Prayagraj News : प्रयागराज में साइबर सुरक्षा कार्यशाला, साइबर अपराधों से बचाव के उपायों पर चर्चा

UPT | कार्यशाला में साइबर ठगी की जानकारी देते विशेषज्ञ

Dec 21, 2024 16:37

उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में साइबर अपराधों की बढ़ती घटनाओं के मद्देनजर पुलिस आयुक्त प्रयागराज के निर्देश पर एक साइबर सुरक्षा कार्यशाला का आयोजन किया गया।

Prayagraj News : उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में साइबर अपराधों की बढ़ती घटनाओं के मद्देनजर पुलिस आयुक्त प्रयागराज के निर्देश पर एक साइबर सुरक्षा कार्यशाला का आयोजन किया गया। यह कार्यशाला सेंट जोसेफ स्कूल, नैनी में 6 यूपी गर्ल्स बटालियन एनसीसी के 505 कैडेट्स के लिए आयोजित की गई, जिसमें साइबर अपराधों से बचाव के उपायों पर विस्तार से चर्चा की गई।

साइबर सुरक्षा कार्यशाला का आयोजन
कार्यशाला में साइबर सेल प्रयागराज के विशेषज्ञ जय प्रकाश सिंह ने साइबर ठगी के नए तरीकों और उनसे बचने के उपायों के बारे में जानकारी दी। उन्होंने बताया कि पहले जहां लूट-डकैती शारीरिक रूप से होती थी, वहीं अब साइबर अपराधी इंटरनेट की मदद से दूर बैठे लोगों के बैंक खातों से लाखों रुपये उड़ा रहे हैं।

जय प्रकाश सिंह का मार्गदर्शन
जय प्रकाश सिंह ने विशेष रूप से "डिजिटल अरेस्ट" जैसे झूठे शब्दों और इसके द्वारा उत्पन्न होने वाले खतरों पर प्रकाश डाला। उन्होंने महाकुंभ के नाम पर हो रही फर्जी टेंट और कॉटेज बुकिंग की घटनाओं का जिक्र किया और चेतावनी दी कि व्हाट्सएप पर प्राप्त संदिग्ध एपीके फाइल्स को डाउनलोड करने से बचें। साथ ही, बैंक खातों के दुरुपयोग की बढ़ती घटनाओं पर भी उन्होंने चर्चा की, जिसमें लोग थोड़े से लाभ के लिए अपने बैंक खातों को दूसरों को सौंप रहे हैं। इस तरह की गतिविधियां अवैध मानी जाती हैं और अगर खाता धारक जानबूझकर ऐसा करता है, तो वह कानूनी रूप से दोषी हो सकता है।



साइबर अपराधों से बचाव पर चर्चा
कार्यशाला के दौरान एनसीसी कैडेट्स ने साइबर अपराध से जुड़ी कई सवाल पूछे, जिनका जय प्रकाश सिंह ने विस्तार से उत्तर दिया। उन्होंने कैडेट्स से अपील की कि वे केवल खुद जागरूक न हों, बल्कि इस जानकारी को अन्य लोगों तक भी पहुंचाएं। इस दौरान कर्नल प्रवीन कुमार एस और मेजर हरविंदर सिंह ने प्रयागराज साइबर सेल के प्रयासों की सराहना की और कार्यशालाओं के महत्व को रेखांकित किया।

एनसीसी कैडेट्स ने पूछे सवाल
मेजर हरविंदर सिंह ने लोगों से अपील की कि वे कार्यशाला में प्राप्त जानकारी को चार-पांच अन्य लोगों तक पहुंचाएं, ताकि अधिक से अधिक लोग साइबर अपराधों से बच सकें। इस कार्यशाला ने साइबर सुरक्षा के प्रति जागरूकता बढ़ाने और युवाओं को सुरक्षित डिजिटल व्यवहार सिखाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।

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