दिल्ली से हावड़ा तक 1490 किलोमीटर का डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर बनाया जा रहा है। मिर्जापुर, प्रयागराज, कानपुर और मुगलसराय जिलों में यह कॉरिडोर बनकर तैयार हो चुका है, जो माल परिवहन को तेज और सुविधाजनक बनाएगा।
महाकुंभ के लिए रेलवे का खास इंतजाम : डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर पर 130 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चलेंगी ट्रेनें
Jan 17, 2025 12:49
Jan 17, 2025 12:49
रेलवे ने मालगाड़ी को डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर पर डाइवर्ट किया
दिल्ली से हावड़ा के बीच में 1490 किलोमीटर डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर का निर्माण किया जा रहा है। मिर्जापुर, प्रयागराज, कानपुर और मुगलसराय आदि जिलों में कॉरिडोर बनकर तैयार हो चुका है। करीब 6 महीनों से इस पर मालगाड़ी का संचालन किया जा रहा है। प्रयागराज में आयोजित महाकुंभ मेले में पैसेंजर ट्रेनों की संख्या बढ़ाई गई है। रेलवे द्वारा मालगाड़ी को डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर पर डाइवर्ट किया गया है। इससे पैसेंजर ट्रेनों की लेटलतीफी नहीं हो रही है, कुछ ही महीनों में कॉरिडोर का उद्घाटन किया जाने वाला हैं।
आधुनिक तकनीक से दोगुनी हुई माल ढुलाई
डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर (डीएफसी) रेलवे की ओर से माल पहुंचाने के लिए बनाया जाता है। खास कॉरिडोर से माल ढुलाई दोगुनी हो जाती है। मालगाड़ी की स्पीड के साथ ही समय कम लगता है। कॉरिडोर में आधुनिक तकनीक का इस्तेमाल किया गया है, सभी मालगाड़ियां इलेक्ट्रिक इंजन से चलती हैं, रेल रूट पर एडवांस सिग्नल सिस्टम लगाया गया है, 100 से 130 किलोमीटर प्रति घंटा की स्पीड से ट्रेन जा सकती हैं।
महाकुंभ के लिए ट्रेनें बढ़ीं
उत्तर मध्य रेलवे के पीआरओ अमित मालवीय ने बताया कि महाकुंभ को लेकर ट्रेनों की संख्या में वृद्धि हुई है। रूट व्यस्त होने की वजह से सभी मालगाड़ी को डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर पर डाइवर्ट किया गया है। कॉरिडोर से मालगाड़ियों का संचालन शुरू हो गया है। प्रयास किया जा रहा है कि यात्रीयों को कोई भी परेशानी न होने पाएं और सभी ट्रेनों का समय से संचालन हो सके।
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