मिशन शक्ति 5.0 : यूपी में 7500 छात्राएं बनेंगी एक दिन की अफसर, निपुणता और नेतृत्व क्षमता का होगा विकास

UPT | Mission Shakti

Oct 08, 2024 14:15

बेसिक शिक्षा मंत्री संदीप सिंह ने बताया कि इस योजना का उद्देश्य बालिकाओं को प्रशासनिक जिम्मेदारियों का अनुभव देना और उनके आत्मविश्वास व नेतृत्व गुणों का विकास करना है। चयनित बालिकाएं डीएम, सीडीओ, बीएसए, खंड विकास अधिकारी, तहसीलदार, डीआईओएस जैसे पदों पर एक दिन के लिए कार्य करेंगी।

Lucknow News : प्रदेश सरकार के मिशन शक्ति 5.0 अभियान के तहत, राज्य के परिषदीय और कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालयों (केजीबीवी) की 7500 छात्राओं को प्रशासनिक जिम्मेदारियों का अनुभव प्रदान करने का अनूठा अवसर मिलेगा। इस पहल के तहत, प्रदेश के प्रत्येक जिले से 100 छात्राओं का चयन किया जाएगा जो डीएम, सीडीओ, बीएसए, तहसीलदार और अन्य प्रशासनिक पदों पर एक दिन के लिए अधिकारी बनेंगी। बेसिक शिक्षा विभाग के मुताबिक इससे छात्राओं में निपुणता और नेतृत्व क्षमता का विकास होगा। 

कासगंज की भूमिका और संभल की शालू बन चुकी हैं एक दिन की जिलाधिकारी
बेसिक शिक्षा मंत्री संदीप सिंह ने बताया कि इस योजना का उद्देश्य बालिकाओं को प्रशासनिक जिम्मेदारियों का अनुभव देना और उनके आत्मविश्वास व नेतृत्व गुणों का विकास करना है। चयनित बालिकाएं डीएम, सीडीओ, बीएसए, खंड विकास अधिकारी, तहसीलदार, डीआईओएस जैसे पदों पर एक दिन के लिए कार्य करेंगी। कासगंज की टॉपर भूमिका और संभल की शालू पहले ही इस योजना के तहत एक दिन की जिलाधिकारी बन चुकी हैं, जिन्होंने सफलतापूर्वक अपने कर्तव्यों का निर्वहन किया। सरकार का यह प्रयास बेटियों को आत्मनिर्भर बनाने के साथ-साथ समाज में उनके योगदान को बढ़ावा देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।



सभी जाति, वर्ग और श्रेणियों की बालिकाओं को समान अवसर
चयन प्रक्रिया में उन बालिकाओं को प्राथमिकता दी जाएगी, जो अपनी निपुणता के लिए जानी जाती हैं और जिनमें लीडरशिप के गुण निखर कर सामने आ रहे हैं। इस कार्यक्रम में सभी जाति, वर्ग और श्रेणियों की बालिकाओं को समान अवसर प्रदान किया जाएगा। संदीप सिंह के मुताबिक मिशन शक्ति के जरिए सरकार की यह पहल उन बालिकाओं के लिए एक सुनहरा अवसर है, जो अपनी नेतृत्व क्षमताओं को पहचानना चाहती हैं और समाज में बदलाव लाने की आकांक्षा रखती हैं। सरकार की ये कोशिश बेटियों को आत्मनिर्भर बनाने और उन्हें प्रशासनिक कार्यों की जमीनी समझ देने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम है। 

लोगों की समस्याओं की सुनवाई करेंगी बालिका अधिकारी
इस योजना के तहत चुनी गई बालिकाएं एक दिन के लिए सरकारी अधिकारियों की भूमिका निभाएंगी। वे न सिर्फ लोगों की समस्याओं की सुनवाई करेंगी, बल्कि उनके निस्तारण में भी सक्रिय भागीदारी निभाएंगी। यह अनुभव उन्हें निर्णय लेने की क्षमता और सामर्थ्य को निखारने में मदद करेगा, जो उनके भविष्य के लिए बेहद महत्वपूर्ण होगा।

शालू और भूमिका बन चुकी हैं एक दिन की डीएम 
सीएम योगी आदित्यनाथ के आदेश के बाद संभल जनपद के बहजोई स्थित कस्तूरबा गांधी विद्यालय की छात्रा शालू और कासगंज जनपद की टॉपर छात्रा कुमारी भूमिका को एक दिन के लिए सांकेतिक रूप से जिलाधिकारी बनाया जा चुका है। इस दौरान शालू ने मिशन शक्ति की बैठक का सफलतापूर्वक संचालन किया, अधिकारियों का परिचय लिया और मिशन शक्ति के कार्यों की रूपरेखा पर निर्देश दिए थे। इसी तरह कासगंज की टॉपर भूमिका ने महिलाओं और बालिकाओं की सुरक्षा, सम्मान और स्वावलंबन के लिए चलाए जा रहे मिशन शक्ति फेज-5 के तहत कासगंज तहसील में आयोजित सम्पूर्ण समाधान दिवस में एक दिन का जिलाधिकारी बन जनसमस्याओं की सुनवाई की। 

इन छात्राओं को भी मिल चुका है मौका
इसी तरह से चित्रकूट स्थित कस्तूरबा गांधी विद्यालय की छात्रा मनोरमा पटेल को भी एक दिन के लिए सांकेतिक रूप से जिला विद्यालय निरीक्षक (डीआईओएस) बनाया गया था। मनोरमा ने इस दौरान अधिकारियों की जिम्मेदारियों को बखूबी निभाया और विभिन्न मामलों की समीक्षा की। इसके अलावा केजीबीवी की बालिकाओं को मुख्य विकास अधिकारी, जिला पिछड़ा एवं कल्याण अधिकारी और खंड विकास अधिकारी के रूप में भी एक दिन का अधिकारी बनने का अवसर मिल चुका है। चित्रकूट जनपद के पारो नाम की छात्रा को भी एक दिन का जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी (बीएसए) बनाया गया था।

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