एंबुलेंस चालकों ने घेरा बृजेश पाठक का आवास : बोले- डिप्टी सीएम ने दिया झूठा आश्वासन, बेरोजगार होने से रोजी-रोटी पर संकट

UPT | एंबुलेंस चालकों ने घेरा बृजेश पाठक का आवास

Oct 15, 2024 11:15

एंबुलेंस चालकों ने मंगलवार सुबह उप मुख्यमंत्री बृजेश पाठक के आवास का घेराव किया। चालकों का आरोप है कि 20 दिन पहले भी प्रदर्शन किया था।

Lucknow News : एंबुलेंस चालकों ने मंगलवार सुबह उप मुख्यमंत्री बृजेश पाठक के आवास का घेराव किया। चालकों का आरोप है कि 20 दिन पहले भी प्रदर्शन किया था। उस समय उप मुख्यमंत्री ने एक सप्ताह के भीतर उनकी समस्याओं का समाधान करने का आश्वासन दिया था, लेकिन अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की गई है। सरकार की उदासीनता ने नाराज चालकों ने 108 और 102 एंबुलेंस कर्मचारी संघ के बैनर तले दोबारा उप मुख्यमंत्री का आवास घेरा। सूचना पर पहुंची पुलिस ने प्रदर्शकारियों का हटाने का प्रयास किया। जब वह नहीं मानें तो सभी को गाड़ियों में भरकर ईको गार्डन भेज दिया।

तीन साल से मिल रहा आश्वासन
एंबुलेंस चालकों ने बताया कि उनकी नियुक्ति 2012 में हुई थीं। 2021 तक 108 और 102 एम्बुलेंस में सेवा दिया। 2021 में 9 हजार कर्मचारियों को निजी कंपनी जीवीके ईएमआरआई (आपातकालीन प्रबंधन और अनुसंधान संस्थान) के माध्यम से भर्ती किया गया। इसके बाद कंपनी ने उन्हें नौकरी से निकाल दिया, जिसके बाद से वे लगातार विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। लेकिन अभी तक हमारी समस्याओं का समाधान नहीं हुआ है।



दो वक्त की रोटी के लाले 
प्रदर्शनकारियों ने कहा कि कोरोनाकाल में एंबुलेंस चालकों और मेडिकल कर्मचारियों ने जान जोखिम में डालकर दूसरों को नया जीवन दिया। 108 और 102 एंबुलेंस कर्मचारियों ने पूरे प्रदेश के मरीजों की सहायता की। इस दौरान हमारे कई साथियों की कोविड-19 के कारण ड्यूटी पर मौत हो गई। बदले में हमें कोरोना के बाद बेरोजगार कर दिया गया। कई बार गोरखपुर में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मुलाकात करके अपनी बात रखी। मगर अब तक कोई सुनवाई नहीं। बेरोजगारी के चलते दो वक्त की रोटी नहीं खा पा रहे हैं। आर्थिक स्थिति बिगड़ती जा रही है। वह अपने बच्चों के भविष्य को लेकर चिंतित हैं। उन्होंने कहा तक जब तक बहाल नहीं कर दिया जाता तब तक लखनऊ से नहीं जाएंगे।

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