दीपेंद्र हुड्डा को बिरला ने टोका, तो भड़कीं प्रियंका : बोलीं- विपक्ष की आवाज दबाने की कोशिश, जानिए पूरा मामला

UPT | प्रियंका गांधी

Jun 27, 2024 17:20

18 वीं लोकसभा सत्र के पहले ही दिन से संसद में हंगामा शुरू हो गया है। कभी इमरजेंसी तो कभी सेंगोल मामले में विवाद की स्थिति बन गई है। सत्र के चौथे दिन संसद के अंदर शपथ के वक्त स्पीकर...

New Delhi News : 18 वीं लोकसभा सत्र के पहले ही दिन से संसद में हंगामा शुरू हो गया है। कभी इमरजेंसी तो कभी सेंगोल मामले में विवाद की स्थिति बन गई है। सत्र के चौथे दिन संसद के अंदर शपथ के वक्त स्पीकर काफी गुस्से में नजर आए। दरअसल कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने शपथ लेने के बाद शशि थरूर “जय संविधान” का नारा लगाया। जिस पर ओम बिरला ने कहा कि आप संविधान की शपथ तो ले ही रहे हैं।


हुड्डा पर भड़कें ओम बिरला
बता दें कि ओम बिरला की आपत्ति जताने के बाद कांग्रेस के सांसद दीपेंद्र हुड्डा ने खड़े होकर इसका विरोध किया और कहा कि इसपे आपको आपत्ति नहीं होनी चाहिए थीं सर... यह सुन कर ओम बिरला हुड्डा पर भड़क गए और उन्हें शांत कराते हुए कहा कि किसपे आपत्ति.... किस पे आपत्ति नहीं वो सलाह मत दिया करो..... चलो बैठों
 
प्रियंका ने पोस्ट कर कहा...
ओम बिरला के इस व्यवहार से कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी ने एक्स पर एक पोस्ट कर सवाल किया है कि क्या भारत के संसद में जय संविधान नहीं बोला जा सकता है। संसद के अंदर विपक्षी सांसद के जय संविधान बोलने पर आपत्ति जताई गई है।
 

क्या भारत की संसद में 'जय संविधान' नहीं बोला जा सकता? संसद में सत्ता पक्ष के लोगों को असंसदीय और असंवैधानिक नारे लगाने से नहीं रोका गया, लेकिन विपक्षी सांसद के 'जय संविधान' बोलने पर आपत्ति जताई गई। चुनावों के दौरान सामने आया संविधान विरोध अब नये रूप में सामने है ​जो हमारे संविधान…

— Priyanka Gandhi Vadra (@priyankagandhi) June 27, 2024
अलग अंदाज में दिखें ओम बिरला
ओम बिरला के अनोखे अंदाज से हर कोई हैरान रह गया। लोकसभा चुनाव के पहले दिन से ही संविधान को लेकर सबसे बड़ा मुद्दा उभरा है। विभिन्न सांसदों के बीच इसके बारे में विपक्ष और सरकारी पक्ष के बीच गहरी बहस चल रही है। कुछ सांसदों ने संविधान को हाथ में लेकर विरोध प्रदर्शन किया है, जबकि कुछ ने शपथ ग्रहण समारोह के दौरान भी संविधान की महत्वपूर्णता को जताया। प्रोटेम स्पीकर के चुनावी प्रक्रिया पर विपक्ष ने प्रदर्शन किया, जिसमें संसद के अंदर प्रवेश करते समय सभी के हाथ में संविधान था। इस सभे में विपक्षी सांसदों का कहना है कि सरकार विधानसभा के नियमों को उल्लंघन कर रही है और संविधान के प्रावधानों को नजरअंदाज कर रही है। वहीं सरकारी पक्ष के सांसद इसे एक राजनीतिक दुश्मनी की रणनीति बता रहे हैं, जिससे उन्हें विरोधी दलों के आलोचनाओं का सामना करना पड़ रहा है।

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