अलीगढ़ में ग्रामीणों ने उपचुनाव का बहिष्कार किया है। इसको लेकर गांव में पोस्टर लगाए गए हैं।
Short Highlights
33 हजार केवी की हाई टेंशन लाइन हटाने की कर रहे मांग
गांव में 1200 लोगों का वोट है
ग्रामीणों ने उपचुनाव बहिष्कार का फैसला लिया है
Aligarh news : अलीगढ़ में ग्रामीणों ने उपचुनाव का बहिष्कार किया है। इसको लेकर गांव में पोस्टर लगाए गए हैं। ग्रामीणों का कहना है कि जो भी वोट मांगने के लिए गांव में आएगा उसका विरोध किया जाएगा। ग्रामीणों ने बताया कि एक साल से 33 हजार केवी की लाइन हटने की मांग अधिकारियों और नेताओं से कर रहे हैं, लेकिन सिर्फ आश्वासन मिल रहा है। जबकि 33 हजार केवी की हाई टेंशन बिजली की लाइन से कई हादसे हो चुके हैं।
33 हजार केवी की हाई टेंशन लाइन हटाने की कर रहे मांग
ग्रामीणों ने बताया कि बिजली विभाग की 33 हजार केवी की हाई टेंशन लाइन खेतों, रास्तों और घरों के ऊपर से हो कर जा रही है। जिसके चलते हादसे होते हैं। गांव में कई लोग इसकी चपेट में आ चुके हैं। पिछले साल गांव के मनोज कुमार का 10 वर्षीय बेटा शौर्य हाई टेंशन लाइन की चपेट में आ गया। जिसके चलते उसका एक हाथ और एक पैर कट गया। उस समय बिजली विभाग के अधिकारियों, नेताओं को लाइन हटाने की मांग की गई थी, लेकिन बिजली विभाग के अधिकारियों और नेताओं से केवल आश्वासन ही मिले, हाई टेंशन लाइन को नहीं हटाया गया।
गांव में 1200 लोगों का वोट है
मनोज कुमार ने बताया कि 33 हजार केवी हाई टेंशन लाइन जब तक नहीं हटायेगें, पूरा गांव वोट नहीं डालेगा। उन्होंने बताया कि इस गांव में करीब 1200 वोट है। मनोज ने बताया कि जिस तरीके से मेरे बच्चे के साथ हादसा हुआ है, उस तरह से किसी और के साथ नहीं होना चाहिए। मनोज ने बताया कि इस समस्या की शिकायत कई बार की गई लेकिन कोई समाधान करने नहीं आता । न तो लाइनमैन आते हैं न हीं विधायक, ग्रामीणों की समस्या को देखने के लिए आते हैं।
ग्रामीणों ने उपचुनाव बहिष्कार का फैसला लिया है
हाई टेंशन लाइन की समस्या से 10 साल का शौर्य दिव्यांग हो गया, उसके हाथ व पैर कट गए और हाई टेंशन लाइन का खौफ गांव में बना रहता है। यह तार काफी ढीले हैं और खेतों में झूलते रहते हैं। आंधी तूफान आने पर ग्रामीणों को जान का खतरा बढ़ जाता है। हालांकि जनप्रतिनिधि और बिजली विभाग के अधिकारी ग्रामीणों की समस्या पर कोई ध्यान नहीं दे रहे हैं। जिसके चलते गांव वालों ने उपचुनाव के बहिष्कार का फैसला लिया है। खैर विधानसभा के चमन नगरिया इलाके में करीब डेढ़ सौ घर है और यहां 12 सौ लोगों का वोट है। बिजली की समस्या का समाधान न होने से गांव के लोगों ने एकजुट होकर उपचुनाव के बहिष्कार का फैसला लिया है। किसी भी नेता के आने पर उसका विरोध किया जाएगा।