करौली बाबा ने की महाकुंभ मेला की तारीफ : बोले- ऐसी व्यवस्था पहले कभी नहीं देखी, योगी सरकार ने अपने सभी वादे पूरे किए

UPT | करौली बाबा

Jan 20, 2025 14:51

महाकुंभ मेले में मिश्री मठ हरिद्वार से आए पूर्ण गुरु करौली शंकर महादेव जी ने महाकुंभ मेले की भव्यता और इसके अभूतपूर्व प्रबंधों पर विशेष चर्चा की।

Short Highlights

करौली बाबा ने कहा इस बार मौनी अमावस्या पर इतिहास की सबसे बड़ी भीड़ संगम तट पर उमड़ेगी।

करौली बाबा बोले- 2025 का महाकुंभ भारतीय इतिहास में अपनी एक अलग पहचान बनाने जा रहा है।

Prayagraj News : संगम नगरी प्रयागराज में आयोजित महाकुंभ मेला 2025 ऐतिहासिक बनता जा रहा है। इस महाकुंभ में जहां करोड़ों श्रद्धालु आस्था की डुबकी लगाने पहुंच रहे हैं, वहीं देशभर के संत-महात्मा भी इसकी महिमा और व्यवस्था की प्रशंसा कर रहे हैं। मिश्री मठ, हरिद्वार से आए पूर्ण गुरु करौली शंकर महादेव जी ने महाकुंभ मेले की भव्यता और इसके अभूतपूर्व प्रबंधों पर विशेष चर्चा की।

योगी सरकार के इंतजामों की खुलकर प्रशंसा
करौली शंकर महादेव जी ने कहा, "इस पूर्ण महाकुंभ में जो व्यवस्था है, वह पहले कभी नहीं हुई और ना ही आगे कभी ऐसी होगी। यहां स्वच्छता, सुरक्षा और आपसी तालमेल का माहौल अद्वितीय है। सरकार ने अपने सभी वादों को पूरा किया है और हर कदम पर सफलता प्राप्त की है।" उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा की गई व्यवस्थाएं शत प्रतिशत सफल रही हैं, और हर कोई इस महाकुंभ की भव्यता से प्रभावित है।

2013 के कुंभ से तुलना पर बाबा की राय
2013 के कुंभ मेले से तुलना करते हुए बाबा ने कहा कि उस समय की सरकार ने अपने स्तर पर जितना हो सका उतना किया। लेकिन उन्होंने इसे "सोने और लोहे की तुलना" जैसा बताया और वर्तमान महाकुंभ की श्रेष्ठता पर जोर दिया। उनका मानना है कि 2025 का महाकुंभ भारतीय इतिहास में अपनी एक अलग पहचान बनाने जा रहा है।

महाकुंभ में गरीबों की भागीदारी
करौली शंकर महादेव जी ने यह भी बताया कि पहली बार इस महाकुंभ के आयोजन ने दूर-दराज के गरीब और सामान्य लोगों को भी जागरूक किया है। पहले जो लोग महाकुंभ के बारे में नहीं जानते थे, वे भी इस आयोजन के प्रति उत्साहित हैं। बाबा ने कहा, "यह पहली बार है जब गली-गली में लोगों को पता चला कि महाकुंभ क्या होता है। यहां तक कि गरीब लोग भी इसमें शामिल होने की लालसा रखते हैं। यही कारण है कि महाकुंभ में इतनी भारी भीड़ उमड़ रही है।"

मौनी अमावस्या का विशेष महत्व
महाकुंभ के सबसे बड़े स्नान "मौनी अमावस्या" पर बोलते हुए बाबा ने कहा कि इस बार मौनी अमावस्या विशेष है। उन्होंने कहा, "इस बार मौनी अमावस्या पर इतिहास की सबसे बड़ी भीड़ संगम तट पर उमड़ेगी। यह आयोजन न केवल प्रशासन के लिए एक चुनौती है, बल्कि आस्था और श्रद्धा का अप्रतिम उदाहरण भी होगा।" उन्होंने यह भी बताया कि सरकार और प्रशासन इस भीड़ को संभालने और हर श्रद्धालु को सुरक्षित स्नान कराने के लिए हरसंभव कदम उठा रहे हैं।

योगी सरकार की रणनीति: एक अनुकरणीय उदाहरण
उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने महाकुंभ 2025 को ऐतिहासिक और व्यवस्थित बनाने के लिए कई नई योजनाएं लागू की हैं। तीर्थयात्रियों की सुविधाओं के लिए विशेष ट्रेनें और बस सेवाएं शुरू की गई हैं। संगम क्षेत्र में स्वच्छता सुनिश्चित करने के लिए अत्याधुनिक तकनीकों का उपयोग किया गया है। स्नान घाटों पर अत्यधिक भीड़ को नियंत्रित करने के लिए सुरक्षा बलों की तैनाती की गई है।

इसके अलावा, महाकुंभ क्षेत्र में जल, भोजन, चिकित्सा और ठहरने की सुविधाओं को बेहतर बनाने के लिए विशेष ध्यान दिया गया है। डिजिटल माध्यम से श्रद्धालुओं को महाकुंभ की जानकारी उपलब्ध कराने और लाइव अपडेट देने की व्यवस्था भी की गई है।

महाकुंभ: एक अद्वितीय आध्यात्मिक अनुभव
2025 का महाकुंभ केवल एक धार्मिक आयोजन नहीं है, बल्कि यह भारत की सांस्कृतिक और आध्यात्मिक विरासत का भव्य उत्सव है। योगी सरकार के प्रयासों और संत-महात्माओं के आशीर्वाद ने इसे और भी विशेष बना दिया है। बाबा करौली शंकर महादेव के शब्दों में, "यह महाकुंभ भारतीय इतिहास में स्वर्णिम अक्षरों में लिखा जाएगा।

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