दुकानदारों के नाम लिखने के विरोध में आरएलडी : रामाशीष राय बोले- यह सांप्रदायिकता को बढ़ावा देने वाला कदम

रामाशीष राय बोले- यह सांप्रदायिकता को बढ़ावा देने वाला कदम
UPT | आरएलडी प्रदेश अध्यक्ष रामाशीष राय

Jul 19, 2024 14:22

पूरे प्रदेश में कांवड़ यात्रा के दौरान होटलों और ढाबों पर नाम लिखने वाले मामले ने तूल पकड़ लिया है। अब उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कांवड़ यात्रा को लेकर एक महत्वपूर्ण निर्णय लिया है...

Jul 19, 2024 14:22

Muzaffanafar News : पूरे प्रदेश में कांवड़ यात्रा के दौरान होटलों और ढाबों पर नाम लिखने वाले मामले ने तूल पकड़ लिया है। अब उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कांवड़ यात्रा को लेकर एक महत्वपूर्ण निर्णय लिया है। उन्होंने आदेश दिया है कि प्रदेश भर में कांवड़ यात्रा मार्ग पर स्थित सभी दुकानों पर संचालकों के नाम और पहचान का प्रदर्शन अनिवार्य होगा। सीएम के इस फैसले पर कई विपक्षी नेताओं ने विरोध किया है। वहीं आरएलडी पार्टी भी योगी सरकार के इस फैसले के खिलाफ है। इस मामले पर आरएलडी प्रदेश अध्यक्ष रामाशीष राय का प्रतिक्रिया सामने आई है।

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रामाशीष राय का बयान
आरएलडी प्रदेश अध्यक्ष रामाशीष राय ने अपने सोशल मीडिया प्लैटफॉर्म एक्स पर ट्वीट कर कहा कि उत्तर प्रदेश प्रशासन का दुकानदारों को अपनी दुकान पर अपना नाम और धर्म लिखने का निर्देश देना जाती और सम्प्रदाय को बढ़ावा देनें वाला कदम है। प्रशासन इसे वापस लें यह गैर संवैधानिक निर्णय है।
सीएम योगी ने दिया आदेश
बता दें कि सीएम योगी ने आदेश दिया है कि प्रदेश भर में कांवड़ यात्रा मार्ग पर स्थित सभी दुकानों पर संचालकों के नाम और पहचान का प्रदर्शन अनिवार्य होगा। यह निर्णय कांवड़ यात्रियों की आस्था की शुद्धता बनाए रखने के उद्देश्य से लिया गया है। इसके अतिरिक्त, कांवड़ यात्रा मार्ग पर हलाल प्रमाणित उत्पादों की बिक्री पर भी प्रतिबंध लगाया गया है। यह आदेश पहले मुजफ्फरनगर जिले में जारी किया गया था, फिर सहारनपुर और शामली में लागू किया गया और अब यह पूरे प्रदेश में लागू होगा।



यहां से शुरू हुई नाम लिखने की कहानी
बता दें एसएसपी अभिषेक सिंह ने कांवड़ यात्रा की तैयारी के मद्देनजर बयान दिया था कि हाईवे के होटलों, ढ़ाबों व ठेलों पर संचालकों के नाम लिखे जाए। इसी बयान परअसदुद्दीन ओवैसी ने ट्वीट किया। कांवड़ मार्ग पर फल बेचने वाले कुछ ठेला संचालकों ने अपने ठेलों पर नाम वाले पोस्टर चस्पा किए थे।

इन नेताओं ने की आलोचना
इसके बाद कई विपक्षी नेताओं की प्रतिक्रिया आने लगी। कांवड़ यात्रा के दौरान ढाबों और होटलों पर प्रोपराइटर या संचालक के नाम लिखे जाने के आदेश के बाद इस पर सियासी जंग छिड़ गई। इसकी ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन के नेता असदुद्दीन ओवैसी से लेकर सपा प्रमुख अखिलेश यादव, बसपा सुप्रीमो मायावती और जावेद अख्तर तक ने आलोचना की है।

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