मेरठ में मेट्रो ट्रायल रन की शुरुआत हो चुकी है। इस ट्रायल के तहत, मेरठ साउथ से मेरठ सेंट्रल स्टेशन के बीच मेट्रो ट्रेनों का परीक्षण किया जा रहा है। फरवरी से आम लोग भी इस मेट्रो सेवा का लाभ उठा सकेंगे। इस ट्रायल रन में ट्रेनों की गति और सुरक्षा जांची जा रही है, ताकि यात्रियों को सुरक्षित और आरामदायक यात्रा का अनुभव मिल सके।
बदलता उत्तर प्रदेश : मेरठ मेट्रो का ट्रायल शुरू, जानें कब मिलेगा सुहाना सफर और क्या होंगी नई सुविधाएं
Jan 13, 2025 12:17
Jan 13, 2025 12:17
धीमी से तेज गति तक ट्रेनों का परीक्षण
एनसीआरटीसी के अधिकारियों के अनुसार, ट्रायल रन के दौरान मेरठ मेट्रो ट्रेनों का ट्रैक और ट्रैक्शन के साथ परीक्षण जारी है। इस दौरान ट्रेन कंट्रोल मैनेजमेंट सिस्टम (टीसीएमएस) के तहत शुरू में मैनुअल तरीके से ट्रेन को ऑपरेट किया गया है। इस दौरान मेट्रो ट्रेन को मेरठ साउथ स्टेशन से धीमी रफ्तार में मेरठ सेंट्रल के भूमिगत खंड से ठीक पहले तक लाया गया। वापसी में इसकी रफ्तार थोड़ी बढ़ाकर मेरठ साउथ वापस ले जाई गई। इन ट्रेनों को 40 किमी प्रति घंटे से लेकर 135 किमी प्रति घंटे की गति से चलाकर इनका परीक्षण किया गया है।
मेरठ मेट्रो में आधुनिक सुविधाएं
मेरठ मेट्रो में यात्रियों के आराम और सुरक्षा का विशेष ध्यान रखा गया है। इन मेट्रो ट्रेनों के कोच गुजरात के सावली स्थित मैन्युफैक्चरिंग प्लांट में बनाए गए हैं। कुल 12 ट्रेन सेट बन चुके हैं, जिनमें से 10 ट्रेन सेट पहले ही मेरठ पहुंच चुके हैं। इन ट्रेनों में वातानुकूलित (एसी) कोच हैं, जो यात्रियों को एक आरामदायक यात्रा का अनुभव देंगे। ट्रेन के अंदर 2x2 ट्रांसवर्स और लंबवत बैठने की व्यवस्था की गई है, जिससे यात्रियों को अधिक आराम मिलेगा। साथ ही, इनमें सामान रखने की रैक, ग्रैब हैंडल, और यूएसबी डिवाइस चार्जिंग जैसी आधुनिक सुविधाएं भी उपलब्ध हैं।
मेरठ मेट्रो का स्मार्ट इंफ्रास्ट्रक्चर
भारत में पहली बार सेमी हाई स्पीड नमो भारत ट्रेनों के इंफ्रास्ट्रक्चर पर ही मेरठ मेट्रो का परिचालन शुरू किया जाएगा। मेरठ मेट्रो कॉरिडोर की कुल लंबाई 23 किलोमीटर है, जिसमें 18 किमी एलिवेटेड और 5 किमी हिस्सा अंडरग्राउंड है। इसके लिए 3 अंडरग्राउंड स्टेशन समेत कुल 13 स्टेशन बनाए जाने वाले हैं। इनके नाम मेरठ साउथ, परतापुर, रिठानी, शताब्दी नगर, ब्रह्मपुरी, मेरठ सेंट्रल, भैंसाली, बेगमपुल, एमईएस कॉलोनी, दौरली, मेरठ नॉर्थ, मोदीपुरम और मोदीपुरम डिपो हैं। इनमें से मेरठ साउथ, शताब्दी नगर, बेगमपुल और मोदीपुरम स्टेशनों पर नमो भारत और मेरठ मेट्रो, दोनों सेवाएं उपलब्ध हैं। मेरठ सेंट्रल, भैंसाली और बेगमपुल अंडरग्राउंड स्टेशन हैं, बाकी स्टेशन एलिवेटेड होंगे।
मेरठ मेट्रो का निर्माण अंतिम चरण
मेरठ मेट्रो के सभी स्टेशन आकार ले चुके हैं। इसका सिविल निर्माण कार्य लगभग पूरा हो चुका है। इनमें से परतापुर और रिठानी मेट्रो स्टेशनों पर तो ओएचई का कार्य भी पूर्ण हो चुका है और वहां फिनिशिंग का काम चल रहा है। शताब्दी नगर स्टेशन तक पीएसडी लगाए गए हैं और लाइटिंग की व्यवस्था भी हो गई है। अंडरग्राउंड सेक्शन के मेरठ सेंट्रल, भैंसाली और बेगमपुल स्टेशन अपने आकार में आ चुके हैं। इनकी फिनिशिंग का कार्य भी तेजी से प्रगति कर रहा है। एनसीआरटीसी का लक्ष्य है कि इस साल तक पूरे मेरठ मेट्रो कॉरिडोर को जनता के लिए परिचालित किया जाए।
Also Read
13 Jan 2025 02:49 PM
सोमवार तड़के थाना फेस 2 क्षेत्र के सेक्टर 80 स्थित बी 79 में प्लास्टिक के थैले बनाने वाली फैक्ट्री में आग लग गई। फायर बिग्रेड को सूचना मिलते ही तुरंत कई गाड़ियां मौके पर पहुंच गईं। और पढ़ें