गोरखपुर में आज बुलडोजर एक्शन की तैयारी : नगर निगम ने जारी किया नोटिस, अवैध निर्माण हटाने की चेतावनी

UPT | अवैध निर्माण हटाने की तैयारी

Dec 18, 2024 10:26

गोरखपुर के बशारतपुर क्षेत्र स्थित खरैया पोखरा के सुंदरीकरण में अवैध निर्माणों द्वारा अड़चनें डाली जा रही हैं। नगर निगम ने इन अवैध कब्जों को हटाने के लिए कड़ा कदम उठाया है और बुधवार को बुलडोजर चलाने की योजना बनाई है। इस कार्रवाई से तालाब की भूमि को अतिक्रमण से मुक्त किया जाएगा, जिससे पर्यावरणीय संतुलन बनाए रखा जा सके।

Gorakhpur News :  गोरखपुर शहर के बशारतपुर क्षेत्र में स्थित खरैया पोखरा के सुंदरीकरण कार्य में अवैध निर्माणों द्वारा रोड़े अटकाए जा रहे हैं। इस समस्या को हल करने के लिए नगर निगम प्रशासन ने बुधवार को इन अवैध निर्माणों को हटाने के लिए बुलडोजर चलाने का निर्णय लिया है।

15 अतिक्रमणकारियों को जारी किया नोटिस
नगर निगम ने इस मामले में 15 अतिक्रमणकारियों को नोटिस जारी किए हैं। इनमें से 6 लोगों ने पक्का निर्माण कर लिया है, जबकि कुछ लोगों ने खाली जमीन पर बाउंड्रीवाल बनाकर वहां कब्जा कर लिया है। नगर निगम के प्रवर्तन दल ने सोमवार को मौके पर पहुंचकर इन अवैध निर्माणों को रुकवाने की कोशिश की। साथ ही सभी संबंधित व्यक्तियों को चेतावनी दी कि अगर उन्होंने अपने अतिक्रमण को नहीं हटाया, तो कड़ी कार्रवाई की जाएगी।

पैमाइश में हुआ खुलासा, तालाब का क्षेत्रफल करीब डेढ़ एकड़ कम
करीब तीन महीने पहले नगर निगम और तहसील प्रशासन की संयुक्त टीम ने क्षेत्र की पैमाइश की थी। इस पैमाइश में कुल 1.55 एकड़ भूमि पर 15 लोगों द्वारा अवैध कब्जे की जानकारी सामने आई थी। इन कब्जों के कारण तालाब का मूल क्षेत्रफल, जो कि रिकॉर्ड के अनुसार 3.41 एकड़ था, अब घटकर डेढ़ एकड़ रह गया है। यह अवैध कब्जे तालाब की भूमि पर किए गए थे, और इनमें से कुछ निर्माण तो स्थायी रूप से किए गए थे।

प्रवर्तन दल की चेतावनी
सोमवार को अपर नगर आयुक्त निरंकार सिंह के नेतृत्व में नगर निगम का प्रवर्तन दल मौके पर पहुंचा और अतिक्रमणकारियों को साफ चेतावनी दी कि वे मंगलवार तक अपना अतिक्रमण हटा लें। इसके बाद, अगर वे कार्रवाई नहीं करते हैं, तो नगर निगम के अधिकारियों द्वारा विधिक प्रक्रिया के तहत आवश्यक कदम उठाए जाएंगे। अधिकारियों ने लाउडस्पीकर के माध्यम से इस चेतावनी की घोषणा भी की। यह कदम नगर निगम प्रशासन द्वारा गोरखपुर शहर के तालाबों और जल स्रोतों के संरक्षण के लिए उठाया गया है, ताकि जल निकासी और पर्यावरणीय संतुलन बनाए रखा जा सके।

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