महाकुंभ में गंगा समग्र की अनोखी पहल : 5000 श्रद्धालुओं को मिलेगा नि:शुल्क भोजन, गंगा का प्रदूषण भी होगा दूर

UPT | Ganga Samagra Initiative

Dec 29, 2024 15:48

प्रयागराज में 13 जनवरी से शुरू हो रहे महाकुंभ में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की सहयोगी शाखा गंगा समग्र, महाकुंभ में आने वाले श्रद्धालुओं के लिए हर दिन करीब 5000 लोगों के लिए मुफ्त भोजन की व्यवस्था करेगी।

Jaunpur News : 13 जनवरी से शुरू हो रहे महाकुंभ में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) की अनुषांगिक शाखा गंगा समग्र एक महत्वपूर्ण पहल कर रही है। इस पहल के तहत हर दिन 5000 श्रद्धालुओं को नि:शुल्क भोजन प्रदान किया जाएगा। गंगा समग्र ने यह सुनिश्चित किया है कि गंगा की स्वच्छता बनी रहे, इसके लिए भोजन वितरण के दौरान स्टील के बर्तन का इस्तेमाल किया जाएगा, ताकि नदी में कोई गंदगी न फैले। इसके अलावा, श्रद्धालुओं के ठहरने के लिए भी उचित व्यवस्था की जा रही है। इस पहल की तैयारियां युद्धस्तर पर चल रही हैं।

5 करोड़ रुपये खर्च होंगे नि:शुल्क भोजन और स्वच्छता के लिए
गंगा समग्र काशी प्रांत के सह-संयोजक भृगु नाथ पाठक ने बताया कि इस अभियान पर करीब 5 करोड़ रुपये खर्च होने की संभावना है। इस पहल को लेकर गंगा समग्र पूरी तरह से तैयार है। संगठन द्वारा कई स्थानों पर शिविर लगाए जा रहे हैं और लोग स्वेच्छा से इस काम में सहयोग दे रहे हैं। भृगु नाथ पाठक ने कहा कि हमारा उद्देश्य महाकुंभ में प्रतिदिन स्नान करने आने वाले श्रद्धालुओं को नि:शुल्क भोजन उपलब्ध कराना है।

5000 श्रद्धालुओं को नि:शुल्क भोजन और अन्य सुविधाएं
भृगु नाथ पाठक ने आगे कहा कि हमारे शिविरों के माध्यम से हर दिन लगभग 5000 श्रद्धालुओं को लंगर के जरिए नि:शुल्क भोजन दिया जाएगा, साथ ही अन्य सुविधाएं भी प्रदान की जाएंगी। इस पहल का मुख्य उद्देश्य महाकुंभ के दौरान गंगा तट पर स्वच्छता और प्रदूषण मुक्त वातावरण बनाए रखना है। इसके लिए भोजन देने के लिए थाली, कटोरी और चम्मच स्टील के होंगे, ताकि प्लास्टिक या पॉलीथिन का इस्तेमाल न हो और गंगा में कोई प्रदूषण न फैले।

गंगा समग्र का यह कदम न केवल श्रद्धालुओं को सुविधाएं देने के लिए है, बल्कि यह एक पर्यावरणीय पहल भी है, जिसका उद्देश्य महाकुंभ के दौरान गंगा की स्वच्छता बनाए रखना और प्लास्टिक के उपयोग को कम करना है। इस पहल के माध्यम से RSS और गंगा समग्र की टीम श्रद्धालुओं के अनुभव को और भी बेहतर बनाने की कोशिश कर रही है, ताकि इस धार्मिक आयोजन को पवित्र और स्वच्छ रखा जा सके।

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