कोर्ट ने कहा कि इन पदों पर नियुक्तियों की प्रक्रिया समय पर पूरी होनी चाहिए थी क्योंकि अध्यक्ष, उपाध्यक्ष और सदस्य के कार्यकाल के समाप्त होने की तारीख राज्य सरकार के पास पहले से ही उपलब्ध होती है। अदालत ने यह भी कहा कि यह पद अधिकरण के सुचारू संचालन के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण हैं और इतने लंबे समय तक खाली नहीं छोड़े जा सकते।
यूपी लोक सेवा अधिकरण के रिक्त पदों को भरने में देरी पर हाईकोर्ट नाराज : प्रमुख सचिव 4 अक्टूबर को तलब
Oct 01, 2024 19:43
Oct 01, 2024 19:43
लंबे समय से रिक्त पदों के कारण काम प्रभावित
याचिकाकर्ता सतीश चंद्र ने राज्य सरकार से इन पदों को लंबे समय से खाली रखने पर सवाल उठाते हुए कोर्ट में अपनी आपत्ति दर्ज की। याचिका में कोर्ट से मांग की गई है कि इन महत्वपूर्ण पदों की नियुक्ति प्रक्रिया को तेजी से पूरा किया जाए ताकि अधिकरण का काम बिना किसी बाधा के चल सके।
हाईकोर्ट पहले आदेश कर चुका है पारित
इससे पहले कोर्ट ने इसी मुद्दे पर एक अन्य मामले में 16 मई 2024 को विस्तृत आदेश पारित किया था, लेकिन अब तक सरकार ने केवल इतना ही बताया है कि आवेदन प्राप्त हुए हैं और प्रक्रिया जारी है। कोर्ट इस जवाब से संतुष्ट नहीं है और इसे गंभीरता से लेते हुए राज्य के प्रमुख सचिव (विधि) से व्यक्तिगत रूप से उपस्थित होकर स्थिति स्पष्ट करने का आदेश दिया है।
सरकार के पास पहले से होती है जानकारी
कोर्ट ने कहा कि इन पदों पर नियुक्तियों की प्रक्रिया समय पर पूरी होनी चाहिए थी क्योंकि अध्यक्ष, उपाध्यक्ष और सदस्य के
कार्यकाल के समाप्त होने की तारीख राज्य सरकार के पास पहले से ही उपलब्ध होती है। अदालत ने यह भी कहा कि यह पद अधिकरण के सुचारू संचालन के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण हैं और इतने लंबे समय तक खाली नहीं छोड़े जा सकते। अब इस मामले की अगली सुनवाई 4 अक्टूबर 2024 को होगी, जिसमें सरकार से स्पष्टीकरण मांगा जाएगा कि नियुक्ति प्रक्रिया समय से क्यों नहीं शुरू की गई।
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