हरदोई में 8 लोगों की मौत का मामला : डीएम ने पूछा- इन्हें क्यों नहीं मिला आवास योजना का लाभ

UPT | घटनास्थल

Jun 13, 2024 18:41

उत्तर प्रदेश के हरदोई जिले में मल्लावां कस्बे में घटी घटना ने हर किसी को झकझोर कर रख दिया है। यहां पर सड़क के किनारे पड़ी झोपड़ी पर बालू लदा ट्रक पलट जाने से एक ही परिवार के...

Short Highlights
  • झोपड़ी पर बालू लदा ट्रक पलट जाने से एक ही परिवार के आठ लोगों की हुई थीं मौत 
  • मल्लावां के अधिशासी अधिकारी ने झोपड़ी में रह रहे लोगों के पास जमीन न होने का दिया हवाला
Hardoi News : उत्तर प्रदेश के हरदोई जिले में मल्लावां कस्बे में घटी घटना ने हर किसी को झकझोर कर रख दिया है। यहां पर सड़क के किनारे पड़ी झोपड़ी पर बालू लदा ट्रक पलट जाने से एक ही परिवार के आठ लोगों की मृत्यु हो गई थी। झोपड़ी के नीचे न सिर्फ अवधेश बल्कि उसके परिवार और बिरादरी के कई लोग उन्नाव मार्ग पर ही रहते हैं। डीएम एमपी सिंह झोपड़ी में रहने वाले परिवारों की दशा देख पिघल गए। उन्होंने मौके पर मौजूद एसडीएम गरिमा से पूछा कि इन लोगों को आवास क्यों नहीं मिला, तो एसडीएम अगल-बगल देखने लगीं। अगर मृतकों के पास उनके मकान होता, तो शायद उनकी जान बच जाती। एक साथ इतनी लाशें देखकर परिजनों में कोहराम मचा हुआ है।

जनप्रतिनिधियों तक की संवेदना नहीं जागी
नगर पालिका के जिम्मेदारों से लेकर अन्य अफसरों और जनप्रतिनिधियों तक की निगाह इन पर पड़ती, तो रही, लेकिन किसी की संवेदना नहीं जागी। जागी होती तो चहेतों को आवास योजना का लाभ दिलाने के लिए किसी से भिड़ जाने वाले जनप्रतिनिधि इनके लिए भी आवाज उठाते तो शायद आज इन सबकी जान बच जाती।

डीएम ने एसडीएम से पूछा: इन्हें क्यों नहीं मिला आवासीय योजना का लाभ
घटनास्थल पर पहुंचे डीएम एमपी सिंह ने मौके पर मौजूद एसडीएम गरिमा से पूछा कि इन लोगों को आवास क्यों नहीं मिले तो एसडीएम के पास कोई जवाब नही था। मंशा यह थी कि किसी और विभाग का कोई जिम्मेदार दिख जाए, तो उससे जवाब मांग लें। डीएम ने एसडीएम की चुप्पी पर कुछ कहा तो नहीं, लेकिन उनकी भाव भंगिमा गुस्सा सातवें आसमान पर होने की गवाही दे रहा था।

जमीन नहीं थी इसलिए नहीं दे पाए आवास
मल्लावां के अधिशासी अधिकारी राजेश कुमार राणा से जब आवासीय योजना का लाभ न दिए जाने के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा कि इन लोगों के पास निजी जमीन नहीं है। नगर पालिका से ऐसे लोगों को जमीन आवंटित किए जाने की कोई व्यवस्था नहीं है। जमीन न होने के कारण इन्हें प्रधानमंत्री आवास योजना शहरी का लाभ नहीं दिया जा सका। अगर जमीन होती तो आवास जरूर दिया जाता। ईओ ने बताया कि डीएम ने पूरे मामले पर रिपोर्ट मांगी है। विस्तृत रिपोर्ट बनाकर दी जा रही है।

अब यहां रहते हैं 45 लोग
सड़क किनारे कुल 10 परिवारों के 59 लोग रहते थे। इनमें से छह लोग कुछ साल पहले बिलग्राम में रहने लगे। यहां 53 लोग रहते थे। इनमें से आठ की मौत बुधवार को हुए हादसे में हो गई। अब यहां 45 लोग बचे हैं। इसकी जानकारी क्षेत्रीय लेखपाल जमाल ने उपजिलाधिकारी को तहसीलदार के माध्यम से भेजी है।

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