उत्तर प्रदेश सरकार ने प्रदेश में होटल व्यवसाय का पूरा स्वरूप बदलने की तैयारी शुरू कर दि है। होटल उद्योग में गुणवत्ता और मानकों को भी सुनिश्चित करेगा। छोटे से लेकर बड़े होटलों के लिए पांच श्रेणियों निर्धारित की गई है।
यूपी में पर्यटन को बढ़ावा : होटल व्यवसाय का बदलेगा स्वरूप, जानें रजिस्ट्रेशन के नियम
Jul 16, 2024 01:24
Jul 16, 2024 01:24
पांच श्रेणियों में विभाजित होंगे होटल
नई व्यवस्था के अनुसार, राज्य के सभी होटलों को पांच श्रेणियों में वर्गीकृत किया जाएगा। ये श्रेणियां हैं - ब्रॉन्ज (1 स्टार), सिल्वर (2 स्टार), गोल्ड (3 स्टार), प्लेटिनम (4 स्टार), और डायमंड (5 स्टार)। यह वर्गीकरण होटलों द्वारा प्रदान की जाने वाली सुविधाओं और सेवाओं के आधार पर किया जाएगा। इस नई प्रणाली का उद्देश्य है कि प्रत्येक होटल अपनी श्रेणी के अनुरूप निर्धारित मानकों को पूरा करे।
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होटल रजिस्ट्रेशन नियम
यूपी होटल क्लासिफिकेशन रजिस्ट्रेशन सिस्टम के तहत, सभी होटलों को पर्यटन विभाग के पोर्टल पर रजिस्ट्रेशन कराना होगा। यह प्रक्रिया न केवल पारदर्शिता लाएगी, बल्कि ग्राहकों को भी सही जानकारी प्रदान करेगी। सरकार का लक्ष्य है कि अगले एक वर्ष में प्रदेश के सभी होटलों का रजिस्ट्रेशन हो जाए। होटल संचालकों को अपने होटल की श्रेणी स्वयं निर्धारित करनी होगी और उसी के अनुसार पोर्टल पर रजिस्ट्रेशन के लिए आवेदन करना होगा। प्रत्येक श्रेणी के लिए अलग- अलग नियम कानून निर्धारित किए गए हैं, जिनमें संचालन, कानूनी अनुपालन, और भौतिक सुविधाओं जैसे पहलू शामिल हैं। इनमें सप्ताह के सातों दिन होटल का संचालन, सभी आवश्यक कानूनी दस्तावेजों की उपलब्धता, और बुनियादी सुविधाओं जैसे स्वच्छ कमरे, बाथरूम, रसोई, बिजली और पानी की निर्बाध आपूर्ति शामिल हैं। इसके अलावा, प्रत्येक श्रेणी के लिए न्यूनतम क्षेत्रफल भी निर्धारित किया गया है। इस नई प्रणाली का उद्देश्य धोखाधड़ी और गलत जानकारी देने की संभावना कम होगी।
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कई व्यवस्था पर दिया जाएगा विशेष ध्यान
पंजीकरण के बाद, एक विशेष समिति द्वारा होटल का स्थलीय निरीक्षण किया जाएगा। यह समिति पर्यटन विभाग के उपनिदेशक, पर्यटन निगम के प्रबंधक, होटल एवं रेस्तरां संघ, और यात्रा एवं पर्यटन ऑपरेटर संघ के सदस्यों से मिलकर बनेगी। इससे न केवल पर्यटकों का आकर्षण बढ़ेगा, बल्कि होटल व्यवसाय में भी सुधार होगा। यह प्रदेश के आर्थिक ढांचे को मजबूत करने में भी मदद करेगा। सरकार ने होटलों को गृह कर और जल कर में 50% तक की छूट देने का भी प्रस्ताव रखा है, जो इस क्षेत्र के विकास को और प्रोत्साहित करेगा। नई व्यवस्था में सुरक्षा पर विशेष ध्यान दिया गया है। होटलों को आग बुझाने के उपकरण, मेटल डिटेक्टर, सीसीटीवी कैमरे जैसी सुरक्षा सुविधाएं प्रदान करनी होंगी। साथ ही, आपातकालीन संपर्क नंबरों जैसे पुलिस, अस्पताल, और अग्निशमन विभाग के नंबरों की जानकारी भी उपलब्ध करानी होगी।
कानपुर में होगा कार्यशाला का आयोजन
इस नई पहल के बारे में जानकारी देने के लिए कानपुर में एक कार्यशाला का आयोजन किया गया। इसमें पर्यटन विभाग के अधिकारियों ने होटल मालिकों को पंजीकरण प्रक्रिया और नए नियमों के बारे में विस्तृत जानकारी दी। कार्यशाला में 50 से अधिक होटल व्यवसायी शामिल हुए। पर्यटन विभाग के उपनिदेशक डॉ. कल्याण सिंह ने कहा कि पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए गुणवत्तापूर्ण होटल सुविधाएं आवश्यक हैं। हमारा लक्ष्य है कि प्रत्येक होटल अपनी श्रेणी के अनुरूप सर्वोत्तम सेवाएं प्रदान करे। उन्होंने यह भी बताया कि कानपुर में आयोजित कार्यशाला में होटल मालिकों को नए पोर्टल और पंजीकरण प्रक्रिया की विस्तृत जानकारी दी गई। होटल एंड रेस्टोरेंट एसोसिएशन नॉर्दन इंडिया के बोर्ड सदस्य विकास मल्होत्रा ने इस पहल का स्वागत करते हुए कहा कि यह होटल उद्योग के लिए एक सुनहरा अवसर है। इससे न केवल पर्यटकों को बेहतर सेवाएं मिलेंगी, बल्कि होटल मालिकों को भी विभिन्न लाभ प्राप्त होंगे।
बदलेगी तस्वीर
- पर्यटकों का रुझान तेजी से बढ़ेगा
- होटल व्यवसाय का और विकास होगा
- राज्य का आर्थिक ढांचा मजबूत होगा
- होटलों को गृह व जलकर में आधी छूट मिलेगी
- होटलों में आसानी से मिलेंगी जरूरी सुविधाएं
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