उत्तर प्रदेश की पूर्व सांसद संघमित्रा मौर्या और पूर्व मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य को कोर्ट ने भगोड़ा घोषित कर दिया है। संघमित्रा पर आरोप है कि उन्होंने अपने पहले पति को तलाक दिए बिना दूसरी शादी कर ली...
पूर्व सांसद संघमित्रा ने की दूसरी शादी! : जानिए क्या है कानून, किन हालातों में कर सकते हैं द्विविवाह
Jul 24, 2024 16:07
Jul 24, 2024 16:07
दीपक ने किया पति होने का दावा
दीपक कुमार का आरोप है कि बदायूं सांसद संघमित्रा मौर्य और वह 2016 में लिव इन रिलेशनशिप में रह रहे थे। संघमित्रा का पहले विवाह के बाद तलाक हो चुका है। दीपक के अनुसार, 3 जनवरी 2019 को उन्होंने संघमित्रा के घर में उनसे शादी कर ली। बाद में जब पता चला तो शादी की बात उजागर न होने पाए, इसलिए जानलेवा हमला कराया गया। जिसको लेकर वह कोर्ट चले गये। तीन बार समन, दो बार जमानती वारंट और एक बार गैर जमानती वारंट जारी किया गया, लेकिन दोनों हाजिर नहीं हुए। बता दें कि एमपी/एमएलए कोर्ट ने मामले की अगली सुनवाई के लिए 27 अगस्त को तय की है।
तलाक और दूसरी शादी को लेकर क्या है कानून
हिंदू मैरिज एक्ट 1955 के तहत कोई भी व्यक्ति दो शादियां नहीं कर सकता है। कानून में भारत में दो शादियां करने का प्रावधान नहीं है। साल 1955 से पहले तक हिंदू कई शादियां कर सकते थे और ये अपराध भी नहीं था। लेकिन साल 1955 में हिंदू मैरिज एक्ट लागू हुआ। उसके तहत हिंदुओं को सिर्फ एक ही शादी की इजाजत मिली। वहीं, यदि कोई हिंदू व्यक्ति दूसरी शादी करना चाहता है तो उसे अपने पहले पार्टनर से तलाक़ लेना होगा। इसके बाद ही वह व्यक्ति दूसरी शादी कर सकता है।
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एक पत्नी के होते हुए दूसरी शादी अपराध
हिंदू मैरिज एक्ट के तहत हर व्यक्ति को एक शादी करने की इजाजत दी गई है। यदि कोई व्यक्ति दो शादी करता है तो उसे अपराध माना जाता है। पति या पत्नी के होते हुए कुछ परिस्थितियों में दूसरी शादी करने को भारतीय कानून में अपराध की श्रेणी में रखा गया है।
क्या है सजा का प्रावधान
भारतीय कानून एक व्यक्ति को दो शादी करने की अनुमति नहीं देता है। अगर कोई व्यक्ति बिना तलाक के दूसरी शादी कर लेता है, तो उसे भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 494 के तहत अपराध माना जाता है। बिना तलाक के दूसरी शादी करने पर कड़ी सजा का प्रावधान है। वहीं, नए भारतीय न्याय संहिता में दूसरी शादी करने पर सात साल की सजा का प्रावधान किया गया है। साथ ही भारतीय दंड संहिता की धारा 494 के अनुसार अगर कोई व्यक्ति तलाक के बिना दूसरी शादी करता है, तो उसे अपराध के आधार पर सात साल या उससे अधिक की कैद हो सकती है।
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