपातकालीन लैंडिंग की सुविधा भी होगी जैसा कि आगरा-लखनऊ एक्सप्रेसवे और पूर्वांचल एक्सप्रेसवे पर किया गया है। इससे यह आपातकालीन स्थिति में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है। बाराबंकी-बहराइच हाईवे को भी फोरलेन करने की योजना पर विचार चल रहा है, जिससे स्थानीय कनेक्टिविटी में सुधार होगा और सरयू नदी पर एक नया पुल भी बनाया जाएगा।
अन्य एक्सप्रेसवे और प्रमुख हाईवे से कनेक्टिविटी
गोरखपुर-शामली एक्सप्रेसवे को प्रदेश के अन्य एक्सप्रेसवे और प्रमुख हाईवे से भी जोड़ा जाएगा। इससे प्रदेश के एक कोने से दूसरे कोने तक यात्रा करने का समय घटेगा। यह एक्सप्रेसवे न केवल गोरखपुर से दिल्ली की यात्रा को सुगम बनाएगा बल्कि इसे अंबाला-शामली इकॉनमिक कॉरिडोर और दिल्ली-देहरादून एक्सप्रेसवे से भी कनेक्टिविटी मिलेगी।
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निर्माण प्रक्रिया में डीपीआर तैयार करने की तैयारी
इस एक्सप्रेसवे का डिटेल प्रोजेक्ट रिपोर्ट (डीपीआर) तैयार करने की प्रक्रिया भी शुरू हो चुकी है। डीपीआर के पूरा होने के बाद इस परियोजना का नक्शा और संरचना स्पष्ट रूप से सामने आ सकेगी। NHAI के परियोजना निदेशक सौरभ चौरसिया के अनुसार, इस प्रोजेक्ट को लेकर अब भी चर्चा जारी है और आगामी बैठकों में इस पर और निर्णय लिया जा सकता है।
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