यूपी में रूरल टूरिज्म को नई पहचान : इस जिले में भी होगी होम स्टे की सुविधा, स्थानीय कला और संस्कृति को मिलेगा बढ़ावा

UPT | मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ

Oct 03, 2024 13:23

अब आजमगढ़ मंडल के गांवों को भी इस योजना में शामिल किया गया है, जिससे प्रदेश की समृद्ध ग्रामीण संस्कृति को घरेलू और विदेशी पर्यटकों के बीच लोकप्रिय बनाया जा सके...

Short Highlights
  • यूपी में योगी सरकार की रूरल टूरिज्म योजना को बढ़ावा
  • कुल 97 गांवों को किया जा रहा विकसित
  • गांवों में स्थापित किए जाएंगे होम स्टे
Lucknow News : उत्तर प्रदेश को उत्तम प्रदेश बनाने के लक्ष्य के तहत योगी सरकार ने रूरल टूरिज्म को बढ़ावा देने के लिए एक नया कदम उठाया है। अब आजमगढ़ मंडल के गांवों को भी इस योजना में शामिल किया गया है, जिससे प्रदेश की समृद्ध ग्रामीण संस्कृति को घरेलू और विदेशी पर्यटकों के बीच लोकप्रिय बनाया जा सके। मुख्यमंत्री योगी के विजन के अनुसार, आजमगढ़, मऊ और बलिया में चार गांवों में होम स्टे और अन्य पर्यटन सुविधाओं का विकास किया जाएगा। इस पहल के बाद, अब कुल 97 गांवों को रूरल टूरिज्म के लिए विकसित किया जा रहा है, जिसमें देवीपाटन, चित्रकूट, अयोध्या, लखनऊ और वाराणसी मंडल पहले से शामिल हैं।

ग्रामीण क्षेत्र को मिलेगी पहचान
इस योजना के तहत, प्रदेश के अन्य मंडलों में भी चिह्नित गांवों को जोड़ने की प्रक्रिया जल्द ही शुरू की जाएगी। उत्तर प्रदेश पर्यटन विभाग इस परियोजना को मुख्यमंत्री योगी के विजन के अनुसार लागू कर रहा है और पर्यटन विकास एवं निर्माण कार्यों को तेज गति से आगे बढ़ाने का कार्य प्रारंभ हो चुका है। ऐसे में यह प्रयास न केवल स्थानीय अर्थव्यवस्था को सुदृढ़ करेगा, बल्कि पर्यटन के माध्यम से ग्रामीण क्षेत्रों की पहचान भी बढ़ाएगा।



चार गांवों का चुनाव
पर्यटन विभाग ने सीएम योगी के विजन के अनुसार, आजमगढ़, मऊ और जौनपुर जिलों में चार गांवों को रूरल टूरिज्म के लिए होम स्टे परियोजना के तहत चुना है। प्रत्येक गांव में एक विलेज कोऑर्डिनेटर, एक जिला कोऑर्डिनेटर और एक टूरिज्म एवं रूरल डेवलपमेंट एक्सपर्ट की नियुक्ति की जाएगी। इसके साथ ही, गांवों में 10 स्थानीय गाइड, 5 कहानीकार और 5 परिवारों को स्थानीय व्यंजनों का अनुभव प्रदान करने की जिम्मेदारी दी जाएगी। इसके अलावा, जरीदोजी, मूंज और लकड़ी के शिल्पकारों के माध्यम से अन्य स्थानीय कलाओं का भी विकास किया जाएगा।

प्रत्येक गांव में 10 होम स्टे स्थापित करने की योजना
इसके अलावा, बोटिंग, मछली पकड़ने, फलों और सब्जियों की कटाई तथा साइक्लिंग जैसी गतिविधियों के लिए 20 कलाकारों और स्थानीय व्यक्तियों को शामिल किया जाएगा। प्रत्येक गांव में 10 होम स्टे स्थापित करने की योजना है, जिनकी रजिस्ट्रेशन और विकास प्रक्रिया स्थानीय प्रशासन एवं राज्य सरकार की नीतियों के अनुसार की जाएगी। यह सभी कार्य उत्तर प्रदेश पर्यटन विभाग के मार्गदर्शन में संपन्न होंगे।

सोशल मीडिया पर भी बढ़ाई जाएगी जागरूकता
परियोजना के तहत, सभी होम स्टे को निधि प्लस पोर्टल से जोड़ा जाएगा, जिससे उनके प्रमोशन में सहायता मिलेगी। इसके साथ ही, चार अलग-अलग एग्रो टूरिज्म प्रॉपर्टीज के विकास की संभावनाओं का भी अध्ययन किया जाएगा। योजना में यह भी शामिल है कि हर तीन महीने में गांवों में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। इसके अलावा, सभी गांवों के लिए सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर अकाउंट बनाए जाएंगे, जिससे उनके बारे में जागरूकता बढ़ाई जा सके। ग्रामों में 15 कमरों की क्षमता वाले होम स्टे विकसित करने की योजना है और यह विकास प्रक्रिया 24 महीनों में चार चरणों में पूरी की जाएगी।

यूपी देश का प्रमुख टूरिस्ट डेस्टिनेशन
उत्तर प्रदेश देश का प्रमुख टूरिस्ट डेस्टिनेशन है, खासकर घरेलू पर्यटकों के लिए। यहां आध्यात्मिक पर्यटन के अलावा, प्राकृतिक और पारंपरिक कला आधारित पर्यटन की भी व्यापक संभावनाएं हैं। प्रदेश की समृद्ध संस्कृति और प्राकृतिक सौंदर्य को देखने की चाह न केवल भारतीयों में, बल्कि विदेशी पर्यटकों में भी देखने को मिलती है। इसीलिए, योगी सरकार ने ग्रामीण पर्यटन के विकास को आगे बढ़ाने के लिए ठोस कदम उठाए हैं, जिससे इस क्षेत्र की संभावनाएं भी खुलेंगी।

टूर गाइड्स और ऑपरेटर्स को दी जाएगी ट्रेनिंग
ग्रामीण पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए, प्रदेश के प्रमुख टूरिस्ट डेस्टिनेशंस के निकट स्थित गांवों में होम स्टे सहित विभिन्न पर्यटन विकास गतिविधियों पर ध्यान केंद्रित किया जा रहा है। इसके साथ ही, प्रमुख पर्यटन सर्किट में टूर गाइड्स और ऑपरेटर्स की ट्रेनिंग के लिए एक विस्तृत ढांचा तैयार किया जा रहा है, ताकि ग्रामीण और वन पर्यटन को और अधिक सशक्त बनाया जा सके।

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