Lucknow News : गायत्री प्रसाद प्रजापति की जमानत पर कल आएगा फैसला

UPT | गायत्री प्रजापति की जमानत पर शुक्रवार को आएगा फैसला

Sep 19, 2024 23:10

दुष्कर्म के मामले में उम्र कैद की सजा काट रहे पूर्व मंत्री गायत्री प्रसाद प्रजापति की जमानत याचिका पर हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच में शुक्रवार को फैसला आएगा।

Lucknow News : दुष्कर्म के मामले में उम्र कैद की सजा काट रहे पूर्व मंत्री गायत्री प्रसाद प्रजापति (Gayatri Prasad Prajapati) की जमानत याचिका पर हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच में  20 सितम्बर (शुक्रवार) को फैसला आएगा। सपा सरकार में कैबिनेट मंत्री रहे गायत्री प्रसाद पिछले लगभग साढ़े सात साल से जेल में है।

ट्रायल कोर्ट के निर्णय को हाईकोर्ट में दी चुनौती
गायत्री प्रजापति और अन्य अभियुक्तों ने ट्रायल कोर्ट के निर्णय को हाईकोर्ट में अपील के माध्यम से चुनौती दी है। उनकी जमानत के लिए दायर प्रार्थना पत्रों पर सुनवाई के बाद न्यायालय ने 10 सितंबर को फैसला सुरक्षित कर लिया था। जिसे शुक्रवार को दोपहर एक बजे सुनाया जाएगा। न्यायमूर्ति विवेक चौधरी और न्यायमूर्ति मो. फैज आलम खान की खंडपीठ के समक्ष गायत्री के साथ आशीष कुमार शुक्ला और अशोक तिवारी के जमानत प्रार्थना पत्र भी फैसला सुनाए जाने के लिए सूचीबद्ध किए गए हैं।



राज्य सरकार ने जमानत का किया विरोध
अभियुक्तों ने जमानत के लिए अपने द्वारा जेल में बिताई गई अवधि और मामले के तथ्यों को मुख्य आधार बताया है। दूसरी ओर राज्य सरकार ने बहस के दौरान जमानत दिए जाने का विरोध किया है। सरकार ने तर्क दिया है कि यह मामला बेहद गंभीर है। ऐसे में जमानत देना उचित नहीं है। हालांकि गायत्री कई आपराधिक मामलों में जेल में निरुद्ध है। लेकिन विशेष रूप से गायत्री प्रजापति के खिलाफ दर्ज यह मामला अन्य आपराधिक मामलों की तुलना में अधिक संगीन माना जाता है। 

क्या था पूरा मामला
सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर 18 फरवरी 2017 को गायत्री प्रसाद प्रजापति व अन्य छह अभियुक्तों के खिलाफ थाना गौतमपल्ली में सामूहिक दुष्कर्म, जानमाल की धमकी व पॉक्सो एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज हुआ था। मामले में पीड़िता ने गायत्री प्रजापति व उनके साथियों पर अपनी नाबालिग बेटी के साथ भी सामूहिक दुष्कर्म का आरोप लगाया था। 18 जुलाई 2017 को पॉक्सो की विशेष अदालत ने इस मामले में गायत्री प्रजापति समेत सभी सात अभियुक्तों के खिलाफ संबंधित धाराओं आरोप तय किया था। 12 नवम्बर बर 2021 को सत्र अदालत ने गायत्री प्रजापति, आशीष शुक्ला व अशोक तिवारी को उम्र कैद की सजा सुनाई थी। जबकि बाकी आरोपियों को संदेह का लाभ देते हुए बरी कर दिया था। गायत्री प्रजापति 2017 से जेल में बंद हैं। 

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