कंगना रनौत की मुश्किलें बढ़ीं : मंडी सांसद को बुलंदशहर MP/MLA कोर्ट का समन, किसान आंदोलन पर दिया था विवादित बयान

UPT | कंगना रनौत

Oct 25, 2024 11:43

हिमाचल प्रदेश की मंडी सीट से सांसद और अभिनेत्री कंगना रनौत को 25 अक्टूबर को बुलंदशहर MP/MLA कोर्ट में तलब किया गया है। यह कार्रवाई किसान आंदोलन को लेकर दिए गए उनके विवादास्पद...

Bulandshahr News : हिमाचल प्रदेश की मंडी सीट से सांसद और अभिनेत्री कंगना रनौत को 25 अक्टूबर को बुलंदशहर MP/MLA कोर्ट में तलब किया गया है। यह कार्रवाई किसान आंदोलन को लेकर दिए गए उनके विवादास्पद बयानों के बाद की गई है। कंगना ने 25 अगस्त को एक इंटरव्यू में कहा था कि "पंजाब में किसान आंदोलन के नाम पर उपद्रवी हिंसा फैला रहे थे। जहां रेप और हत्याएं हो रही थीं। किसान बिल को वापस ले लिया गया, वरना इन उपद्रवियों की योजना बहुत लंबी थी और ये देश में कुछ भी कर सकते थे।"

किसान नेता ने की थी शिकायत
कंगना के इस बयान के बाद भारतीय किसान यूनियन (BKU) के राष्ट्रीय संगठन महामंत्री पंडित गजेंद्र शर्मा ने उनके खिलाफ अदालत में शिकायत दर्ज कराई। गजेंद्र शर्मा का आरोप है कि कंगना रनौत ने किसानों और विशेष रूप से महिलाओं के खिलाफ अभद्र टिप्पणी की है। जो कि असहनीय और निंदनीय है। उनका कहना है कि कंगना ने किसान आंदोलन को हिंसा और अपराध से जोड़कर किसानों की छवि को खराब करने की कोशिश की है। यह बयान केवल किसानों का अपमान नहीं है, बल्कि समाज में उनके प्रति गलत धारणा पैदा करने की साजिश है।


अदालत के सामने पेश किए गए कंगना के इंटरव्यू वीडियो
गजेंद्र शर्मा के वकील संजय शर्मा ने अदालत को कंगना के कई इंटरव्यू के वीडियो सबूत के तौर पर जमा किए हैं। जिनमें ये आपत्तिजनक बयान दिए गए थे। शर्मा ने यह भी बताया कि 28 अगस्त को किसानों के साथ मिलकर लोकसभा अध्यक्ष को ज्ञापन सौंपा गया था। जिसमें कंगना के बयानों पर आपत्ति जताई गई थी। उन्होंने दो सितंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भी ऑनलाइन शिकायत भेजी थी। जिसमें कंगना के खिलाफ कार्रवाई की मांग की गई थी, लेकिन अभी तक इस पर कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया।

कंगना रनौत के विवादित बयान
कंगना रनौत अपने बयानों के कारण लगातार सुर्खियों में रही हैं। उनके तीन प्रमुख बयान, जिन पर सबसे अधिक विवाद हुआ।
  • किसान आंदोलन को बांग्लादेश से तुलना : कंगना ने एक इंटरव्यू में कहा था, "अगर हमारा शीर्ष नेतृत्व मजबूत नहीं रहता, तो किसान आंदोलन के दौरान पंजाब को भी बांग्लादेश बना दिया जाता।" इस बयान ने न केवल किसानों बल्कि पंजाब के लोगों में भी गुस्से की लहर पैदा की।
  • किसान आंदोलन के दौरान हिंसा और अपराध का आरोप : उन्होंने यह भी कहा कि "पंजाब में किसान आंदोलन के नाम पर उपद्रवी हिंसा फैला रहे थे। वहां रेप और हत्याएं हो रही थीं। अगर किसान बिल वापस नहीं लिया जाता, तो उनकी योजना बहुत लंबी थी।" इस बयान ने किसान नेताओं और संगठनों को आक्रोशित कर दिया, जिन्होंने इसे किसानों के खिलाफ घृणास्पद टिप्पणी के रूप में देखा।
  • किसानों को 'उपद्रवी' कहना : कंगना ने कहा कि किसान आंदोलन के पीछे कुछ 'उपद्रवी' तत्व थे, जिनकी योजना लंबे समय तक हिंसा फैलाने की थी। उन्होंने यह भी कहा कि ये लोग देश में कुछ भी कर सकते थे। जिससे स्थिति और गंभीर हो गई।
भाजपा की दी प्रतिक्रिया
कंगना के इन बयानों के बाद विवाद बढ़ने पर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने बयान जारी किया कि यह कंगना के व्यक्तिगत विचार हैं और पार्टी इससे सहमत नहीं है। पार्टी ने कंगना को हिदायत दी है कि वे भविष्य में ऐसे विवादास्पद बयान न दें। हालांकि, इस बयान के बावजूद कंगना पर पार्टी की ओर से कोई ठोस कार्रवाई नहीं की गई।

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