फर्जीवाड़ा गिरोह का पर्दाफाश : मऊ से तीन गिरफ्तार, शक से शुरू हुई जांच ने खोला राज

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Dec 26, 2024 15:39

दोहरीघाट पुलिस ने गिरोह के सरगना समेत तीन लोगों को रंगेहाथ गिरफ्तार किया। इस मामले में कुल नौ लोगों को आरोपी बनाया गया है। इनमें सात व्यक्तियों ने फर्जी तरीके से पासपोर्ट बनवाए थे...

Mau News : मऊ जिले में फर्जी पासपोर्ट बनाने वाले एक अंतर्जनपदीय गिरोह का भंडाफोड़ हुआ है। पुलिस ने इस गिरोह के तीन सदस्यों को गिरफ्तार किया है। अब तक यह गिरोह सात फर्जी पासपोर्ट बना चुका था और दो अन्य पासपोर्ट बनाने की योजना बनाई जा रही थी। इस अवैध कार्य में ग्राम प्रधान पद के एक प्रत्याशी का समर्थन भी शामिल होने का पता चला है।

थाने में रंगेहाथ गिरफ्तार
दोहरीघाट पुलिस ने गिरोह के सरगना समेत तीन लोगों को रंगेहाथ गिरफ्तार किया। इस मामले में कुल नौ लोगों को आरोपी बनाया गया है। इनमें सात व्यक्तियों ने फर्जी तरीके से पासपोर्ट बनवाए थे, जबकि दो और व्यक्तियों का पासपोर्ट बनाने की तैयारी थी।

शक से शुरू हुई जांच ने खोला बड़ा राज
पुलिस को यह सफलता तब मिली जब पासपोर्ट आवेदन के बाद एक युवक अपने दो साथियों के साथ थाने पहुंचा। युवक के आधार कार्ड में दर्ज उम्र की तुलना में उसकी वास्तविक उम्र काफी कम दिख रही थी, जिससे पुलिस को शक हुआ। पूछताछ और दस्तावेजों की जांच के दौरान एक बड़े फर्जीवाड़े का खुलासा हुआ। सीओ घोसी दिनेश दत्त मिश्रा ने जानकारी दी कि गोरखपुर जिले के बडहलगंज थाना क्षेत्र के लखनौरी गांव के निवासी श्यामकरन यादव ने पासपोर्ट के लिए आवेदन किया था। जांच के सिलसिले में वह अपने साथी श्याम बहादुर यादव और राकेश साहनी के साथ थाने पहुंचा। पूछताछ में यह सामने आया कि श्याम बहादुर इस गिरोह का सरगना है।



दस्तावेजों में हेरफेर का खुलासा
सरगना ने स्वीकार किया कि वह फर्जी दस्तावेजों के जरिए पासपोर्ट बनवाता था। प्रत्येक पासपोर्ट के लिए वह 40 से 80 हजार रुपये वसूलता था। अब तक गिरोह ने दोहरीघाट थाना क्षेत्र के आठ व्यक्तियों के नाम पर फर्जी पासपोर्ट बनवाए हैं। दस्तावेजों में हेरफेर का काम लखनऊ के शोएब नामक व्यक्ति के जरिए किया जाता था।

फर्जी प्रपत्र बरामद
पुलिस ने फर्जी पासपोर्ट बनाने में उपयोग किए गए नौ प्रपत्र बरामद किए हैं। इसके अलावा गिरोह के अन्य सदस्यों और कार्यप्रणाली की जांच भी जारी है।

गिरफ्तारी के बाद आगे की कार्रवाई
गिरफ्तार किए गए तीनों आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया गया है। पुलिस ने गिरोह के अन्य सदस्यों की तलाश शुरू कर दी है और यह सुनिश्चित किया जा रहा है कि इस तरह के अवैध कार्य दोबारा न हो।

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