सीएम युवा उद्यमी विकास अभियान : युवाओं के आर्थिक विकास, स्वरोजगार को बढ़ावा देने की पहल, एमएसएमई को लगेंगे पंख

UPT | प्रतीकात्मक तस्वीर

Dec 17, 2024 15:08

प्रदेश में युवाओं के आर्थिक सशक्तिकरण और स्वरोजगार को बढ़ावा देने के लिए "मुख्यमंत्री युवा उद्यमी विकास अभियान" शुरू किया गया है। इसका उद्देश्य 10 वर्षों में 10 लाख नई सूक्ष्म इकाइयां स्थापित कर एमएसएमई सेक्टर को मजबूत करना है।

lakhimpur kheri News : प्रदेश में युवाओं के आर्थिक सशक्तिकरण और स्वरोजगार को प्रोत्साहन देने के उद्देश्य से "मुख्यमंत्री युवा उद्यमी विकास अभियान" की शुरुआत की गई है। इस योजना का मुख्य उद्देश्य प्रदेश और जिले में सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम (एमएसएमई) को मजबूत करना और अगले 10 वर्षों में 10 लाख नई सूक्ष्म इकाइयां स्थापित करना है। लखीमपुर खीरी के उपायुक्त उद्योग उज्जवल सिंह ने इस योजना के विषय में विस्तृत जानकारी साझा की।



योजना की पात्रता और शर्तें
  • आवेदक का निवास: आवेदक को उत्तर प्रदेश का निवासी होना आवश्यक है।
  • शैक्षिक योग्यता: न्यूनतम शैक्षणिक योग्यता कक्षा 8 उत्तीर्ण रखी गई है। हालांकि, इंटरमीडिएट उत्तीर्ण अथवा समकक्ष योग्यताओं को प्राथमिकता दी जाएगी।
  • आयु सीमा: योजना का लाभ लेने के लिए आवेदक की आयु 21 से 40 वर्ष के बीच होनी चाहिए।
  • प्रशिक्षण प्राथमिकता: आवेदक को किसी मान्यता प्राप्त संस्थान से कौशल प्रशिक्षण, जैसे विश्वकर्मा श्रम सम्मान योजना, एक जनपद एक उत्पाद (ODOP) प्रशिक्षण, अनुसूचित जाति/जनजाति/ओबीसी प्रशिक्षण अथवा तकनीकी शिक्षा जैसे सर्टिफिकेट, डिप्लोमा या डिग्री प्राप्त होना चाहिए।
  • निगेटिव लिस्ट: परियोजनाएं जो तंबाकू, गुटखा, पान और पटाखों के निर्माण से जुड़ी हों, वे इस योजना के तहत अनुमन्य नहीं होंगी।
अंशदान और लाभार्थी वर्ग
  • सामान्य वर्ग: परियोजना लागत का 15% स्वयं का अंशदान देना होगा।
  • अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी): परियोजना लागत का 12.5% अंशदान देना होगा।
  • अनुसूचित जाति/जनजाति (एससी/एसटी) एवं दिव्यांगजन: परियोजना लागत का 10% अंशदान देना होगा।
वित्त पोषण की व्यवस्था
  • प्रथम चरण : उद्योग और सेवा क्षेत्र की अधिकतम 5 लाख रुपये तक की परियोजनाओं पर परियोजना लागत का 100% ब्याज उपादान दिया जाएगा। यह ब्याज उपादान वित्त पोषण की तिथि से अगले 4 वर्षों के लिए मान्य होगा। लाभार्थी को अधिकतम 5 लाख रुपये की परियोजना लागत पर 10% मार्जिन मनी सब्सिडी दी जाएगी।
  • द्वितीय चरण (विस्तार योजना): द्वितीय चरण में अधिकतम 10 लाख रुपये की परियोजना लागत निर्धारित की गई है। पहले चरण में लिए गए ऋण का अधिकतम दो गुना या 7.5 लाख रुपये की ऋण धनराशि पर 50% ब्याज उपादान अगले 3 वर्षों तक दिया जाएगा।
  • प्रमुख शर्त : परियोजना में भूमि और भवन के क्रय की लागत सम्मिलित नहीं होगी।
योजना का उद्देश्य
  • रोजगार सृजन: प्रदेश में अधिक से अधिक स्वरोजगार के अवसर उपलब्ध कराना।
  • निवेश प्रोत्साहन: उद्यमियों को आर्थिक सहायता देकर सूक्ष्म इकाइयों को बढ़ावा देना।
  • युवाओं को आत्मनिर्भर बनाना: युवाओं को अपना व्यवसाय शुरू करने के लिए प्रोत्साहित करना और उनके आर्थिक विकास में सहायक बनना।
संपर्क जानकारी
उपायुक्त उद्योग उज्जवल सिंह ने बताया कि योजना से संबंधित अधिक जानकारी और आवेदन के लिए इच्छुक लाभार्थी किसी भी कार्य दिवस में जिला उद्योग प्रोत्साहन एवं उद्यमिता विकास केंद्र, राजापुर, लखीमपुर खीरी में संपर्क कर सकते हैं। यह योजना प्रदेश के युवाओं के लिए एक सुनहरा अवसर है, जिसमें वे अपने उद्यमी सपनों को साकार कर सकते हैं। यह न केवल युवाओं को आर्थिक रूप से आत्मनिर्भर बनाएगा, बल्कि प्रदेश के विकास में भी महत्वपूर्ण योगदान देगा। 

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