गोरखपुर में गीता प्रेस का आधुनिकीकरण : 50 लाख रुपये की नई प्रिंटिंग मशीन से होगा बड़े पैमाने पर उत्पादन

UPT | गोरखपुर का लोगो

Aug 09, 2024 17:55

गीता प्रेस ने समय के साथ अपने उपकरणों में बदलाव की दिशा में कदम उठाना शुरू कर दिया है। इस प्रक्रिया के तहत फरीदाबाद से 50 लाख की अत्याधुनिक वेब ऑफसेट प्रिंटिंग मशीन मंगाई जा रही है जो पुरानी छह मशीनों का काम अकेले करेगी।

Gorakhapur News : गीता प्रेस ने समय के साथ अपने उपकरणों में बदलाव लाने की दिशा में कदम उठाना शुरू कर दिया है। इस प्रक्रिया के तहत फरीदाबाद से 50 लाख रुपये की अत्याधुनिक वेब ऑफसेट प्रिंटिंग मशीन मंगाई जा रही है जो पुरानी छह मशीनों का काम अकेले करेगी। इसके साथ ही जर्मनी से तीन करोड़ की अत्याधुनिक सिलाई मशीन और बेंगलुरु से एक करोड़ रुपये की गेदरिंग मशीन भी जल्द ही गीता प्रेस के काम में शामिल की जाएंगी।

गीता प्रेस के पास कुल दो लाख वर्ग फीट जमीन है जिसमें से 1.45 लाख वर्ग फीट पर प्रेस का काम होता है। शेष जमीन पर आवास और दुकानें स्थित हैं। 1923 में केवल एक पुस्तक,'श्रीमद्भगवद्गीता', के साथ शुरू हुआ यह प्रकाशन अब सौ वर्षों में 1850 पुस्तकों तक पहुंच गया है। प्रेस के बढ़ते कार्यभार और नए प्रकाशनों के लिए अब जगह की कमी हो रही है, जिसके समाधान के लिए गीता प्रेस ने जिला प्रशासन से 20 एकड़ जमीन की मांग की है।

अभी तक जमीन उपलब्ध नहीं हो पाई 
हालांकि,अभी तक जमीन उपलब्ध नहीं हो पाई है,लेकिन गीता प्रेस ने पुरानी मशीनों को बदलने का फैसला कर लिया है। नई अत्याधुनिक मशीनें लगाने का कार्य शुरू हो गया है,जिससे कम जगह में अधिक उत्पादन संभव होगा। इस कदम से न केवल पुस्तकों की उत्पादन क्षमता में वृद्धि होगी,बल्कि उनकी गुणवत्ता भी बेहतर हो सकेगी। गीता प्रेस के आधुनिकीकरण के इस प्रयास से उम्मीद है कि यह संस्थान अपने प्राचीन धरोहरों को संजोते हुए आधुनिकता के साथ कदमताल करेगा,जिससे भविष्य में पाठकों को उच्च गुणवत्ता की पुस्तकें और अधिक मात्रा में उपलब्ध कराई जा सकेंगी। 

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