लौटा मां गंगा का वास्तविक स्वरूप : संगम नोज पर श्रद्धालुओं को मिलेगी स्नान की सुविधा, एक धारा में बह रही मां गंगा

UPT | लौटा मां गंगा का वास्तविक स्वरूप

Dec 18, 2024 14:37

आगामी महाकुंभ को भव्य और दिव्य बनाने के लिए सिंचाई विभाग ने एक ऐतिहासिक प्रयास किया है। विभागीय अधिकारियों ने 'भगीरथ प्रयास' के...

Lucknow News : आगामी महाकुंभ को भव्य और दिव्य बनाने के लिए सिंचाई विभाग ने एक ऐतिहासिक प्रयास किया है। विभागीय अधिकारियों ने 'भगीरथ प्रयास' के तहत मां गंगा की तीन धाराओं को एक धारा में समाहित किया है, जिससे न केवल गंगा के प्राकृतिक स्वरूप को पुनः बहाल किया गया है, बल्कि संगम क्षेत्र में श्रद्धालुओं के लिए स्नान की सुविधाओं में भी महत्वपूर्ण वृद्धि हुई है।

तीन धाराओं से एक धारा की ओर गंगा की यात्रा
प्रयागराज के शास्त्री ब्रिज से संगम नोज तक मां गंगा तीन धाराओं में बंटी हुई थी जिससे गंगा की पवित्रता प्रभावित हो रही थी और महाकुंभ के आयोजन में कई समस्याएं उत्पन्न हो रही थीं। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर गंगा के प्रवाह को एकरूप बनाने की योजना बनाई गई। इस बदलाव से 40 करोड़ से अधिक श्रद्धालुओं को एक ही स्थान पर स्नान करने की सुविधा मिलेगी, जिससे मेला क्षेत्र की व्यवस्था को बेहतर और सुगम बनाया जाएगा।

आईआईटी गुवाहाटी और ड्रेजिंग मशीनों की मदद से सफल परियोजना
इस चुनौतीपूर्ण कार्य को पूरा करने के लिए आईआईटी गुवाहाटी के विशेषज्ञों की मदद ली गई। ड्रेजिंग मशीनों के माध्यम से गंगा की तीन धाराओं को एक साथ लाने की प्रक्रिया शुरू की गई। इस दौरान गंगा की तेज धारा और ऊंचे जल स्तर ने कार्य को कठिन बना दिया, लेकिन तकनीकी विशेषज्ञों और अधिकारियों के अथक प्रयासों से यह कार्य पूरा किया गया। इसके लिए तीन विशाल ड्रेजिंग मशीनें लगाई गईं और बाद में चौथे ड्रेजर को तैनात किया गया जिससे कार्य की गति और गुणवत्ता में सुधार हुआ।



22 हेक्टेयर अतिरिक्त क्षेत्र में स्नान की सुविधा
मां गंगा के एक धारा में प्रवाहित होने से संगम क्षेत्र में 22 हेक्टेयर अतिरिक्त जगह प्राप्त हुई जो श्रद्धालुओं के लिए अधिक स्नान स्थल उपलब्ध कराती है। इसके साथ ही पांच लाख मीट्रिक टन बालू का उपयोग कर इस क्षेत्र को समतल किया गया। इस परिवर्तन से महाकुंभ-2025 में लाखों श्रद्धालुओं के स्नान की व्यवस्था में क्रांतिकारी बदलाव आएगा।

संगम नोज पर स्नान की सुविधा का विस्तार
गंगा के प्रवाह को एक धारा में लाने से संगम नोज पर श्रद्धालुओं को पहले से कहीं अधिक स्नान की सुविधा मिलेगी। इस पहल से न केवल गंगा के प्राकृतिक स्वरूप को बहाल किया गया है, बल्कि महाकुंभ के आयोजन की सफलता में भी यह महत्वपूर्ण कदम साबित होगा। सिंचाई विभाग ने यह अद्वितीय प्रयास किया है  जिसे 'भगीरथ प्रयास' की संज्ञा दी जा सकती है। यह कार्य न केवल मां गंगा के संरक्षण के लिए बल्कि महाकुंभ के आयोजन को व्यवस्थित और पवित्र बनाने के लिए भी महत्वपूर्ण कदम साबित होगा।

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