UPPSC परीक्षा विवाद : आयोग की उच्च स्तरीय कमेटी की बैठक शुरू, नॉर्मलाइजेशन के बगैर परीक्षा कराए जाने को लेकर चर्चा

UPT | उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग

Nov 15, 2024 00:09

उच्च स्तरीय बैठक करीब 40 से 45 मिनट तक चलेगी और इसमें नॉर्मलाइजेशन के फैसले को वापस लेने का निर्णय लिया जा सकता है। बैठक की अध्यक्षता यूपीपीएससी के चेयरमैन संजय श्रीनेत कर रहे हैं।

Short Highlights
  • बैठक की अध्यक्षता यूपीपीएससी के चेयरमैन संजय श्रीनेत कर रहे हैं
  • आयोग की उच्च स्तरीय कमेटी की बैठक शुरू हो गई है
  • 40 से 45 मिनट तक चलेगी बैठक
Prayagraj News : उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग (यूपीपीएससी) के नॉर्मलाइजेशन के फैसले के विरोध में प्रतियोगी छात्रों का आंदोलन अब चौथे दिन भी पूरे जोश के साथ जारी है। छात्रों का आंदोलन खत्म कराने के लिए आयोग की उच्च स्तरीय कमेटी की बैठक शुरू हो गई है। इस बैठक में वन डे वन शिफ्ट में नॉर्मलाइजेशन के बगैर इम्तिहान कराए जाने को लेकर चर्चा हो रही है। इस बैठक में मुख्य रूप से दो महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा हो रही है – एक तो यह कि यूपी पीसीएस 2024 और समीक्षा अधिकारी/सहायक समीक्षा अधिकारी 2023 की प्रारंभिक परीक्षा 'वन डे वन शिफ्ट' में बिना नॉर्मलाइजेशन के कराई जाए, और दूसरा यह कि नॉर्मलाइजेशन प्रक्रिया को पूरी तरह से वापस लिया जाए।

आयोग की बैठक का उद्देश्य
यह उच्च स्तरीय बैठक करीब 40 से 45 मिनट तक चलेगी और इसमें नॉर्मलाइजेशन के फैसले को वापस लेने का निर्णय लिया जा सकता है। बैठक की अध्यक्षता यूपीपीएससी के चेयरमैन संजय श्रीनेत कर रहे हैं। इस बैठक के बाद आयोग के जिम्मेदार अधिकारी बाहर आकर औपचारिक रूप से छात्रों को यह सूचित कर सकते हैं कि नॉर्मलाइजेशन का फैसला वापस लिया जा रहा है। इसके अलावा एक नोटिफिकेशन जारी कर छात्रों को इस फैसले की जानकारी दी जा सकती है।

छात्रों की प्रमुख मांगें
इस समय छात्रों की प्रमुख मांग यह है कि यूपीपीएससी की पीसीएस प्री 2024 और समीक्षा अधिकारी/सहायक समीक्षा अधिकारी 2023 की परीक्षा एक दिन और एक शिफ्ट में कराई जाए, बिना नॉर्मलाइजेशन के। छात्रों का कहना है कि नॉर्मलाइजेशन प्रक्रिया उनके भविष्य के लिए खतरा बन सकती है और इससे परीक्षा के परिणाम पर अनावश्यक प्रभाव पड़ सकता है। प्रदर्शनकारी छात्रों का आरोप है कि नॉर्मलाइजेशन के कारण सभी उम्मीदवारों को समान अवसर नहीं मिल पा रहे हैं, और इससे उनके आत्मविश्वास पर भी नकारात्मक असर पड़ रहा है। छात्रों ने यह भी स्पष्ट किया है कि अगर आयोग नॉर्मलाइजेशन का फैसला वापस लेता है और उनकी मांगे पूरी होती हैं, तो वे अपना आंदोलन तुरंत समाप्त कर देंगे।

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छात्रों को आयोग के निर्णय का इंतजार
आयोग की बैठक में नॉर्मलाइजेशन के फैसले को वापस लेने की संभावना है, और यदि ऐसा होता है, तो यह छात्रों के लिए एक बड़ी जीत साबित होगी। छात्रों का मानना है कि यदि आयोग ने उनकी मांगों पर विचार किया और परीक्षा को एक शिफ्ट में कराने का निर्णय लिया, तो उनका आंदोलन सफल होगा और वे आंदोलन खत्म कर देंगे।

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परीक्षा दिसंबर को होने की संभावना
परीक्षा के आयोजन के संदर्भ में, यूपी लोक सेवा आयोग की पीसीएस प्री 2024 की परीक्षा 7 और 8 दिसंबर को प्रस्तावित है, जबकि समीक्षा अधिकारी/सहायक समीक्षा अधिकारी 2023 की प्रारंभिक परीक्षा 22 और 23 दिसंबर को होने की संभावना है। छात्रों को आयोग के निर्णय का इंतजार है और वे इसकी जानकारी के लिए आयोग के गेट के बाहर एकत्रित हो रहे हैं।

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