नोएडा प्राधिकरण घोटाला : मुख्य आरोपी मनु पोला गिरफ्तार, 200 करोड़ के घपले का आरोप...

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Sep 14, 2024 14:02

नोएडा में 200 करोड़ रुपए के घोटाले के मुख्य आरोपी मनु पोला और उसके साथी को पुलिस और क्राइम ब्रांच की संयुक्त कार्रवाई में गिरफ्तार कर लिया गया है। अदालत ने मनु पोला के खिलाफ गैर-जमानती वारंट जारी किया था...

Short Highlights
  • पुलिस और क्राइम ब्रांच की संयुक्त टीम ने की गिरफ्तारी।
  • तीन बैंक अकाउंट में 3.90 करोड़ रुपये ट्रांसफर करवाएं।
Noida News : नोएडा से बड़ी खबर सामने आई है। नोएडा प्राधिकरण में हुए घपला मामले में लंबे समय से फरार चल रहे मुख्य आरोपी मनु पोला को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। वह पिछले डेढ़ साल से फरार चल रहा था। मनु पोला पर 200 करोड़ रुपये का घोटाला करने का आरोप है। इस मामले में नोएडा प्राधिकरण के सीईओ ने पिछले साल थाना सेक्टर-58 में मुकदमा दर्ज कराया था।

पुलिस की बड़ी कामयाबी
नोएडा प्राधिकरण में 200 करोड़ रुपये के घोटाले के मुख्य आरोपी मनु पोला और उसके साथी को पुलिस और क्राइम ब्रांच की संयुक्त कार्रवाई में गिरफ्तार किया गया है। अदालत ने मनु पोला के खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी किया था। कई राज्यों में उनकी तलाश के बाद दोनों आरोपियों को नोएडा से पकड़ा गया है। डीसीपी शक्ति मोहन अवस्थी के अनुसार, अब जांच में यह पता लगाया जाएगा कि घोटाले की रकम का क्या हुआ और इसमें और कौन-कौन लोग शामिल थे। यह गिरफ्तारी पुलिस के लिए बड़ी कामयाबी मानी जा रही है। 

ये है पूरा मामला
नोएडा प्राधिकरण द्वारा सेक्टर-62 स्थित एक बैंक में फिक्स डिपॉजिट के लिए भेजे गए 200 करोड़ रुपये में से तीन करोड़ 90 लाख रुपये एक जालसाज ने धोखाधड़ी कर अपने खाते में ट्रांसफर करवा लिया। जालसाज नौ करोड़ रुपये और अपने खाते में ट्रांसफर करवाने गया था, लेकिन उससे पहले ही इस बात का खुलासा हो गया। इस मामले में शक होने पर नोएडा प्राधिकरण के वित्त एवं लेखा अधिकारी मनोज कुमार सिंह ने थाना सेक्टर-58 में रिपोर्ट दर्ज कराई। उनके अनुसार, नोएडा प्राधिकरण के 200 करोड़ रुपये बैंक में एफडी के लिए थे। प्राधिकरण ने कई बैंकों से आवेदन मांगा। नोएडा के सेक्टर-62 स्थित बैंक ऑफ इंडिया शाखा द्वारा 200 करोड़ की एफडी करने का टेंडर हासिल किया था। 

तीन बैंक अकाउंट में ट्रांसफर कराए रुपये 
नोएडा प्राधिकरण की तरफ से बैंक को 200 करोड़ रुपये ट्रांसफर कर दिए गए। बैंक के अधिकारी एफडी बनाने की प्रक्रिया में थे। इसी बीच, अब्दुल खादर नामक व्यक्ति और बैंक ऑफ इंडिया के कर्मचारियों ने मिलीभगत करके नोएडा अथॉरिटी की तरफ से पत्राचार किया। जिसके बाद तीन अकाउंट खुलवाए गए और नोएडा अथॉरिटी की तरफ से फर्जी मेल करके उन तीन अकाउंट में बैंक से तीन करोड़ 90 लाख रुपये ट्रांसफर कर लिए गए। इस मामले में धारा 420, 467, 468, 471, 120बी और 409 के तहत मुकदमा दर्ज हुआ है।

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