यूपी एसटीएफ को मिली बड़ी सफलता : कछुओं की अंतरराष्ट्रीय स्तर पर तस्करी करने वाले गिरोह के 2 सदस्य गिरफ्तार

कछुओं की अंतरराष्ट्रीय स्तर पर तस्करी करने वाले गिरोह के 2 सदस्य गिरफ्तार
UPT | यूपी एसटीएफ की गिरफ्त में तस्कर।

May 17, 2024 18:47

पिछले काफी दिनों से यूपी एसटीएफ को प्रतिबंधित प्रजाति के कछुओं की तस्करी सक्रिय होने की सूचनाएं प्राप्त हो रही थीं। इस संबंध में तस्करी करने वाले अंतरराज्यीय तस्करों के एसटीएफ की विभिन्न टीमों को अभिसूचना संकलन और कार्रवाई के लिए निर्देशित किया गया था।

May 17, 2024 18:47

Lucknow News : भारत सरकार के वन्य जीव अपराध नियन्त्रण ब्यूरो की पहल पर यूपी एसटीएफ पिछले कई वर्षों से उत्तर प्रदेश में कछुओं की तस्करी पर कार्रवाई कर रही है। भारत में कछुओं की पाई जाने वाली 29 प्रजातियों में 15 प्रजातियों उत्तर प्रदेश में मिलती हैं। इनमें 11 प्रजातियों का अवैध व्यापार किया जाता है। यह अवैध व्यापार जीवित कछुए के मांस या पालने अथवा कछुएं की कैलिपी (झिल्ली) को सुखाकर शक्तिवर्धक दवा के लिए किया जाता है। कछुओं को Soft Shell (मुलायम कवच) तथा hard Shell (कठोर कवच) के रूप में वर्गीकृत किया जाता है। उत्तर प्रदेश में बहने वाली यमुना, चंबल, गंगा, गोमती, घाघरा, गंडक नदियों और उनकी सहायक नदियों व तालाबों में यह दोनों प्रकार के कछुए बड़ी संख्या में पाए जाते हैं।

पिछले काफी दिनों से यूपी एसटीएफ को प्रतिबंधित प्रजाति के कछुओं की तस्करी सक्रिय होने की सूचनाएं प्राप्त हो रही थीं। इस संबंध में तस्करी करने वाले अंतरराज्यीय तस्करों के एसटीएफ की विभिन्न टीमों को अभिसूचना संकलन और कार्रवाई के लिए निर्देशित किया गया था। इसी के अनुपालन में एसटीएफ के पुलिस उपाधीक्षक दीपक कुमार सिंह को लखनऊ के पर्यवेक्षण में अभिसूचना संकलन के दौरान ज्ञात हुआ कि जनपद गोरखपुर से बड़े स्तर पर 2 विभिन्न प्रजातियों के कछुओ की तस्करी का कार्य किया जा रहा है। उनको यह भी जानकारी हुई कि ऐसे व्यापारी माल बेचने के लिए पश्चिम बंगाल के व्यापारियों के संपर्क में रहते हैं। जहां से यह माल बांग्लादेश और म्यांमार के रास्ते चीन, हांगकांग, मलेशिया आदि देशो में भेजा जाता है।

गोरखपुर में हुई गिरफ्तारी
उप निरीक्षक हरीश सिंह चौहान के नेतृत्व में एसटीएफ टीम यूपी के गोरखपुर जनपद में गश्त कर रही थी। इस दौरान पता चला कि बिहार राज्य के कुछ तस्कर भारी मात्रा में कछुओं की तस्करी के लिए गोरखपुर व आस-पास के क्षेत्रों में स्थानीय तस्करों के साथ मिलकर उनके कछुए लेकर बिहार व पश्चिम बंगाल जाने वाले है। इस सूचना को विकसित करते हुए वन विभाग की टीम को साथ लेकर संयुक्त टीम द्वारा उक्त दोनों व्यक्तियों को गोरखपुर एयरपोर्ट के पास थाना एम्स के पास लगभग रात के 1 बजे गिरफ्तार कर लिया गया।

गिरफ्तार अभियुक्तों के पास से मिले 191 जिंदा कछुए
गिरफ्तार अभियुक्तों में नीरज दीक्षित और मुराद अली बिहार के रहने वाले है। आरोपियों ने बताया कि जनपद गोरखपुर व आसपास के जनपदों के तालाबों और नदियों से स्थानीय कछुआ तस्करों के माध्यम से कछुए इकट्ठा कराते है। इसके बाद उन कछुओं की बिहार व पश्चिम बंगाल में सप्लाई करते है। एसटीएफ ने जानकारी देते हुए बताया कि अभियुक्तों के विरूद्ध वन रेंज तिलकोनिया वन प्रभाग, गोरखपुर में  धारा 09, 21, 39, 48, 49 (बी), 50, 51, 57, 52 (क), वन्य जीव संरक्षण अधिनियम 1972 के अंतर्गत अभियोग पंजीकृत कराया गया है। आवश्यक विधिक कार्यवाही वन रेंज तिनकोनिया, गोरखपुर द्वारा की जा रही है। साथ ही एसटीएफ को अभियुक्तों के पास से 191 इंडियन रुफ्ड टर्टल नस्ल के जीवित कछुए, 1 अल्टो कार, 2 मोबाइल फोन,1 मतदाता पहचान-पत्र ,1 आधार कार्ड और 1980 रुपए नगद बरामद हुए है।

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