Varanasi News : काशी विश्वनाथ मंदिर में लापरवाही के चलते गिरी महिला, पांच पुलिसकर्मी निलंबित

UPT | काशी विश्वनाथ मंदिर में अरघा में दर्शन करते समय महिला गिरी

Oct 11, 2024 01:25

श्री काशी विश्वनाथ मंदिर में 7 अक्टूबर को सप्तऋषि आरती के बाद स्पर्श दर्शन करने के लिए गर्भगृह में अत्यधिक दर्शनार्थियों की वजह से एक महिला मुख्य ज्योतिर्लिंग के अरघे में गिर गई थी।

Varanasi News : वाराणसी के प्रसिद्ध काशी विश्वनाथ मंदिर में 7 अक्टूबर को आयोजित सप्तऋषि आरती के बाद गर्भगृह में अत्यधिक भीड़ के कारण एक महिला मुख्य ज्योतिर्लिंग के अरघे में गिर गई। इस गंभीर घटना के बाद वाराणसी पुलिस उपायुक्त सुरक्षा ने तत्परता से कार्रवाई करते हुए पांच पुलिसकर्मियों को निलंबित कर दिया है। इसके साथ ही तीन अन्य पुलिसकर्मियों की निलंबन प्रक्रिया के लिए रिपोर्ट भेजी गई है, जो गैर जनपद से तैनात थे। 

दर्शनार्थी की गिरने की घटना
पुलिस विभाग द्वारा जारी किए गए प्रेस नोट में बताया गया है कि सोमवार को सप्तऋषि आरती के बाद अचानक से दर्शनार्थियों की संख्या में भारी वृद्धि हो गई थी। इसी दौरान एक महिला ने बाबा विश्वनाथ के स्पर्श के लिए गर्भगृह में प्रवेश किया और असंतुलित होकर मुख्य अरघे में गिर गई। इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो गया, जिसके बाद पुलिस ने मामले की गंभीरता को समझते हुए सहायक पुलिस आयुक्त सुरक्षा अमित कुमार श्रीवास्तव से जांच कराई।



पुलिसकर्मियों के खिलाफ कार्रवाई
जांच के दौरान यह पाया गया कि सप्तऋषि आरती के बाद गर्भगृह में अत्यधिक दर्शक आ गए थे। गर्भगृह का अरघा गहरा होने के कारण महिला गिर गई। यह भी स्पष्ट हुआ कि ड्यूटी पर तैनात पुलिसकर्मी अपनी जिम्मेदारियों के प्रति लापरवाह थे, जिससे भीड़ नियंत्रित करने में विफलता रही। जांच में शामिल चार उप निरीक्षक, एक पुरुष आरक्षी और तीन महिला आरक्षियों की लापरवाही सामने आई। 

निलंबित पुलिसकर्मियों की पहचान
निलंबित किए गए पुलिसकर्मियों में चार उप निरीक्षक और अन्य शामिल हैं, जिनमें उमाकांत राय (बलिया), अजीत कुमार सिंह (आजमगढ़), और दुर्गेश कुमार (गाजीपुर) शामिल हैं। इनकी ड्यूटी विश्वनाथ मंदिर में लगी थी और अब इनके खिलाफ निलंबन की प्रक्रिया शुरू की जा रही है। इसके अलावा, इस घटना के बाद मंदिर प्रशासन ने निर्णय लिया है कि अगली सूचना तक स्पर्श दर्शन पर रोक लगा दी गई है। अब दर्शनार्थियों को केवल अरघा लगाकर या झांकी दर्शन के माध्यम से ही बाबा के दर्शन की अनुमति होगी। इस कदम का उद्देश्य भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकना और श्रद्धालुओं की सुरक्षा सुनिश्चित करना है।

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