भारतीय रेलवे ने यात्रियों को उच्च गुणवत्ता वाला भोजन प्रदान करने के लिए एक नई पहल की घोषणा की है। पूर्वोत्तर रेलवे के वाराणसी मंडल में तीन प्रमुख स्टेशनों - छपरा, मऊ और भटनी पर अत्याधुनिक बेस किचन स्थापित किए गए हैं।
बदलता उत्तर प्रदेश : रेलवे के अत्याधुनिक बेस किचन में एआई तकनीक से बनेगा भोजन, स्वच्छता का रखा जाएगा ध्यान
Jul 26, 2024 00:05
Jul 26, 2024 00:05
हाई-टेक किचन की विशेषता
एआई-आधारित कैमरे स्वच्छता मानकों का पालन करेंगे। उदाहरण के लिए, यदि कोई शेफ अपनी कैप उतारता है, तो सिस्टम तुरंत अलर्ट जारी करेगा। यह तकनीक न केवल स्वच्छता बनाए रखने में मदद करेगी, बल्कि समग्र गुणवत्ता नियंत्रण में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी। वाराणसी मंडल के रेल प्रबंधक (डीआरएम) विनीत कुमार श्रीवास्तव ने बताया कि एआई बेस किचन का संचालन सार्वजनिक-निजी भागीदारी (पीपीपी) मॉडल के तहत किया जाएगा। प्रतिष्ठित कैटरिंग कंपनियों को इन किचन के प्रबंधन का अवसर दिया जाएगा।
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रेल मंत्री ने बताई हाई-टेक किचन की खासियत
रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने एक वर्चुअल प्रेस कॉन्फ्रेंस में इस पहल के बारे में विस्तार से बताया। उन्होंने कहा कि यह कदम रेल यात्रियों की लंबे समय से चली आ रही भोजन की गुणवत्ता संबंधी शिकायतों को दूर करने में मदद करेगा। एआई-आधारित निगरानी से न केवल स्वच्छता बढ़ेगी, बल्कि समग्र भोजन की गुणवत्ता में भी सुधार होगा।
इसके आलावा, रेल मंत्री ने आगामी महाकुंभ मेले की तैयारियों पर भी प्रकाश डाला। उन्होंने बताया कि उत्तर, पूर्वोत्तर और उत्तर मध्य रेलवे का एक संयुक्त कमांड बनाया गया है जो भीड़ प्रबंधन और यात्री सुविधाओं पर ध्यान केंद्रित करेगा। स्थानीय प्रशासन के साथ समन्वय में, भीड़ के अनुसार विशेष ट्रेनें चलाई जाएंगी। डीआरएम श्रीवास्तव ने यह भी बताया कि महाकुंभ से पहले झूंसी-प्रयागराज के बीच एक नया रेलवे ओवरब्रिज पूरा हो जाएगा। इसके अलावा, इस खंड के दोहरीकरण और विद्युतीकरण के पूरा होने पर ट्रेनों का आवागमन शुरू हो जाएगा। सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए, झूंसी और प्रयागराज रामबाग रेलवे स्टेशनों का सुरक्षा ऑडिट किया जा रहा है, साथ ही प्लेटफॉर्म और फुट ओवर ब्रिज को चौड़ा किया जा रहा है।
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