Agra News : आगरा की मयूर पायल पहनेंगी माता जानकी, जानें मयूर पायल की क्या है खासियत ?

Uttar Pradesh Times | Aagra News

Jan 07, 2024 23:43

 22 जनवरी को अयोध्या में राम लला की प्राण-प्रतिष्ठा होनी है। और पूरी दुनिया की निगाहें अयोध्या पर टिकी हुई हैं और हो भी क्यों न 500 साल...

Short Highlights
  • आगरा की मयूर पायल माता जानकी और प्रभु श्री राम के चरणों की शोभा को बढ़ाएगी
  • माता जानकी ताज नगरी के कारीगरों द्वारा बनाई गई मयूर पायल पहनेंगी, हिंदू मुस्लिम मिलकर बना रहे मयूर पायल
  • आगरा  सर्राफा एसोसिएशन द्वारा भेंट दी जा रही माता जानकी को पायल 
  • प्रभु श्रीराम के चरणों के लिए भी बनाई जाएगी पायल  
आगरा :  22 जनवरी को अयोध्या में राम लला की प्राण-प्रतिष्ठा होनी है। और पूरी दुनिया की निगाहें अयोध्या पर टिकी हुई हैं और हो भी क्यों न, 500 साल से भी अधिक समय बाद अयोध्या में प्रभु श्रीराम और माता जानकी का आगमन हो रहा है। पलक पांवड़े बिछाए सभी भगवान राम के स्वागत की तैयारियों में लगे हुए है फिर वो देश की सरकार हो या आयोध्या गाँव का आम आदमी। प्रभु के आगमन के लिए अयोध्या धाम को ठीक उसी तरह सजाया जा रहा है, जैसा आयोध्यवासियो द्वारा प्रभु श्री राम के वनवास से लौटने पर सजाया गया था। धाम के विकास कार्यों की निगरानी मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ खुद कर रहे हैं। 

माता जानकी की अद्भुत पायल का निर्माण 
इस ऐतिहासिक कड़ी में ताज नगरी का भी नाम जुड़ गया है। दरअसल ,आगरा की सर्राफा मंडी जिसे एशिया की सबसे बड़ी चांदी की मंडी कहा जाता है, इसी चांदी की सबसे बड़ी मंडी में माता जानकी की मयूर की पायल तैयार की जा रही है, जो 22 जनवरी को अयोध्या के राम मंदिर में माता जानकी के चरणों की शोभा बढ़ाएगी। इसकी सबसे बड़ी खासियत है की इस पायल को संयुक्त रूप से हिंदू -मुस्लिम कारीगरों ने तराशा है। जिसमें अद्भुत तरीके की खूबियाँ शामिल है, इसका वजन 551 ग्राम हैं, जिसमे माता सीता की पसंदीदा मयूर आकृति होगी। 6 इंच चौड़ी चांदी की पायल पर झालरों के बीच एक बड़ी मयूर आकृति मुस्लिम कारीगरों ने तराशी हैं। मयूर के पंखों में चक्र बनाये गए हैं, जिसमें मोटर लगी हैं। उस मोटर से दोनो चक्र घूमेंगे। जिससे पायल की शोभा और बढ़ जाएगी। पयाल की कीमत लगभग 40 हज़ार है। जिसे आगरा सर्राफा एसोसिएशन भगवान राम को भेंट के रूप में सौपेंगे।


भगवान राम के ससुराल और ननिहाल से आये भेंट 
आपको बता दे  22 जनवरी को अयोध्या में राम लला की प्राण-प्रतिष्ठा होनी हैं। भगवान राम के लिए अलग अलग जगहों से भेंट मिले है। भगवान राम के  ननिहाल छत्तीसगढ़ से 3 हज़ार क्विंटल चावल, ससुराल नेपाल जनकपुर से वस्त्र, फल, उपहार और मेवा, एटा से 2100 किलो का घंटा, गुजरात के बड़ोदरा से 108 फ़ीट लंबी अगरबत्ती पहुँचेगी। वही एशिया के सबसे बड़ी आगरा सर्राफा मंडी भी अपने आराध्य प्रभु श्रीराम और माता जानकी के लिए उपहार स्वरूप चांदी की पयाल भेंट करेंगे। जिसे लेकर सर्राफा कारोबारी 22 जनवरी को अयोध्या जाएंगे।

500 साल बाद राम लला अपने भव्य मंदिर में विराजेंगे 
आगरा सर्राफा एसोसिएशन के अध्यक्ष नितेश अग्रवाल का कहना हैं कि पूरे 500 साल बाद हमारे आराध्य राम लला अपने भव्य मंदिर में विराजने जा रहे हैं। वही इस पायल को बनाने वाले कर्मचारियों का कहना है कि माता जानकी के लिए पायल बनाना सौभाग्य की बात है, 22 साल से पायल बनाने का काम किया जा रहा है। आगरा सर्राफा एसोसिएशन वालों का कहना है की यह गौरव की बात है की माता जानकी के चरणों की शोभा बढ़ाने का अवसर हमको मिला। और इस काम को करने से हमारी पीढ़ियां धन्य हो जाएंगी।

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